'विचारों में मतभेद के बीच हमें तलाशनी चाहिए सामान्य जमीन': जी20 देशों के विदेश मंत्रियों की बैठक में बोले विदेश मंत्री एस जयशंकर
By मनाली रस्तोगी | Updated: March 2, 2023 10:08 IST2023-03-02T10:07:00+5:302023-03-02T10:08:11+5:30
जी20 देशों के विदेश मंत्रियों की बैठक में भारत के विदेश मंत्री डॉ एस जयशंकर ने कहा कि हम पहली बार एक वैश्विक संकट के बीच एक साथ आए और आज फिर हम कई संकटों का सामना कर रहे हैं।

(फोटो क्रेडिट- ANI)
नई दिल्ली:जी20 देशों के विदेश मंत्रियों की बैठक में भारत के विदेश मंत्री डॉ एस जयशंकर ने गुरुवार को कहा कि आइए हम खुद को याद दिलाएं कि यह समूह एक असाधारण जिम्मेदारी वहन करता है। उन्होंने ये भी कहा कि हम पहली बार वैश्विक संकट के बीच एक साथ आए थे और आज एक बार फिर वास्तव में कई संकटों का सामना कर रहे हैं।
उन्होंने कहा, "इनमें कोविड महामारी का प्रभाव, नाजुक आपूर्ति श्रृंखलाओं की चिंताएं, चल रहे संघर्षों के दस्तक प्रभाव, ऋण संकट की चिंता और जलवायु संबंधी घटनाओं में व्यवधान शामिल हैं। इन मुद्दों पर विचार करते समय, हम सब हमेशा एक मत के नहीं हो सकते।"
अपनी बात को जारी रखते हुए उन्होंने कहा, "वास्तव में, राय और विचारों के तीखे मतभेद के कुछ मामले हैं। फिर भी, हमें सामान्य जमीन तलाशनी चाहिए और दिशा प्रदान करनी चाहिए क्योंकि दुनिया हमसे यही उम्मीद करती है।"
जयशंकर ने कहा, "वर्तमान वैश्विक संरचना अपने 8वें दशक में है। इस अवधि में संयुक्त राष्ट्र के सदस्यों की संख्या चौगुनी हो गई है। यह न तो आज की राजनीति, अर्थशास्त्र, जनसांख्यिकी या आकांक्षाओं को दर्शाता है। 2005 से हमने सुना है कि उच्चतम स्तर पर सुधार की भावना व्यक्त की जा रही है। लेकिन जैसा कि हम सभी जानते हैं, ये भौतिक नहीं हुए हैं। कारण भी गुप्त नहीं हैं।"
विदेश मंत्री डॉ एस जयशंकर ने आगे कहा, "जितनी देर हम इसे टालते रहेंगे, बहुपक्षवाद की विश्वसनीयता उतनी ही क्षीण होती जाएगी। यदि भविष्य के लिए वैश्विक निर्णय लेने की प्रक्रिया का लोकतांत्रीकरण किया जाना चाहिए।"