कोरोना के आंकड़ों से डरें नहीं, सतर्क रहें

By लोकमत समाचार ब्यूरो | Updated: May 13, 2020 04:59 IST2020-05-13T04:59:06+5:302020-05-13T04:59:06+5:30

इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर) का कहना है कि अब तक 16 लाख से अधिक सैंपलों की जांच की जा चुकी है.

Do not be afraid of Corona figures, be cautious | कोरोना के आंकड़ों से डरें नहीं, सतर्क रहें

सांकेतिक तस्वीर

देश में कोविड-19 के संक्रमितों के आंकड़ों में पिछले कुछ दिनों में तेजी आई है लेकिन इन आंकड़ों से किसी को भी भयभीत होने की जरूरत नहीं है. दरअसल जांच बढ़ने के कारण ही संक्रमितों की संख्या में तेजी देखने को मिल रही है. देश में अब 400 से ज्यादा लैब में प्रतिदिन औसतन 80 हजार सैंपल की जांच हो रही है.

इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर) का कहना है कि अब तक 16 लाख से अधिक सैंपलों की जांच की जा चुकी है. इनमें से संक्रमित सैंपल मिलने की दर करीब चार फीसदी है. ध्यान देने की बात यह भी है कि देश में सोमवार तक कोरोना के जो करीब 67 हजार मामले थे, उनमें से लगभग 21 हजार लोग ठीक भी हो चुके हैं.

अर्थात सक्रिय मामलों की संख्या सोमवार तक 44 हजार के ही आसपास थी. हकीकत यह है कि दुनिया भर में कोरोना के मामले जिस रफ्तार से बढ़े हैं, उनके मुकाबले हम अभी भी बहुत बेहतर स्थिति में हैं. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्नी हर्षवर्धन के मुताबिक दुनियाभर के 20 देशों में जहां कोरोना के अधिकतम मामले दर्ज हुए हैं, वहां की कुल आबादी भारत की आबादी (135 करोड़) के लगभग समान है और इन देशों में अब तक के सामूहिक मामले भारत की तुलना में लगभग 84 गुना हैं.

मृत्यु दर के मामले में इन शीर्ष 20 देशों में भारत में मौतों की संख्या की तुलना में 200 गुना अधिक मौतें हुई हैं. यही नहीं बल्कि स्वास्थ्य मंत्नालय की ओर से जारी बयान के मुताबिक, कोरोना के सक्रिय पुष्ट मामलों के आधार पर हमें पता चला है कि देश में सिर्फ 2.48 फीसदी मामलों में ही आईसीयू की जरूरत है, सिर्फ 1.94 फीसदी मामलों में ही ऑक्सीजन की जरूरत है, जबकि 0.40 फीसदी मामलों में ही वेंटिलेटर सपोर्ट की जरूरत है.

जाहिर है कि अभी तक कोरोना को लेकर घबराने या चिंता करने की कोई बात नहीं है. हां, सावधानी हमें अवश्य रखनी होगी. देश में शुरुआती चरण में सख्ती से लागू किए गए लॉकडाउन की वजह से ही कोरोना को अभी तक नियंत्रित रखने में सफलता मिली है. आर्थिक दृष्टिकोण से आगे लॉकडाउन में अगर ढील दी जाए तब भी नागरिकों को स्वनियंत्रण रखना होगा और सोशल डिस्टेंसिंग रखने के साथ अन्य सावधानियां बरतनी होंगी. इसी तरीके से कोरोना को काबू में रखा जा सकेगा.

Web Title: Do not be afraid of Corona figures, be cautious

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