दिल्ली हाई कोर्ट ट्राइब्यूनल ने LTTE पर प्रतिबंध पांच साल बढ़ाने की पुष्टि की
By भाषा | Updated: November 28, 2019 05:09 IST2019-11-28T05:09:58+5:302019-11-28T05:09:58+5:30
LTTE: दिल्ली उच्च न्यायालय के एक न्यायाधिकरण ने आतंकवादी संगठन लिबरेशन टाइगर्स ऑफ तमिल इलम (लिट्टे) पर प्रतिबंध पांच साल बढ़ाने की पुष्टि कर दी है

दिल्ली हाई कोर्ट ट्राइब्यूनल ने लिट्टे पर प्रतिबंध पांच साल बढ़ाने की पुष्टि की
नई दिल्ली: दिल्ली उच्च न्यायालय के एक न्यायाधिकरण ने पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या के लिये जिम्मेदार आतंकवादी संगठन लिबरेशन टाइगर्स ऑफ तमिल इलम (लिट्टे) पर प्रतिबंध पांच साल बढ़ाने की पुष्टि कर दी है।
केंद्र सरकार ने गैरकानूनी गतिविधि (निरोधक) अधिनियम, 1967 की धारा चार की उपधारा (1) के तहत प्राप्त अधिकार का इस्तेमाल करते हुए 11 जून को न्यायाधिकरण का गठन किया था।
इसके जरिए प्रतिबंधित संगठनों को उनका पक्ष रखने का मौका दिया जाता है। दिल्ली उच्च न्यायालय की न्यायाधीश संगीता धींगरा सहगल की अध्यक्षता वाले न्यायाधिकरण ने छह नवंबर को गृह मंत्रालय द्वारा 14 मई को घोषित पांच साल के प्रतिबंध को बढ़ाने की पुष्टि की।
गृह मंत्रालय की एक अधिसूचना में कहा गया है कि उक्त न्यायाधिकरण ने उपरोक्त वर्णित कानून की धारा चार की उपधारा (तीन) के तहत प्रदत्त शक्तियों का इस्तेमाल करते हुए छह नवंबर को उक्त अधिसूचना की पुष्टि की।
गृह मंत्रालय ने कहा था कि समूह की लगातार जारी हिंसक और विध्वंसकारी गतिविधियां भारत की एकता और अखंडता के हिसाब से प्रतिकूल हैं। साथ ही इसका भारत-विरोधी रवैया भारतीय नागरिकों की सुरक्षा के लिए खतरा बना हुआ है। भारत ने 1991 में राजीव गांधी की हत्या के बाद लिट्टे पर प्रतिबंध लगा दिया था। आखिरी बार 2014 में संगठन पर पांच साल के लिए प्रतिबंध बढ़ाया गया था।