पति-पत्नी के संयुक्त नाम पर मकान?, EMI भरकर अकेले संपति पर दावा नहीं कर सकता, दिल्ली उच्च न्यायालय ने कहा- दोनों का 50-50 प्रतिशत

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: October 1, 2025 18:30 IST2025-10-01T18:29:10+5:302025-10-01T18:30:13+5:30

जब संपत्ति पति-पत्नी के संयुक्त नाम पर हो जाती है, तो पति को केवल इस आधार पर एकमात्र स्वामित्व का दावा करने की अनुमति नहीं दी जा सकती कि उसने अकेले ही संपत्ति की खरीद मूल्य का भुगतान किया है।

Delhi High Court said 50-50 percent both House joint name husband and wife One cannot claim property alone after paying EMI | पति-पत्नी के संयुक्त नाम पर मकान?, EMI भरकर अकेले संपति पर दावा नहीं कर सकता, दिल्ली उच्च न्यायालय ने कहा- दोनों का 50-50 प्रतिशत

सांकेतिक फोटो

Highlightsअदालत ने कहा कि पति का दावा बेनामी संपत्ति लेनदेन निषेध अधिनियम की धारा चार का उल्लंघन होगा।अधिकारों को लागू करने के लिए कोई मुकदमा, दावा या कार्रवाई करने से रोकता है।शादी 1999 में हुई थी और 2005 में मुंबई में एक संयुक्त घर खरीदा था।

नई दिल्लीः दिल्ली उच्च न्यायालय ने कहा है कि पति-पत्नी के नाम पर संयुक्त रूप से अर्जित और पंजीकृत संपत्ति पर पति केवल इस आधार पर एकमात्र स्वामित्व का दावा नहीं कर सकता कि उसने बैंक के ईएमआई का भुगतान किया है। न्यायमूर्ति अनिल क्षेत्रपाल और न्यायमूर्ति हरीश वैद्यनाथन शंकर की पीठ ने 22 सितंबर को यह टिप्पणी की। अदालत ने कहा, ‘‘जब संपत्ति पति-पत्नी के संयुक्त नाम पर हो जाती है, तो पति को केवल इस आधार पर एकमात्र स्वामित्व का दावा करने की अनुमति नहीं दी जा सकती कि उसने अकेले ही संपत्ति की खरीद मूल्य का भुगतान किया है।’’

अदालत ने कहा कि पति का दावा बेनामी संपत्ति लेनदेन निषेध अधिनियम की धारा चार का उल्लंघन होगा, जो संपत्ति का वास्तविक मालिक होने का दावा करने वाले व्यक्ति को किसी अन्य व्यक्ति, जिसके नाम पर संपत्ति है, के विरुद्ध अधिकारों को लागू करने के लिए कोई मुकदमा, दावा या कार्रवाई करने से रोकता है।

उच्च न्यायालय में दायर अपनी याचिका में पत्नी ने यह भी दावा किया था कि अतिरिक्त राशि का 50 प्रतिशत उसका है, और यह उसके स्त्रीधन (हिंदू कानून के अनुसार एक महिला की पूर्ण और अनन्य संपत्ति) का हिस्सा है, इसलिए इस संपत्ति पर उस का अधिकार है।

याचिका के अनुसार, दोनों की शादी 1999 में हुई थी और उन्होंने 2005 में मुंबई में एक संयुक्त घर खरीदा था। हालांकि, वे 2006 में अलग रहने लगे और पति ने उसी वर्ष तलाक के लिए अर्जी दी जो वर्तमान में लंबित है। 
 

Web Title: Delhi High Court said 50-50 percent both House joint name husband and wife One cannot claim property alone after paying EMI

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