भीड़ को काबू करना हमारे हाथ में नहीं, पुलिस और प्रशासन स्थिति को संभालें: बाजार संघ
By भाषा | Updated: July 5, 2021 18:31 IST2021-07-05T18:31:05+5:302021-07-05T18:31:05+5:30

भीड़ को काबू करना हमारे हाथ में नहीं, पुलिस और प्रशासन स्थिति को संभालें: बाजार संघ
नयी दिल्ली, पांच जुलाई कोविड-19 नियमों के उल्लंघन के चलते दिल्ली में लाजपत नगर बाजार और सदर बाजार में रुई मंडी बंद करने का आदेश दिये जाने के बाद व्यापार निकायों के प्रतिनिधियों ने दावा किया कि भीड़ मुख्य रूप से रेहड़ी-पटरी वालों की मौजूदगी के कारण होती है और इसे रोकना प्रशासन पर निर्भर करता है।
यह मानते हुए कि बाजारों को बंद करना कोई समाधान नहीं है, उन्होंने सुझाव दिया कि अधिकारियों को व्यापारियों के साथ चर्चा करने के बाद सभी बाजार संघों के लिए एक समान एसओपी जारी करना चाहिये।
फेडरेशन ऑफ सदर बाजार ट्रेडर्स एसोसिएशन के उपाध्यक्ष परमजीत सिंह पम्मा ने कहा, “व्यापारी अपनी दुकानों में बैठते हैं या अपने गोदामों से काम करते हैं, तो बाजार में भीड़ होने पर वे कैसे जिम्मेदार हो सकते हैं। भीड़ मुख्य रूप से रेहड़ी-पटरियों की मौजूदगी के कारण होती है, जिसे नियंत्रित करना हमारे अधिकार में नहीं है।''
उन्होंने आरोप लगाया कि बाजार में कोविड-19 मानदंडों का पालन सुनिश्चित करने के लिए क्षेत्र में पर्याप्त पुलिस कर्मी नहीं हैं।
पम्मा ने कहा, ''हमने अपनी दुकानों के बाहर चौकीदार तैनात कर दिए हैं, लेकिन रेहड़ी-पटरी वाले किसी की नहीं सुनते, वे न तो मास्क पहनते हैं और न ही दूरी बनाए रखते हैं। पुलिस बाहर बैठे विक्रेताओं के बजाय अपनी दुकानों के अंदर बैठे दुकानदारों का चालान काट देती है।''
रुई मंडी को मंगलवार तक बंद कर दिया गया है जबकि लाजपत नगर बाजार अगले आदेश तक बंद रहेगा। दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) ने रविवार को बाजारों को बंद करने का आदेश जारी किया।
उपमंडलीय दंडाधिकारी (एसडीएम), दक्षिण पूर्व जिला, पद्माकर राम त्रिपाठी ने बताया कि कोविड-19 नियमों के अनुपालन के लिए बनी टीम ने जांच के लिए लाजपत नगर सेंट्रल मार्केट का दौरा किया था जहां ‘‘नियमों का पालन नहीं’’ हो रहा था।
डीडीएमए के आदेश में कहा गया है, ‘‘इसलिए यह निर्देश दिया जाता है कि उक्त बाजार (लाजपत नगर सेंट्रल मार्केट) तत्काल प्रभाव से अगले आदेश के लिए बंद किया जाए।’’
चैंबर ऑफ ट्रेड एंड इंडस्ट्री के अध्यक्ष बृजेश गोयल ने कहा कि प्रशासन समस्या को हल करने के बजाय व्यापारियों और बाजार संघों पर भीड़ को नियंत्रित करने की जिम्मेदारी सौंप रहा है।
गोयल ने कहा, ''यह पुलिस, एमसीडी और प्रशासन का काम है। हम भीड़ को कैसे नियंत्रित कर सकते हैं, हमारे पास इसे करने की शक्ति नहीं है।
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