"कांग्रेस को हिंदू का मतलब नहीं पता, वो राम का अस्तित्व नहीं मानती है क्योंकि वो सोनिया गांधी की पूजा करती है", योगी सरकार के मंत्री ने कहा
By आशीष कुमार पाण्डेय | Published: January 2, 2024 07:08 AM2024-01-02T07:08:23+5:302024-01-02T07:18:33+5:30
योगी सरकार के श्रम राज्य मंत्री रघुराज सिंह ने राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा समारोह में भाग लेने में कांग्रेस के अनिर्णय की स्थिति का उपहास उड़ाते हुए कहा कि कांग्रेस राम मंदिर की नहीं, बल्कि सोनिया गांधी की पूजा करती है।
लखनऊ: उत्तर प्रदेश सरकार के श्रम राज्य मंत्री रघुराज सिंह ने बीते सोमवार को राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा समारोह में भाग लेने में कांग्रेस के अनिर्णय की स्थिति का उपहास उड़ाते हुए कहा कि कांग्रेसराम मंदिर की नहीं, बल्कि सोनिया गांधी की पूजा करती है।
समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार उन्होंने कहा, "राम मंदिर का तो कांग्रेस पहले विरोध भी करती थी, उसने कहा था कि भगवान राम का कोई अस्तित्व नहीं है। हमने सभी को आमंत्रित किया है, लेकिन कांग्रेस वाले खुद को हिंदू कहने के लिए तैयार ही नहीं हैं। उन्हें हिंदू का मतलब नहीं पता है। वे मंदिर नहीं जाते क्योंकि वे सोनिया गांधी की पूजा करते हैं।''
इस बीच केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने राम मंदिर के प्राण-प्रतिष्ठा समारोह पर बोलते हुए कहा, ''कई सौ वर्षों के संघर्ष के बाद राम मंदिर का प्राण-प्रतिष्ठा समारोह 22 जनवरी को होगा। आज राम भक्त घर-घर जा रहे हैं और सभी को इस पावन कार्य में शामिल होने का निमंत्रण दे रहे हैं। हालांकि 22 जनवरी को हर कोई अयोध्या न जाए क्योंकि वहां बहुत भीड़ होगी। इसलिए लोगों को राम मंदिर के उद्घाटन के बाद यूपी सरकार और मंदिर समिति के दिशानिर्देशों का पालन करते हुए वहां जाना चाहिए।"
इस बीच जब उनसे उन लोगों के बारे में पूछा गया जो निमंत्रण के बावजूद राम मंदिर के प्रतिष्ठा समारोह में शामिल नहीं होने जा रहे हैं तो केंद्रीय मंत्री धर्मेद्र प्रधान ने व्यंग्य भरे लहजे में कहा, "जो निमंत्रण के मिलने के बाद भी नहीं जा रहे हैं, उन्हें तो हनुमानजी वहां ले आएंगे।"
वहीं सीपीएम नेता सीताराम येचुरी ने सोशल प्लेटफॉर्म एक्स पर किये एक पोस्ट में ऐलान किया कि वो अयोध्या में हो रहे राम मंदिर के उद्घाटन समारोह में शामिल नहीं होंगे। इसके साथ उन्होंने भाजपा पर आरोप लगाया कि वह राम मंदिर का इस्तेमाल 'राजनीतिक फायदे' के लिए कर रही है।
येचुरी ने पोस्ट में कहा, "सीपीएम की नीति धार्मिक मान्यताओं का सम्मान करने और प्रत्येक व्यक्ति के अपने विश्वासों को आगे बढ़ाने के अधिकार की रक्षा करने की रही है। धर्म एक व्यक्तिगत पसंद का मामला है, इसे राजनीतिक लाभ के लिए नहीं किया जाना चाहिए लेकिन यह सरकार द्वारा प्रायोजित कार्य है, जिसमें प्रधानमंत्री और यूपी के मुख्यमंत्री मौजूद रहेंगे।''
सीपीएम से पहले शिवसेना (यूबीटी) नेता संजय राउत ने भी इस मुद्दे पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि उनकी पार्टी के कार्यकर्ता अयोध्या राम मंदिर उद्घाटन समारोह में शामिल नहीं होंगे।
राज्यसभा सांसद संजय राउत ने मोदी सरकार पर हमला करते हुए कहा, "उनके पास एक विज्ञापन प्रणाली है जिसके अनुसार वे काम करते हैं। वे चीजों का विज्ञापन करने में बेहद अच्छे हैं। अयोध्या का राम मंदिर उद्घाटन समारोह लोगों का ध्यान बेरोजगारी, मुद्रास्फीति, कश्मीर और मणिपुर जैसे वास्तविक मुद्दों से भटकाने का एक तरीका है।"
हालांकि, कांग्रेस नेता सोनिया गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे ने राम मंदिर के प्रतिष्ठा समारोह में शामिल होने का निमंत्रण स्वीकार कर लिया है। इस बीच हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने साफ कर दिया है कि चाहे उन्हें निमंत्रण मिले या न मिले, वो राम मंदिर समारोह में शामिल होंगे।
सीएम सुक्खू ने कहा, "अगर उद्घाटन में भाग लेने के लिए निमंत्रण आता है तो ठीक और नहीं तो भी ठीक। हम वहां जरूर जाएंगे और समारोह में भाग लेंगे।"