अलग-अलग मुद्दों पर कांग्रेस-AIDMK और TDP का हंगामा, संसद की कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित
By भाषा | Published: December 20, 2018 05:40 PM2018-12-20T17:40:53+5:302018-12-20T17:40:53+5:30
सदन की कार्यवाही दो बार के स्थगन के बाद जब दिन में दो बजे आरंभ हुई तो केंद्रीय खाद्य आपूर्ति और उपभोक्ता मामलों के मंत्री राम विलास पासवान ने उपभोक्ता संरक्षण विधेयक, 2018 पर अपनी बात कही।
संसद के शीतकालीन सत्र के सातवें कामकाजी दिन भी विभिन्न मुद्दों पर हंगामे के कारण लोकसभा की कार्यवाही बाधित हुई। राफेल मामले में कांग्रेस एवं भाजपा तथा अलग-अलग मुद्दों पर अन्नाद्रमुक और तेलुगु देसम पार्टी (तेदेपा) के सदस्यों के हंगामे के कारण बृहस्पतिवार को लोकसभा की कार्यवाही दो बार के स्थगन के बाद दिन भर के लिये स्थगित कर दी गई ।
सदन की कार्यवाही दो बार के स्थगन के बाद जब दिन में दो बजे आरंभ हुई तो केंद्रीय खाद्य आपूर्ति और उपभोक्ता मामलों के मंत्री राम विलास पासवान ने उपभोक्ता संरक्षण विधेयक, 2018 पर अपनी बात कही।
इसके बाद विधेयक पर चर्चा शुरू हुई और इसी दौरान कांग्रेस के सदस्य फिर से आसन के समीप आकर नारेबाजी करने लगे। तेदेपा के एम श्रीनिवास राव अपनी पार्टी से अकेले आसन के समीप खड़े थे।
शोर-शराबे के बीच सदन में ‘उपभोक्ता संरक्षण विधेयक’ पर चर्चा पूरी हुई और इसे पारित किया गया।
सदन में ‘राष्ट्रीय स्वपरायणता (आटिज्म) प्रमस्तिष्क घात (सेरिब्रल पेलिसी), मानसिक मंदता (मेंटल रिटार्डेशन) और बहु-निशक्तताग्रस्त (मल्टीप्ल डिसेबिल्टीज) कल्याण न्यास (संशोधन) विधेयक 2018’’ को भी हंगामे में पारित किया गया।
विधायी कार्यसूची के तहत तीन तलाक विरोधी ‘मुस्लिम विवाह अधिकार संरक्षण विधेयक’ पर बृहस्पतिवार को चर्चा होनी थी, लेकिन सदन में कांग्रेस के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे के आग्रह पर लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने इसे 27 दिसंबर की कार्यसूची में शामिल करने का फैसला किया।
इससे पहले शून्यकाल आरंभ होने पर भाजपा सदस्य भी अध्यक्ष के आसन के निकट पहुंचकर नारेबाजी करने लगे। वे राफेल मामले में उच्चतम न्यायालय के फैसले की पृष्ठभूमि में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी से माफी की मांग कर रहे थे। कांग्रेस के सदस्यों ने राफेल मामले की जांच के लिए संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) के गठन की मांग करते हुए नारेबाजी की। शून्यकाल के दौरान सदस्यों के हंगामे के बीच ही अध्यक्ष ने आवश्यक कागजात सभा पटल पर रखवाये। इसी दौरान वित्त मंत्री अरूण जेटली ने 2018-19 के लिए अनुदान की पूरक मांगें -दूसरा बैच दर्शाने वाला एक विवरण पेश किया।
जेटली ने सदन में कंपनी (संशोधन) विधेयक-2018 भी पेश किया। शोर-शराबे के बीच अन्नाद्रमुक के पी वेणुगोपाल ने कावेरी नदी पर बांध का मुद्दा उठाया और कहा कि इससे किसान बड़े पैमाने पर प्रभावित हुए हैं। इस दौरान कर्नाटक के भाजपा सांसदों एवं अन्नाद्रमुक के सदस्यों के बीच हल्की नोंकझोंक भी हुई।
राजद के जयप्रकाश नारायण यादव और राजद से निष्कासित राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव ने बिहार में सूखे की स्थिति का मुद्दा उठाने का प्रयास किया। लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने सदस्यों से शांति बनाये रखने और चर्चा की अपील की, लेकिन हंगामा नहीं थमा। इसके बाद उन्होंने करीब 12:20 बजे सदन की कार्यवाही दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी। इससे पहले, बृहस्पतिवार सुबह कार्यवाही आरंभ होने पर इन्हीं मुद्दों को लेकर हंगामा जारी रहा। राफेल मामले की जांच के लिए जेपीसी के गठन की मांग करते हुए कांग्रेस के सदस्य अध्यक्ष के आसन के पास आ गए । तेदेपा सदस्य भी आंध्रप्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग करते हुए हाथों में तख्तियां लेकर आसन के पास आ गए । शोर शराबे के बीच ही अध्यक्ष ने देश में बुनकरों एवं वस्त्र क्षेत्र के कामगारों की कर्ज संबंधी तथा दूसरी समस्याओं से जुड़़ा प्रश्न लिया । इस पर वस्त्र राज्य मंत्री अजय टम्टा ने पूरक प्रश्न के उत्तर भी दिये । लोकसभा अध्यक्ष महाजन ने सदस्यों से अपने स्थान पर जाने और सदन की बैठक चलने देने का आग्रह किया । हंगामा थमता नहीं देख उन्होंने कार्यवाही शुरू होने के करीब 10 मिनट बाद ही बैठक दोपहर 12 बजे तक के लिये स्थगित कर दी ।