सत्ता में आने के बाद CM योगी के वे बड़े फैसले जिन्होंने बटोरी सुर्खियां
By लोकमत समाचार हिंदी ब्यूरो | Updated: December 21, 2017 18:43 IST2017-12-21T15:00:06+5:302017-12-21T18:43:08+5:30
19 मार्च को प्रदेश के नवनिवर्चित सीएम योगी आदित्यनाथ ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ली।

सत्ता में आने के बाद CM योगी के वे बड़े फैसले जिन्होंने बटोरी सुर्खियां
इसी साल यूपी में विधानसभा चुनाव हुए और बीजेपी ने प्रचंड बहुमत के साथ अपनी सरकार बनाई। 19 मार्च को प्रदेश के नवनिवर्चित सीएम योगी आदित्यनाथ ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ली, जिसके बाद यूपी राजनीति का पूरा रुख बदल गया। योगी ने सरकार में आते ही कई ऐसे फैसले लिए जिन्होंने विपक्ष के साथ जनता को भी आश्चर्य में डाल दिया। आइए नजर डालते हैं योगी सरकार के उन फैसलों के बार में जिन्होंने सबका ध्यान अपनी और आकर्षित किया।
बूचड़खानों पर रोक
सरकार बनते ही योगी के जिस फैसले ने सुर्खियां बटोरी वो थी अवैध बूचड़खानों पर रोक। गोरक्षा को लेकर योगी सरकार ने आते ही अवैध बूचड़खानों पर ताले लटका दिए, जिसके चलते कई मीट व्यापारियों का उनसे रोजगार चला गया। सरकार के इस फैसले का दुरुपयोग भी हुआ और जमकर विरोध भी किया गया।
एंटी रोमियो स्क्वॉड
लड़कियों की सुरक्षा के मुद्दे पर चुनाव लड़ने वाली बीजेपी ने सरकार में आते ही इस पर एक्शन लिया। योगी सरकार ने स्कूल, कॉलेज और सार्वजनिक स्थानों पर महिलाओं पर कमेंट, छेड़खानी करने वालों के खिलाफ बड़े ही जोर-शोर से (एंटी रोमियो स्क्वॉड) अभियान चलाया गया था। इसके चलते कई जगह तो पुलिसकर्मियों ने प्रेमी जोड़ों को परेशान करना शुरू कर दिया। हालांकि बाद में शासन की ओर से साफ किया गया कि कोई अपनी मर्जी से कहीं घूमता है तो कार्यवाही नहीं होगी, लेकिन इस एक्शन के कारण कई निर्दोषों को इसका भुगतान करना पड़ा है।
परिनिर्वाण दिवस की छुट्टी की रद्द
योगी सरकार ने परिनिर्वाण दिवस की छुट्टी रद्द करके सभी को हैरत में डाला था। सरकार के इस फैसले जमकर विरोध किया। सरकार ने ये फैसला डॉ. भीमराव अंबेडकर की छुट्टी रद्द करके किया। हालांकि बाद में योगी आदित्यनाथ ने सफाई देते हुए कहा कि महापुरुषों का दिन छोटा नहीं बड़ा होना चाहिए। छुट्टी रद्द करने पर योगी आदित्यनाथ बोले कि छुट्टी के चलते बच्चे महापुरुषों के योगदान को भूल जाते हैं। स्कूलों और सरकारी ऑफिस में आज के दिन महापुरुषों के योगदान पर चर्चा होनी चाहिए। इसके बाद यूपी में कई छुट्टियों को रद्द कर दिया गया।
नीली और लाल बत्ती भी हुई गायब
पीएम मोदी के लाल बत्ती पर रोक लगाने के फैसले को योगी आदित्यनाथ ने यूपी में 10 दिन पहले ही लागू कर दिया। उन्होंने अपनी सरकार के किसी भी मंत्री को नीली बत्ती के प्रयोग ना करने के निर्देश दिए थे। यानी प्रशासनिक अधिकारी भी नीली बत्ती नहीं लगा पाएंगे। उन्होंने केंद्र के इस फैसले की तारीफ करते हुए कहा भी था कि लालबत्ती हटाने के केन्द्र सरकार के ऐतिहासिक फैसले का हम स्वागत करते हैं।