कांग्रेस ने कहा- बल्ला कांड के आरोपी BJP विधायक आकाश विजयवर्गीय सरकारी अफसर और मतदाताओं से मांगें माफी
By भाषा | Updated: July 18, 2019 14:17 IST2019-07-18T14:17:36+5:302019-07-18T14:17:36+5:30
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता नीलाभ शुक्ला ने यहां जारी बयान में कहा कि मीडिया खबरों के मुताबिक सरकारी अफसर की बल्ले से पिटाई करने के मामले में आकाश ने भाजपा की प्रदेश इकाई से लिखित तौर पर माफी मांग ली है।

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बहुचर्चित बल्ला कांड पर भाजपा को घेरते हुए मध्यप्रदेश में सत्तारूढ़ कांग्रेस ने बृहस्पतिवार को कहा कि स्थानीय विधायक आकाश विजयवर्गीय को उनकी पिटाई के शिकार सरकारी अफसर और मतदाताओं से सार्वजनिक तौर पर माफी मांगनी चाहिये। कांग्रेस का यह बयान ऐसे वक्त आया, जब मीडिया के एक तबके में खबरें हैं कि भाजपा के 34 वर्षीय विधायक ने इंदौर नगर निगम के एक भवन निरीक्षक को क्रिकेट के बल्ले से पीटने की 22 दिन पुरानी घटना को लेकर अपनी पार्टी की राज्य इकाई को माफीनामा भेजा है।
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता नीलाभ शुक्ला ने यहां जारी बयान में कहा, "मीडिया खबरों के मुताबिक सरकारी अफसर की बल्ले से पिटाई करने के मामले में आकाश ने भाजपा की प्रदेश इकाई से लिखित तौर पर माफी मांग ली है। लेकिन इस दिखावटी माफीनामे का कोई मतलब नहीं है, क्योंकि भाजपा की प्रदेश इकाई तो अपनी पार्टी के इस विधायक को बल्ला कांड में पहले ही दिन से बचाने का प्रयास कर रही है।"
उन्होंने कहा, "आकाश को अपने दुर्व्यवहार के लिये उस सरकारी अफसर से सार्वजनिक तौर पर क्षमा याचना करनी चाहिए जिसे उन्होंने बल्ले से सरेआम पीटकर अपमानित किया था। भाजपा विधायक को उन मतदाताओं से भी माफी मांगनी चाहिए, जिन्होंने उन्हें चुनकर विधानसभा भेजा है।"
बल्ला कांड को लेकर माफीनामे की खबरों पर आकाश की प्रतिक्रिया कई प्रयासों के बावजूद अब तक नहीं मिल सकी है। शहर के क्षेत्र क्रमांक-तीन की विधानसभा में नुमाइंदगी करने वाले 34 वर्षीय नेता भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय के पुत्र हैं और पहली बार विधायक बने हैं।
गौरतलब है कि बल्ला काण्ड की पृष्ठभूमि में खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भाजपा के संसदीय दल की बैठक में पार्टी नेताओं को कड़े शब्दों में नसीहत दी थी। सूत्रों के मुताबिक प्रधानमंत्री ने इस बैठक में सख्त लहजे में कहा था कि बेटा किसी का भी हो, पार्टी में मनमानी नहीं चलेगी।
शहर के गंजी कम्पाउंड क्षेत्र के एक जर्जर मकान को ढहाने की मुहिम के विरोध के दौरान 26 जून को बड़ा विवाद हुआ था। इस दौरान आकाश ने नगर निगम के भवन निरीक्षक को क्रिकेट के बल्ले से पीट दिया था। भाजपा विधायक बल्ला काण्ड में गिरफ्तारी के बाद जिला जेल से जमानत पर रिहा हुए थे।