बिहार: ललन सिंह का भाजपा पर जबरदस्त हमला, बोले- "भाजपा पार्टी नहीं बल्कि 'वाशिंग मशीन' है"
By एस पी सिन्हा | Published: August 26, 2022 08:03 PM2022-08-26T20:03:15+5:302022-08-26T20:07:02+5:30
जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह ने कहा कि भाजपा एक ऐसी वाशिंग मशीन है, जिसमें कितना भी दाग लगाकर घुस जाइए, जैसे ही कमल के निशान पर पट्टा गर्दन में पड़ता है, सारे दाग अपने आप धुल जाते हैं।
पटना: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पार्टी जनता दल यूनाइटेड के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह ने भारतीय जनता पार्टी पर जमकर हमला बोला है। ललन सिंह ने भाजपा पर भारी तंज कसते हुए कहा कि भाजपा पार्टी नहीं, बल्कि एक वाशिंग मशीन है।
उन्होंने कहा कि इस मशीन में कितना भी दाग लगाकर घुस जाइए, जैसे ही कमल के निशान पर पट्टा गर्दन में पड़ता है, सारा दाग अपने आप धुल जाता है। यही नहीं आज पूरे देश में नफरत का माहौल कायम है तो इसके पीछे भी भाजपा है। उन्होंने कहा कि जिस भी राज्य में जो भी पार्टी इनका विरोध करती है, उसके नेताओं पर सीबीआई और ईडी की रेड करवा देते हैं और फिर उन्हें डरा-धमका कर अपने पक्ष में कर लेते हैं।
ललन सिंह ने कहा कि हमारी पार्टी के मुख्यमंत्री और विधायक अभी तक किसी भी भ्रष्टाचार में लिप्त नहीं हैं। इस कारण हम लोग सीबीआई और ईडी से डरने वाले नहीं हैं। यदि इनकी बात मानकर इनके साथ रहिए तो आपको आराम से रहने देंगे वरना ये आपको परेशान करते रहेंगे।
उन्होंने कहा कि इसका उदाहरण केवल बिहार में नहीं झारखंड, बंगाल और महाराष्ट्र में देखने को मिला है। इसके साथ ही ललन सिंह ने कहा कि आज कल भाजपा के लोग विश्वासघात का राग अलाप रहें हैं। अरे उन्हें इस तरह की बात बोलने से पहले कुछ तो सोचना चाहिए। अब देख लीजिए कि भाजपा मुम्बई, दिल्ली और झारखंड में क्या खेल कर रही है।
आखिर जदयू इस बात को कैसे बात बर्दाश्त कर सकती है कि अगर किसी पार्टी का राष्ट्रीय अध्यक्ष पटना में आकर कहे कि आगामी चुनाव में वो सभी क्षेत्रीय पार्टियों को खत्म कर देंगे, अब भला किस तरह से हम लोग इसे कबूल करते। इसके साथ ललन सिंह ने अंत में कहा कि आज जितना घमंड लेकर वो केंद्र की सत्ता में बैठे हैं तो उसके पीछे क्षेत्रीय पार्टियों की ही ताकत है, लेकिन वो बहुत जल्दी हर बात को भूल जाने वाले लोग हैं।
लेकिन वो इस बात को अच्छे से याद रखें कि आने वाले लोकसभा चुनाव में उन्हें हमारी ताकत का अच्छे से पता चल जाएगा। सभी विपक्षी ताकतों ने मिलकर फैसला किया है कि वो लोकसभा और विधानसभा का उनके खिलाफ मिलकर चुनाव लड़ेंगे। अब देखना है कि बिना क्षेत्रीय दलों के वो कैसे अपना बेड़ा पार लगाते हैं।