अनुच्छेद 370ः कश्मीर में TV के जरिए कोई पूछ रहा है अपनों का हालचाल, तो कोई बता रहा है अपनी कुशलक्षेम

By भाषा | Published: August 16, 2019 02:22 PM2019-08-16T14:22:57+5:302019-08-16T14:22:57+5:30

स्थानीय कैबल चैनलों और राष्ट्रीय समाचार चैनलों के क्षेत्रीय चैनलों पर लोगों के संदेश प्रसारित किए जा रहे हैं और ये संदेश तरह-तरह के हैं। कुछ लोग घाटी में अपने रिश्तेदारों का हाल चाल जानना चाहते हैं तो कुछ ने पोस्ट किया कि वे ठीक हैं और अन्य लोगों ने सूचना देने के लिए इस माध्यम का इस्तेमाल किया।

Article 370: In Kashmir, someone is asking about their well being through TV, then someone is telling their skills | अनुच्छेद 370ः कश्मीर में TV के जरिए कोई पूछ रहा है अपनों का हालचाल, तो कोई बता रहा है अपनी कुशलक्षेम

एक अधिकारी के मुताबिक, देश और विदेश के विभिन्न हिस्सों से हजारों संदेश मिले हैं।

Highlightsएक निजी चैनल के अधिकारी ने बताया कि जम्मू कश्मीर सरकार ने करीब 300 पीसीओ स्थापित किए हैं।से लोगों की संख्या में काफी कमी आयी है लेकिन फिर भी चैनल की हेल्पलाइनों पर संदेश मिल रहे हैं।

कश्मीर में फोन और इंटरनेट कनेक्शन बंद होने के कारण टेलीविजन चैनल घाटी में रह रहे लोगों तथा देश और विदेश में अन्य लोगों के बीच संचार के साधन बन गए हैं।

स्थानीय कैबल चैनलों और राष्ट्रीय समाचार चैनलों के क्षेत्रीय चैनलों पर लोगों के संदेश प्रसारित किए जा रहे हैं और ये संदेश तरह-तरह के हैं। कुछ लोग घाटी में अपने रिश्तेदारों का हाल चाल जानना चाहते हैं तो कुछ ने पोस्ट किया कि वे ठीक हैं और अन्य लोगों ने सूचना देने के लिए इस माध्यम का इस्तेमाल किया।

एक निजी चैनल के अधिकारी ने बताया कि जम्मू कश्मीर सरकार ने करीब 300 पीसीओ स्थापित किए हैं जिसके कारण ऐसे लोगों की संख्या में काफी कमी आयी है लेकिन फिर भी चैनल की हेल्पलाइनों पर संदेश मिल रहे हैं। असम के लखीमपुर की पूजा मिश्रा ने एक चैनल पर संदेश पोस्ट करके कहा कि वह सेना में काम करने वाले और राज्य में तैनात अपने भाई का हाल चाल जानना चाहती हैं।

उत्तर प्रदेश की पिंकी ने चरार-ए-शरीफ में अपने दोस्त बासित से पूछा कि वह और उनका परिवार कैसा है। शादियों को लेकर भी कई संदेश मिल रहे हैं जिनमें बताया जा रहा है शादी ‘‘सादगी’’ से की जाएगी। बेंगलुरु में पढ़ाई कर रहे कुपवाड़ा के खालिद ने अपने परिवार को बताया कि वह ठीक है और उनसे अगले महीने आने वाली उसकी बहन के हाथ किताबें भेजने के लिए कहा।

ये संदेश केवल देश में रह रहे लोगों तक ही सीमित नहीं है। बल्कि कतर, सऊदी अरब, दुबई और कुवैत से भी संदेश मिल रहे हैं। बांग्लादेश में पढ़ाई कर रहे कई छात्रों ने अपनी सुरक्षा के बारे में पोस्ट किया। चैनल के अधिकारियों ने बताया कि यह निशुल्क है।

एक अधिकारी के मुताबिक, देश और विदेश के विभिन्न हिस्सों से हजारों संदेश मिले हैं। उन्होंने कहा, ‘‘हमारा हैदराबाद में एक विशेष नंबर है। लोग व्हाट्सएप के जरिए संदेश भेज सकते हैं और हम उनका इस्तेमाल टिकर पर करेंगे।’’ केंद्र द्वारा जम्मू कश्मीर का विशेष दर्जा हटाने के बाद पांच अगस्त से घाटी में संचार सेवाएं बंद हैं। केंद्र ने राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों जम्मू कश्मीर और लद्दाख में विभाजित करने की भी घोषणा की। 

Web Title: Article 370: In Kashmir, someone is asking about their well being through TV, then someone is telling their skills

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