MP: एक्शन में आए सीएम शिवराज चौहान, सीधी मामले में आरोपी थाना प्रभारी समेत सब इंस्पेक्टर को किया लाइन हाजिर, पुलिस ने दुर्व्यवहार की बात से किया इंकार
By आजाद खान | Published: April 8, 2022 09:40 AM2022-04-08T09:40:32+5:302022-04-08T09:53:01+5:30
पुलिस ने अपने बयान में कहा है, "पकड़े हुए लोग पूरे नग्न नहीं थे। हम सुरक्षा की दृष्टी से उनको हवालात में अंडरवियर में रखते हैं।"
भोपाल: मध्यप्रदेश के सीधी जिले के पत्रकार-यूट्यूबर्स के साथ अन्य प्रदर्शनकारियों के कपड़े उतारवाकर उन्हें थाने में खड़ा करना और फिर जेल में डाल देने का मामला सामने आया था। इसके बाद उनकी अर्धनग्न फोटो को सोशल मीडिया पर पुलिस द्वारा अपलोड किया गया था। इस पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने संज्ञान लिया है और पुलिस का भी बयान अब जाकर सामने आया है। सीएम चौहान ने भोपाल पुलिस मुख्यालय से इस मामले पर स्पष्टीकरण मांगा है और साथ ही दोषी पुलिसकर्मियों पर कड़ी कार्रवाई करने की बात भी कही है। वहीं पुलिस ने अपने बयान में किसी तरीके का गलत वय्वहार करने की बात से इंकार किया और थाने में उनके कपड़े उतरवाने के पीछे उनकी सुरक्षा बताया है।
सीधी एसपी मुकेश श्रीवास्तव के मुताबिक, इस पर कार्रवाई करते हुए थाना प्रभारी मनोज सोनी और एक सब इंस्पेक्टर को लाइन हाजिर किया गया है और मामले की जांच उच्च अधिकारी को सौंप दी है।
कुछ दिन पहले थाने में एक आदमी के खिलाफ FIR दर्ज़ हुई थी। यह आदमी फर्जी ID बनाकर प्रतिष्ठित लोगों को अपशब्द बोलता था। आरोपी की तरफ से 25-30 लोगों ने थाने के सामने प्रदर्शन किया। इन लोगों को हवालात में डाल दिया। इनमें से एक ही पत्रकार है जो यूट्यूब पर काम करता है: SHO मनोज सोनी https://t.co/YLob2Gt0TApic.twitter.com/4yGUA2vjI5
— ANI_HindiNews (@AHindinews) April 7, 2022
ऐसे पहुंचे आरोपी थाने तक
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सीधी विधायक पं.केदारनाथ शुक्ला के विधायक पुत्र गुरुदत्त शरण पर अभद्र टिप्पणी करने पर यह मामला शुरू हुआ था। बताया जा रहा है कि गुरुदत्त शरण के खिलाफ एक फर्जी आईडी से फेसबुक पोस्ट और कमेंट्स किए जा रहे थे। इस पर पुलिस से जब शिकायत की गई तो शुक्रवार को रंगकर्मी व इंद्रवती नाट्य समिति संचालक नीरज कुंदेर की पुलिस द्वारा गिरफ्तारी हुई थी। मामले में आरोप लगा है कि विधायक को अनुराग मिश्रा के फर्जी आईडी से नीरज ही पोस्ट और कमेंट्स करता था। नीरज की गिरफ्तारी के बाद उसके समर्थन में कुछ लोग आए और थाने के बाहर विरोध-प्रदर्शन करने लगे। इस दौरान पुलिस ने प्रदर्शन कर रहे लोगों को गिरफ्तार कर लिया जिसमें पत्रकार-यूट्यूबर कनिष्क तिवारी भी शामिल थे।
कनिष्क तिवारी के क्यों उतारे गए कपड़े
जानकारी के अनुसार, पीड़ित पत्रकार कनिष्क तिवारी ने बताया कि वह थाने के बाहर रंगकर्मी नीरज कंदेर की रिहाई की मांग कर रहे लोगों की खबर को कवर करने के लिए गए, तभी पुलिस ने सभी प्रदर्शनकारियों समेत उन्हें भी पकड़ लिया और थाने के अंदर कपड़े उतरवाए। पत्रकार के अनुसार, इसके बाद पुलसि ने उन्हें अर्धनग्न हालत में जेल में भी रखा था और इसके बाद पुलिस द्वारा ही उनकी फोटो खिंच कर वायरल कर दिया गया था। कनिष्क तिवारी ने बताया कि थाना प्रभारी मनोज सोनी ने विधायक के खिलाफ खबर नहीं चलाने की बात कही थी, खबर चलाने पर इसी तरीके से हालत करने की बात कही थी। तिवारी ने बताया कि सामाजिक मुद्दों को लेकर कई बार खबरों के माध्यम से विधायक को घेरने का भी आरोप उन पर है।
कनिष्क तिवारी ने अपने वीडियो में कहा कि सीधी पुलिस ने उन्हें हिरासत में लेकर विधायक केदारनाथ शुक्ल के खिलाफ खबर नहीं चलाने की ताकीद की। कनिष्क तिवारी ने बताया कि वो दिल्ली स्थिति कुछ टीवी चैनलों के लिए सीधी से स्ट्रिंगर के तौर पर काम करते हैं और बघेली भाषा में एक यूट्यूब चैनल भी चलाते हैं।
पुलिस ने क्या दी सफाई
मामले में बयान देते हुए पुलिस ने पुलिस ने किसी दुर्व्यवहार की बात से इंकार किया और कहा, "पकड़े हुए लोग पूरे नग्न नहीं थे। हम सुरक्षा की दृष्टी से उनको हवालात में अंडरवियर में रखते हैं जिससे कोई व्यक्ति अपने कपड़ों से खुद को फांसी न लगा ले। सुरक्षा की वजह से हम उनको ऐसे रखते हैं।" वहीं इस मामले का संज्ञान खुद सीएम चौहान ने भी लिया है और कार्रवाई की बात कही है। पुलिस द्वारा शेयर की गई तस्वीरें सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रही है।