कानपुर शूटआउट में शहीद पुलिसकर्मी के पिता ने कहा- योगी जी के आंखों में क्रोध व छाती में धधकती ज्वाला देख लगा था कि इंसाफ मिलेगा
By अनुराग आनंद | Published: July 10, 2020 02:52 PM2020-07-10T14:52:52+5:302020-07-10T14:52:52+5:30
लखनऊ: कानपुर मुठभड़े (Kanpur Encounter) का मुख्य आरोपी विकास दुबे एनकाउंटर (vikas Dubey Encounter) में शुक्रवार (10 जुलाई) सुबह मारा गया। हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे के एनकाउंटर में मारे जाने के बाद 3 जुलाई 2020 को कानपुर के बिकरू गांव में मुठभेड़ में जान गंवाने वाले शहीद के परिवार वालों ने प्रतिक्रियाएं दी हैं।
कानपुर शूटआउट में शहीद पुलिसकर्मी जितेंद्र के पिता तीर्थ पाल सिंह ने विकास दुबे के कथित मुठभेड़ में मारे जाने खुशी प्रकट की है। यही नहीं उन्होंने उत्तर प्रदेश पुलिस की तारीफ भी की है।
आज तक की मानें तो तीर्थ पाल सिंह ने कहा कि मैं अपने बेटे की शव लेने गया तो वहां मौजूद यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ के आंखों में क्रोध और उनकी छाती में धधकती हुई ज्वाला को मैंने देखा। तीर्थ पाल सिंह ने कहा कि हमें तो तभी लग गया था कि इंसाफ जरूर मिलेगा। तीर्थ पाल ने यह भी बताया कि योगी जी को देखकर मैं समझ गया था, फिर मैंने अपनी पत्नी को सांत्वना देते हुए कहा कि अब योगी जी इसका काम कर देंगे।
इसके अलावा, कानपुर शूटआउट में शहीद हुए कॉन्स्टेबल सुल्तान सिंह की पत्नी उर्मिला वर्मा ने है, ''मैं संतुष्ट हूं। लेकिन अब यह कैसे सामने आएगा कि कौन उसे (विकास दुबे) सपॉर्ट कर रहा था? उससे पूछताछ करके यह खुलासा नहीं किया जा सका।'
कानपुर पुलिस ने बताया आखिर कैसे हुआ विकास दुबे का एनकाउंटर
कानपुर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक दिनेश कुमार ने बताया, तेज बारिश हो रही थी। पुलिस ने गाड़ी तेज भगाने की कोशिश की जिससे वह डिवाइडर से टकराकर पलट गयी और उसमें बैठे पुलिसकर्मी घायल हो गये। उसी मौके का फायदा उठाकर दुबे ने पुलिस के एक जवान की पिस्तौल छीनकर भागने की कोशिश की और कुछ दूर भाग भी गया।
तभी पीछे से एस्कार्ट कर रहे एसटीएफ के जवानों ने उसे गिरफ्तार करने की कोशिश की और उसी दौरान उसने एसटीएफ पर गोली चला दी जिसके जवाब में जवानों ने भी गोली चलाई और वह घायल होकर गिर पड़ा।
हमारे जवान उसे अस्पताल लेकर गये जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। IG कानपुर रेंज मोहित अग्रवाल ने कहा, घटना में पुलिस के चार लोग भी घायल हुए हैं, उनका इलाज चल रहा है।
जानें कानपुर शूटआउट में क्या हुआ?
उत्तर प्रदेश के कानपुर में पुलिस की एक टीम ने दो और तीन जुलाई की मध्य रात्रि (एक से डेढ़ बजे के करीब) को चौबेपुर पुलिस थाने के अंतर्गत बिकरू गांव में हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे को गिरफ्तार करने के लिए छापेमारी करने पहुंची। जैसे ही पुलिस का एक दल हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे के घर के पास पहुंचने ही वाला था।
उसी दौरान एक इमारत की छत से पुलिस दल पर अंधाधुंध गोलीबारी की गई। ये सब इतनी जल्दीबाजी में हुआ कि पुलिस को संभलने का मौक नहीं मिला। जिसमें पुलिस उपाधीक्षक सहित उत्तर प्रदेश पुलिस के आठ पुलिसकर्मी शहीद हो गए। जबकि दो अपराधी भी इस दौरान मारे गए।
शहीद होने वाले पुलिसकर्मियों में बिल्हौर के क्षेत्राधिकारी डिप्टी एसपी देवेंद्र मिश्रा (54), थानाध्यक्ष शिवराजपुर महेश कुमार यादव (42), सब इंस्पेक्टर अनूप कुमार सिंह (32), सब इंस्पेक्टर नेबू लाल (48), कांस्टेबिल जितेंद्र पाल (26), सुल्तान सिंह (35), बबलू कुमार (23) और राहुल कुमार (24) शामिल हैं।