नागपुर, 07 नवंबर: नागपुर में चीनी पटाखों की बिक्री और उपयोग पर पाबंदी है. इन पटाखों में चूंकि पोटेशियम क्लोरेट की मात्रा अधिक होती है इसलिए इन्हें प्रतिबंधित किया गया है. लेकिन शहर में चीनी पटाखे खुलेआम बिक रहे हैं. खासतौर पर खुदरा दुकानों पर यह सहज उपलब्ध हैं. बुधवार (सात नवंबर) को पूरे देश में धूमधाम से दीपावली मनायी जा रही है।
नागपुर के गांधीबाग, जरीपटका, इतवारी के लाल इमली परिसर के साथ-साथ सीए रोड के कई दुकानदार पटाखों वाली बंदूकें बेच रहे हैं. इनमें से कई दुकानों में चीनी पटाखे भी उपलब्ध हैं. चीनी रॉकेट से लेकर चकरी, पटकने वाले बम (पॉपपॉप), पेंसिल, पायली, 'बम' आदि दुकानों में बिक रहे हैं.
सूत्रों का कहना है कि अधिकांश दुकानदार चीनी पटाखों का संग्रह दुकानों में नहीं रखते. वे इसके लिए अपने घर अथवा किराए के कमरे का उपयोग कर रहे हैं. दुकान पर वे थोड़ी मात्रा में ही पटाखे रख रहे हैं. मांग आने पर वे आपूर्ति कर देते हैं.
कई दुकानों ने तो घर पहुंच सुविधा भी उपलब्ध करा रखी है बॉक्स खतरनाक हैं पटाखे इस वर्ष बाजार में उपलब्ध पटाखे कुछ ज्यादा ही खतरनाक हैं. 'पॉपपॉप' पहले एक इंच से छोटे होते थे. अब यह एक से दो इंच में उपलब्ध हैं. इन्हें जमीन पर पटकने से तेज आवाज होती है.
ऐसा ही एक खतरनाक पटाखा है जिसे मिसाइल का नाम दिया गया है. इसे चीनी बंदूक में उपयोग किया जाता है. बहरहाल सबसे खतरनाक पटाखा 'हैंड ग्रेनेड' है. इसे वास्तविक 'ग्रेनेड' जैसे उपयोग किया जाता है. इसमें एक हुक होता है जो एक डोरी से बंधा रहता है. डोरी खींचते ही हुक खुलता है कि धुआं निकलने लगता है. कुछ ही सेकेंड में यह फट भी जाता है.
नागपुर में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) का मुख्यालय स्थित है। नरेंद्र मोदी कैबिनेट में भूतल परिवहन मंत्री नितिन गडकरी नागपुर से सांसद हैं। वहीं महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस की जन्मभूमि और कर्मभूमि भी नागपुर ही है।
वायू प्रदूषण के खतरनात स्तर तक बढ़ने की वजह से सुप्रीम कोर्ट ने प्रूदषण करने वाले पटाखों के इस्तेमाल पर रोक लगा रखी है। सर्वोच्च न्यायालय ने केवल पर्यावरण को नुकसान न पहुँचाने वाले हरित पटाखों के प्रयोग की दिवाली की रात आठ बजे से 10 बजे तक इस्तेमाल की इजाजत दी है।