बिहार: दिवाली पर अलग-अलग घटनाओं में 7 लोगों की हत्या, एक साथ परिवार के तीन लोगों को उतारा मौत के घाट
By एस पी सिन्हा | Published: October 28, 2019 02:00 PM2019-10-28T14:00:55+5:302019-10-28T14:01:10+5:30
दूसरी घटना जहानाबाद जिले के टेहटा ओपी थाना क्षेत्र स्थित देकुली गांव में बेखौफ अपराधियों ने राजद नेता मनोज यादव के भाई अवधेश यादव की गोली मारकर हत्या कर दी. जबकि तीसरी घटना में सीवान में भी एक व्यक्ति की गोली मारकर हत्या कर दी गई.
बिहार में बेखौफ अपराधियों का कहर दिवाली के दिन भी कम नहीं हुआ. राज्य के अलग-अलग हिस्सों में अपराधियों ने सात लोगों की हत्या कर के सुशासन और पुलिसिया चौकसी के दावों को खुली चुनौती दी है. इसमें राज्य के बेगूसराय जिले के सिंघौल थाना क्षेत्र के मचहा गांव में बेखौफ अपराधियों ने दिवाली की रात जमकर उत्पात मचाया और एक ही परिवार के तीन लोगों की गोली मारकर हत्या कर दी. गनीमत ये रही कि अपराधियों के पास कारतूस खत्म हो जाने की वजह से दो युवकों की जान बच गई. मृतक एक ही परिवार के बताये जा रहे हैं.
बताया जा रहा है कि मृतक कुणाल सिंह, कंचन देवी एवं उनकी पुत्री सोनम कुमारी उस वक्त घर में मौजूद थे, जब अपराधियों ने उनकी गोली मारकर हत्या कर दी. मृतक के दो पुत्र शिवम कुमार और शुभम कुमार बाहर पटाखा जला रहे थे. अपराधियों ने शिवम और शुभम को भी निशाना बनाया. लेकिन कारतूस मिसफायर हो जाने की वजह से दोनों की जान बच गई.
फिलहाल पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है. परिजनों ने आरोप लगाया है कि जमीनी विवाद और पूर्व में हुई हत्या में कुणाल सिंह के गवाह होने की वजह से मृतक के सहोदर भाई ने ही इस घटना को अंजाम दिया है.
प्राप्त जानकारी के अनुसार, सिंघौल थाना क्षेत्र के मचहा निवासी कुणाल सिंह के चाचा की चार वर्ष पूर्व हत्या कर दी गई थी और उस हत्याकांड में कुणाल सिंह की चाची चश्मदीद गवाह थी. हत्याकांड में गवाह होने की वजह से तीन वर्ष पूर्व कुणाल सिंह के चाची की भी हत्या कर दी गई थी और उसमें कुणाल सिंह गवाह थे. इसी हत्या के मामले में गवाही न देने की वजह से कुणाल सिंह के भाई विकास कुमार के द्वारा लगातार कुणाल सिंह को जान मारने की धमकी दी जा रही थी. इसके बाद रविवार की रात दीपावली की आड में विकास सिंह ने पूरे परिवार को खत्म करने की साजिश रची और कुणाल सिंह के घर पहुंच गया.
जिस वक्त अपराधियों ने इस घटना को अंजाम दिया उस वक्त कुणाल सिंह की पत्नी कंचन देवी खाना बना रही थीं और कुणाल सिंह की बेटी सोनम कुमारी पूजा कर रही थीं. उसी दौरान कुणाल सिंह भी बाजार से अपने घर पहुंचे. सभी को घर पर आया देख विकास सिंह अपने भाई के साथ कुणाल सिंह के घर पहुंच गया और अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी. जिसमें कुणाल सिंह, कंचन देवी और सोनम की घटनास्थल पर ही मौत हो गई.
तीन लोगों की हत्या करने के बाद विकास सिंह जब बाहर निकला तो कुणाल सिंह के दो पुत्र पटाखा चला रहे थे. आरोपी विकास ने उन दोनों पर भी फायरिंग शुरू कर दी थी. लेकिन मिस फायर हो जाने की वजह से कुणाल के बेटे शिवम और शुभम की जान बच गई.
वहीं, पुलिस इस बडी घटना के बाद अपराधी विकास कुमार की जल्द गिरफ्तारी का दावा कर रही है. डीएसपी (मुख्यालय) कुंदन कुमार सिंह ने बताया कि विकास की गिरफ्तारी के लिए लगातार छापेमारी की जा रही है. पुलिस की मानें तो इस सारे फसाद की जड़ जमीन विवाद है. पुलिस के अनुसार, मृतक कुणाल सिंह के चाचा नावल्द (नि:संतान) थे और आरोपी विकास कुमार को संदेह था कि उनके चाचा अपनी सारी जमीन-जायदाद कुणाल कुमार के नाम कर देंगे. इसी वजह से विकास कुमार ने पहले अपने चाचा की हत्या की फिर चाची की. चाची की हत्या के मामले में कुणाल सिंह के गवाह होने की वजह से अब विकास सिंह ने कुणाल सिंह के पूरे परिवार को अपना निशाना बनाया था.
वहीं, दूसरी घटना जहानाबाद जिले के टेहटा ओपी थाना क्षेत्र स्थित देकुली गांव में बेखौफ अपराधियों ने राजद नेता मनोज यादव के भाई अवधेश यादव की गोली मारकर हत्या कर दी. जबकि तीसरी घटना में सीवान में भी एक व्यक्ति की गोली मारकर हत्या कर दी गई. हत्या की ये घटना सीवान के मुफस्सिल थाना स्थित आकोपुर की है, जहां आपसी रंजिश में हुई गोलीबारी में एक युवक की हत्या कर दी गई. पुलिस मामले की तफ्तीश में जुटी हुई है.