Bhagalpur-Bhojpur NIA: बिहार के भागलपुर और भोजपुर जिले में बुधवार को एनआईए ने ताबड़तोड़ छापेमारी की, जिसके बाद हड़कंप मच गया। भागलपुर में इशाकचक थानाक्षेत्र के भीखनपुर में छापेमारी की गई, जबकि भोजपुर जिले के चौरी थाना क्षेत्र के छतरपुरा गांव और सहार थाना के कोरन डिहरी गांव के दो घरों में एनआईए की टीम ने दबिश दी। जाली नोट और आतंकी कनेक्शन की जांच की बात कही जा रही है। संदिग्धों के घरों में छापेमारी हो रही है, जो रिश्तेदार बताए जाते हैं। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक दिल्ली से आए अधिकारियों ने छापेमारी कार्रवाई को अंजाम दिया।
भागलपुर के भीखनपुर निवासी नजरे सद्दाम का देश विरोधी ताकतों से तार जुड़े होने की पर एनआईए की टीम ने यह छापामारी की है। बड़ी मस्जिद लेन स्थित घर पर नजर सफदम के पिता मुहम्मद मसिउज्जमा समेत परिवार के अन्य सदस्य मौजूद मिले, जिनसे टीम के पदाधिकारियों ने अलग-अलग पूछताछ की है।
पूछताछ और तलाशी के क्रम में जाली नोटों के काले कारोबार से जुड़े कुछ दस्तावेज समेत विस्फोटकों से जुड़ी जानकारियां टीम को हाथ लगी है। इसके साथ ही एनआईए की टीम को जाली नोटों से जुड़े पाकिस्तानी एजेंटों और कश्मीर में सक्रिय देशविरोधी संगठनों से तार जुड़े होने के कुछ अहम साक्ष्य मिलें हैं। संदिग्ध मो नेहाल दिल्ली में रहता है।
जबकि, दूसरा मो. वारिस पहले से जाली नोट में जेल में बंद हैं। इस छापेमारी को जाली नोट के रैकेट और आतंकी कनेक्शन दोनों से जोड़कर देखा जा रहा है। हालांकि, एनआईए के पदाधिकारियों ने फिलहाल कुछ बताने से इनकार किया। वहीं, भोजपुर जिले में चौरी थाना क्षेत्र के छतरपुरा गांव तथा सहार थाना के कोरन डिहरी गांव स्थित दो घरों में दबिश दी।
जिन संदिग्धों के घरों में छापामारी की गई, वे दोनों रिश्तेदार बताए जाते हैं। एक के पिता उर्दू विद्यालय में शिक्षक और दूसरे संदिग्ध के पिता टोला सेवक के रूप में कार्यरत बताए जा रहे हैं। कोरन डिहरी टोला निवासी अख्तर हुसैन के बेटे मो. वारिस को करीब 5 महीने पहले मोतिहारी से जाली नोटों के साथ गिरफ्तार किया गया था। इस मामले के तार पाकिस्तान से जुड़े होने का संदेह है।
बता दें कि सितंबर 2024 में भारत-नेपाल बॉर्डर के पास मोतिहारी में दो लाख रुपये जाली नोटों के साथ पुलिस ने तीन धंधेबाजों को गिरफ्तार किया गया था, जिसमें भागलपुर निवासी नजरे सद्दाम की भी गिरफ्तारी हुई थी। जबकि उसके साथ भोजपुर जिले के सहार थाना क्षेत्र के कोरन डिहरी निवासी मो. वारिस और पटना जिले के सिगोडी थाना क्षेत्र निवासी मो. जाकिर हुसैन को भी गिरफ्तार किया गया था। उस समय पूछताछ में पाकिस्तान में छपे भारतीय जाली नोट नेपाल के रास्ते देश के विभिन्न हिस्सों में पहुंचाए जाने की बात सामने आई थी।
गिरफ्तार धंधेबाजों से एनआईए समेत कई सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारियों ने पूछताछ की थी। उस समय गिरफ्तार धंधेबाज नजरे शमशाद ने पुलिस को बताया थ कि पाकिस्तान में छपे नोट नेपाल के रास्ते उसे मिले थे। इसे लेकर पटना से जम्मूतवी एक्सप्रेस से वे जम्मू-कश्मीर जाने वाले थे। इससे पहले भी वे जाली नोटों की तीन खेप जम्मू-कश्मीर पहुंचा चुके हैं।