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फांसी से पहले ऐसा था निर्भया के गुनहगारों का हाल, रात भर बदली करवटें, जमीन पर लोट कर की मिन्नतें

By शीलेष शर्मा | Updated: March 21, 2020 07:14 IST

जिस सुबह इन चारों को फांसी दी जानी थी उससे पहली रात विनय जमीन पर लोटे मार कर जेल अधिकारियों से माफी की गुहार लगाता रहा.

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निर्भया मामले में सजा याफ्ता चारों अभियुक्तों की फांसी से पहली वाली रात अक्षय ठाकुर, पवन गुप्ता, विनय शर्मा और मुकेश ने अत्यंत कश्मकश में गुजारी थी. उच्च पदस्थ सूत्रों के अनुसार वे पूरी रात सोये नहीं. न ही उन्होंने फांसी पर जाने से पहले स्नान किया और ना ही कोई अंतिम इच्छा व्यक्त की.

जिस सुबह इन चारों को फांसी दी जानी थी उससे पहली रात विनय जमीन पर लोटे मार कर जेल अधिकारियों से माफी की गुहार लगाता रहा. लेकिन जेल अधिकारियों ने उसकी एक न सुनी. उसी रात इन चारों को अलग-अलग कोठरियों में भेजा गया ताकि वे एक-दूसरे से कोई संपर्क न कर सकें और अंतिम रात चैन से बिता सकें लेकिन वास्ताव में ऐसा हुआ नहीं वे अलग-अलग जरूर थे लेकिन सुकून की जगह वे पूरी तरह विचलित रहे. 

जेल में अन्य कैदी भी इनकी फांसी को लेकर चिंतित थे. सुबह ठीक साढ़े तीन बजे समय से पहले ही ये चारों उठकर बैठ गए और इंतजार करते रहे कि कब उन्हें फांसी के फंदे पर ले जाया जाता है क्योंकि उनको अहसास हो गया था कि उनके पास अब केवल चंद लम्हे हैं और वे अपने सभी कानून अधिकार खो चुके हैं. 

एक जेल अधिकारी ने इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि फांसी के फंदे पर ले जाने से पहले जब उनसे नहाने को कहा गया तो चारों ने इनकार कर दिया.

जेल नियमों के अनुसार यह परंपरा रही है कि किसी भी अभियुक्त को फांसी के फंदे पर चढ़ाने से पहले उसे स्नान कराया जाता है और उसकी अंतिम इच्छा पूछी जाती है. 

फांसी के फंदे पर पहुंचने से ठीक पहले जेल प्रशासन के डॉक्टर ने उनके स्वास्थ्य की जांच की और उन्हें फांसी के फंदे पर ले जाने की अनुमति दे दी गई.

जिस समय उनको फांसी लगाई गई उस समय जल्लाद पवन के अलावा केवल तीन अधिकारी और मौजूद थे.

2015 के बाद यह पहली फांसी थी जो चारों अपराधियों को दी जा रही थी, फांसी के समय जो अधिकारी मौजूद थे उनमें जेल के अधीक्षक, उप अधीक्षक, मेडीकल ऑफिसर, जिला मजिस्ट्रेट और जेल का अधिकारी मौजदू था.

जेल में रहते हुए पवन, विनय और मुकेश ने जो श्रम कार्य किया उसके एवज में उन्होंने 1 लाख 37 हजार रुपये कमाए. इनमें अक्षय ने 69 हजार, पवन ने 29 हजार और विनय ने 39 हजार. यह पैसा जेल खाते में जमा है जो अब उनके परिजनों को सौंप दिया जाएगा. 

टॅग्स :निर्भया केसनिर्भया गैंगरेपलोकमत हिंदी समाचार
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