2012 Delhi gang-rape case: हाईकोर्ट पहुंचा दोषी मुकेश सिंह, याचिका में कहा- दिल्ली में मौजूद ही नहीं था, मौत की सजा रद्द हो
By सतीश कुमार सिंह | Updated: March 18, 2020 15:17 IST2020-03-18T15:04:55+5:302020-03-18T15:17:16+5:30
2012 दिल्ली गैंगरेप मामला:ट्राएल कोर्ट के फैसले को चुनौती देते हुए दोषी मुकेश ने दिल्ली उच्च न्यायालय का रुख किया था। याचिका में उसने गैंगरेप के समय दिल्ली में न होने का दावा करते हुए मौत की सजा रद्द करने की मांग की थी।

20 मार्च की सुबह साढ़े पांच बजे फांसी देने के लिए मृत्यु वारंट जारी किया था।
नई दिल्लीः 2012 दिल्ली सामूहिक बलात्कार मामला में दिल्ली उच्च न्यायालय ने मुकेश की याचिका पर अपना फैसला सुरक्षित रखा है। मुकेश ने दलील दी है कि वह दिल्ली में नहीं था।
ट्राएल कोर्ट के फैसले को चुनौती देते हुए दोषी मुकेश ने दिल्ली उच्च न्यायालय का रुख किया था। याचिका में उसने गैंगरेप के समय दिल्ली में न होने का दावा करते हुए मौत की सजा रद्द करने की मांग की थी। ट्राएल कोर्ट ने उसकी यही याचिका खारिज की थी। निर्भया मामले में सजायाफ्ता दोषी मुकेश सिंह ने निचली अदालत के आदेश के खिलाफ दिल्ली उच्च न्यायालय में अपील कर कहा कि वारदात के समय वह दिल्ली में मौजूद ही नहीं था।
निर्भया सामूहिक दुष्कर्म एवं हत्या मामले में दोषी ठहराए गए मुकेश सिंह की उस याचिका पर दिल्ली उच्च न्यायालय ने अपना फैसला सुरक्षित रखा है जिसमें उसने 16 दिसंबर, 2012 को अपराध के समय राष्ट्रीय राजधानी में नहीं होने का दावा किया है। इससे पहले एक निचली अदालत ने उसकी इस याचिका को खारिज कर दिया था, जिसे चुनौती देते हुए मुकेश ने उच्च न्यायालय में यह याचिका दायर की थी।
न्यायमूर्ति बृजेश सेठी ने दोषी और दिल्ली सरकार की तरफ से पेश हुए वकीलों की दलीलें सुनने के बाद अपना फैसला सुरक्षित रखा। निचली अदालत ने मुकेश की याचिका खारिज कर दी थी और उसने ‘बार काउंसिल ऑफ इंडिया’ को उसके वकील को उपयुक्त परामर्श देने को भी कहा था।
उल्लेखनीय है कि निचली अदालत ने पांच मार्च को मामले के चार दोषियों - मुकेश सिंह (32), पवन गुप्ता (25), विनय शर्मा (26) और अक्षय कुमार सिंह (31) को 20 मार्च की सुबह साढ़े पांच बजे फांसी देने के लिए मृत्यु वारंट जारी किया था।
2012 Delhi gang-rape case: Delhi HC reserves the order after concludingarguments on the plea of one of the death row convicts, Mukesh,challenging trial court order dismissing his plea seeking quashing of death penalty claiming that he wasn't in Delhi when the gang-rape took place pic.twitter.com/LYDl4iQlmg
— ANI (@ANI) March 18, 2020