पेट्रोल-डीजल के रेट में रोज बदलाव के खिलाफ हाई कोर्ट में PIL दायर, केंद्र सरकार पर लगाया गंभीर आरोप
By भाषा | Published: September 11, 2018 06:08 PM2018-09-11T18:08:00+5:302018-09-11T18:08:00+5:30
अधिवक्ता ए मैत्री के मार्फत दायर याचिका में आरोप लगाया गया है कि सरकार ने तेल उत्पादन कंपनियों (ओएमसी) को पेट्रोल और डीजल की कीमतें मनमाने ढंग से बढ़ाने की ‘‘परोक्ष’’ रूप से मंजूरी दे रखी है।
नयी दिल्ली, 11 सितंबर: पेट्रोलियम पदार्थों की लगातार बढ़ती कीमतों के बीच मंगलवार को देश में पेट्रोल और डीजल की दरों में रोजाना होने वाले बदलाव के खिलाफ दिल्ली उच्च न्यायालय में एक जनहित याचिका दायर की गई है।
यह याचिका मुख्य न्यायाधीश राजेंद्र मेनन और न्यायमूर्ति वीके राव की पीठ के समक्ष लाई गई। पीठ ने इसे बुधवार को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध करने की मंजूरी दी।
याचिकाकर्ता राष्ट्रीय राजधानी की रहने वाली पूजा महाजन हैं। उन्होंने अदालत से केंद्र सरकार को निर्देश देने को कहा है कि वह पेट्रोल और डीजल को ‘‘ आवश्यक वस्तुएं ’’ माने और पेट्रोलियम उत्पादों के लिए ‘‘उचित मूल्य’’ तय करें।
अधिवक्ता ए मैत्री के मार्फत दायर याचिका में आरोप लगाया गया है कि सरकार ने तेल उत्पादन कंपनियों (ओएमसी) को पेट्रोल और डीजल की कीमतें मनमाने ढंग से बढ़ाने की ‘‘परोक्ष’’ रूप से मंजूरी दे रखी है।
याचिका में यह भी आरोप लगाया गया कि सरकार यहां पेट्रोलियम पदार्थों की बढ़ती कीमतों को कच्चे तेल की दर में वैश्चिक स्तर पर वृद्धि से जोड़कर ‘‘ भ्रामक जानकारी ’’ का प्रसार कर रही है क्योंकि जब कच्चे तेल की कीमत आज के मुकाबले कम थी तब यहां पेट्रोल और डीजल की कीमत कम नहीं हुई।
याचिकाकर्ता ने कहा कि उन्होंने जुलाई में भी इसी तरह की याचिका लगाई थी और अदालत ने उसका निबटारा केंद्र को यह कहते हुए कर दिया था कि वह इसे एक प्रस्तुतिकरण माने और फैसला ले।
चूंकि सरकार ने उनके प्रस्तुतिकरण पर आज तक भी कोई फैसला नहीं लिया है इसलिए उन्होंने यह वर्तमान याचिका दायर की।