एमएसएमई को राहत देने के लिए कई इस्पात उत्पादों पर सीमा शुल्क घटाया गया
By भाषा | Updated: February 1, 2021 16:12 IST2021-02-01T16:12:26+5:302021-02-01T16:12:26+5:30

एमएसएमई को राहत देने के लिए कई इस्पात उत्पादों पर सीमा शुल्क घटाया गया
नयी दिल्ली, एक फरवरी सरकार ने सोमवार को सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (एमएसएमई) को राहत देने के लिए कई इस्पात उत्पादों पर आयात शुल्क घटाने की घोषणा की।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 2021-22 के अपने बजट भाषण में कहा कि कुछ इस्पात उत्पादों पर एंटी डंपिंग शुल्क (एडीडी) और प्रतिकारी शुल्क (सीवीडब्ल्यू) को भी रद्द कर दिया गया है। उन्होंने कहा, ‘‘हाल में लोहे और इस्पात की कीमतों में हुई तेज बढ़ोतरी से एमएसएमई और अन्य उद्योग गंभीर रूप से प्रभावित हुए हैं। इसलिए हम गैर-मिश्र धातु, मिश्र धातु और स्टेनलेस इस्पात के उत्पादों पर सीमा शुल्क को समान रूप से घटा कर 7.5 प्रतिशत कर रहे हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘धातुओं का कच्चे माल के लिए इस्तेमाल करने वालों, जिनमें से ज्यादातर एमएसएमई हैं, के लिए मैं इस्पात के कबाड़ (स्टील स्क्रैप) पर 31 मार्च 2022 तक सीमा शुल्क को खत्म कर रही हूं। मैं कई इस्पात उत्पादों पर एडीडी और सीवीडी को भी खत्म कर रही हूं। तांबे का पुनर्चक्रण करने वालों के लिए भी मैं तांबे के कबाड़ पर सीमा शुल्क को पांच प्रतिशत से घटाकर 2.5 प्रतिशत कर रही हूं।’’
वित्त मंत्री ने इस्पात के पेंच और कुछ प्लास्टिक के सामानों पर सीमा शुल्क 10 प्रतिशत से बढ़ाकर 15 प्रतिशत करने की घोषणा भी की।
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