AAP का दावा, राफेल डील में हुआ 36 हजार करोड़ का घोटाला, मोदी सरकार के मंत्री ने संसद में दिया गलत आंकड़ा
By भाषा | Published: September 24, 2018 08:07 PM2018-09-24T20:07:30+5:302018-09-24T20:10:11+5:30
आम आदमी पार्टी के प्रवक्ता और राज्य सभा सांसद संजय सिंह ने कहा कि उन्होंने संसद में राफेल डीले के बारे में सवाल पूछा था जिसका जवाब केंद्रीय रक्षा राज्य मंत्री सुभाष भामरे ने दिया था।
नयी दिल्ली, 24 सितंबर: आप ने राफेल लड़ाकू विमान की खरीद मामले में केन्द्रीय रक्षा राज्य मंत्री सुभाष भामरे पर संसद में गलत जानकारी देने का आरोप लगाते हुये राफेल सौदे में 36 हजार करोड़ रुपये का घोटाला होने का आरोप लगाया है।
आप के राज्यसभा सदस्य संजय सिंह ने सोमवार को कहा ‘‘संसद में मैंने सरकार से पूछा था कि 540 करोड़ करोड़ रुपये का लडा़कू विमान 1670 करोड़ रुपये में क्यों खरीदा गया और लड़ाकू विमानों के निर्माण का अनुभव रखने वाली कंपनी एचएएल के बजाय 12 दिन पुरानी अनिल अंबनी की कंपनी को ठेका क्यों दिया गया।’’
सिंह ने फ्रांस के पूर्व राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलांद के हाल ही के बयान का हवाला देते हुये कहा कि उनके द्वारा उठाया गया सवाल सही साबित हुआ है। ओलांद ने कहा था कि भारत सरकार की सहमति से रिलायंस को इस सौदे में साझेदार बनाया गया है।
सिंह ने इस सौदे में एक हजार करोड़ रुपये प्रति विमान की दर से गड़बड़ी होने का दावा करते हुये कहा कि यह स्वतंत्र भारत का अब तक का सबसे बड़ा रक्षा घोटाला है।
मोदी कैबिनेट के मंत्री पर राफेल के बारे में गलत तथ्य देने के आरोप
संजय सिंह ने कहा ‘‘गत 19 मार्च को भामरे ने राज्यसभा में बताया कि विमान की बिना उपकरणों के कीमत 1670 करोड़ रुपये है। जबकि लोकसभा में तमाम सदस्यों के इसी सवाल के जवाब में भामरे ने 18 नवंबर 2016 को बताया था कि विमान की उपकरणों के साथ कीमत 670 करोड़ रुपये है।’’
सिंह ने रक्षा राज्य मंत्री भांबरे पर संसद में गलत तथ्य बताने का आरोप लगाते हुये दावा किया कि राफेल मामले में 36 हजार करोड़ रुपये की गड़बड़ी होने के कारण मंत्री भामरे ने संसद में गलत तथ्य पेश किये हैं।
सिंह ने मीडिया रिपोर्टों के हवाले से कहा कि पांच हजार करोड़ रुपये के बैंक घोखाधड़ी मामले में वांछित गुजरात के नितिन संदेसरा के विदेश भाग जाने की आशंका जतायी गयी है। उन्होंने कहा कि वह पहले भी सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय से 50 करोड़ रुपये से अधिक राशि वाले बैंक बकायेदारों के पासपोर्ट जब्त करने की मांग कर चुके हैं लेकिन इस पर अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुयी।