शारीरिक बनावट का मजाक बनाकर कोई करियर नहीं बना सकता, बोले अरुण कुशवाहा- मुझे पता था कि...
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: April 22, 2022 12:03 IST2022-04-22T11:43:54+5:302022-04-22T12:03:37+5:30
वेब चैनलों पर छोटे मियां के किरदार से लोकप्रिय हुए अरुण ने फिल्मों की तरफ रुख करने को लेकर कहा कि जिस तरह से मेरे वेब चरित्र छोटे मियां ने दर्शकों को आकर्षित किया, उससे मैं अभिभूत हूं।

शारीरिक बनावट का मजाक बनाकर कोई करियर नहीं बना सकता, बोले अरुण कुशवाहा- मुझे पता था कि...
मुंबईः फिल्म लुका छुप्पी, चॉपस्टिक्स और हाल ही में रिलीज हुई अभिषेक बच्चन अभिनती दसवीं जैसी फिल्मों का हिस्सा होने के बाद, अभिनेता और हास्य कलाकार अरुण कुशवाह उर्फ छोटे मियां ने खुशी जाहिर की है। अरुण कुशवाहा ने कहा कि वह जनता के साथ तालमेल बिठाकर खुश हैं।
वेब चैनलों पर छोटे मियां के किरदार से लोकप्रिय हुए अरुण ने फिल्मों की तरफ रुख करने को लेकर कहा कि जिस तरह से मेरे वेब चरित्र छोटे मियां ने दर्शकों को आकर्षित किया, उससे मैं अभिभूत हूं। लेकिन, इन सबके बीच मुझे पता था कि बड़े दर्शकों तक पहुंचने के लिए मुझे अपने कौशल को तेज करना होगा। तभी मैंने फिल्मों की ओर रुख किया।
हालांकि अरुण का कहना है कि दसवीं से पहले उन्होंने कई फिल्में की लेकिन उनको उस तरह से नोटिस नहीं किया गया जैसा दसवीं के बाद हो रहा है। छोटे मियां ने कहा कि अभिषेक बच्चन के साथ मेरी हालिया हिट फिल्म के बाद मुझे सुपर सफलता का स्वाद चखने और जनता तक पहुंचने का मौका मिला।
ग्वालियर से ताल्लुक रखनेवाले कुशवाह ने कहा, “कोई हमेशा किसी की शारीरिक बनावट का मजाक नहीं उड़ा सकता और उस पर अपना करियर नहीं बना सकता। मेरा मतलब है कि लंबा या छोटा या गोरा या काला होना निश्चित रूप से हमारे हाथ में नहीं है! तो क्यों इसे हंसी का ठिकाना बनाया जाए और इतने ही चुटकुलों से आप कब तक लोगों को हंसाते रहोगे।'' अरुण ने आगे कहा कि 'मुझे पूरा यकीन था कि मैं जो भी सामग्री लिखता हूं या जिसके लिए काम करता हूं वह कभी भी किसी व्यक्ति की शारीरिक विशेषताओं का मजाक बनाने तक ही सीमित नहीं रहेगा।”
अरुण का अपना एक यूट्यूब चैनल भी है जिसके एक मिलियन से अधिक फॉलोअर्स हैं। अरुण ने कहा, “यदि आप प्रतिभाशाली हैं, तो आपको लोगों को हंसाने के लिए दिखावे की तरह खूंटे की आवश्यकता नहीं है और मेरे वीडियो मेरे विचार का उचित उदाहरण हैं। और ऐसा इसलिए नहीं है क्योंकि मैं छोटा हूं। मैं अपने परिवेश और घटनाओं के बारे में जागरूक रहकर अच्छी सामग्री तैयार करने में विश्वास करता हूं।"
दसवीं में अपने घंटी के किरदार के बारे में बात करते हुए अरुण ने कहा कि “जब मुझे घंटी की यह भूमिका मिली, तो मुझे पता था कि यह मेरे अब तक के सबसे अच्छे किरदारों में से एक हो सकता है। लेकिन जिस तरह की प्रतिक्रिया मिल रही है, उसने मुझे चौंका दिया है। देखिए कैसे 'घंटी तो भगवान है' डायलॉग पर आधारित मीम्स सोशल मीडिया पर छाए हुए हैं। बकौल छोटे मियां- निर्देशक तुषार (जलोटा) सर और अभिषेक सर ने मुझे उड़ने के लिए पंख दिए। मुझे अपनी भूमिकाओं में सुधार करना पसंद है और यहां भी मैंने बारीकियां जोड़ीं और शुक्र है कि यह अच्छी तरह से निभ गया।