Election Commission of India: चुनाव प्रक्रिया को लेकर नहीं होनी चाहिए स्वार्थ की राजनीति
By शशिधर खान | Updated: January 17, 2025 14:38 IST2025-01-17T14:37:04+5:302025-01-17T14:38:07+5:30
Election Commission of India: महाराष्ट्र और हरियाणा विधानसभा चुनावों में हार के बाद कांग्रेस समेत इंडिया गठजोड़ ने उछाला है.

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Election Commission of India: मुख्य चुनाव आयुक्त (सीईसी) राजीव कुमार ने चुनाव प्रक्रिया पर उंगली उठानेवाले पराजित राजनीतिक दलों के झमेलों को एक सिरे से खारिज करते हुए मतदाताओं को ऐसे दुष्प्रचार से बचने को कहा. दिल्ली विधानसभा चुनाव कार्यक्रम की औपचारिक घोषणा के दौरान सीईसी ने जोर देकर यह बात कही कि ईवीएम (इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन) किसी भी तरह से हैक नहीं हो सकती और मतदाता सूची में हेरफेर के आरोपों को नकारा. चुनाव आयोग की पूरी टीम के साथ सीईसी राजीव कुमार ने सुप्रीम कोर्ट समेत विभिन्न हाईकोर्ट आदेशों का हवाला देते हुए कहा कि ईवीएम के ‘फूलप्रूफ’ और छेड़छाड़ की संभावना से मुक्त होने के सत्यापन पर 42 बार अदालती मुहर लग चुकी है. गत हफ्ते दिल्ली विधानसभा चुनाव तारीखों के ऐलान के समय इस बार चुनाव आयोग का मुख्य फोकस मतदाता सूची में गड़बड़ी के आरोपों पर था. यह आरोप हाल में महाराष्ट्र और हरियाणा विधानसभा चुनावों में हार के बाद कांग्रेस समेत इंडिया गठजोड़ ने उछाला है.
महाराष्ट्र में हार की हताशा कांग्रेस ने चुनाव आयोग पर मढ़ते हुए मतदाता सूची में गड़बड़ी को निशाना बनाया. राजीव कुमार ने उन आरोपों का सटीक और तथ्यपूर्ण खंडन करते हुए मतदाता सूची तैयार करने की पूरी प्रक्रिया की जानकारी 7 जनवरी को दिल्ली में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में दी.
उन्होंने कहा कि संपूर्ण दस्तावेज देने, मौके पर पहुंचकर किए गए सत्यापन और संबंधित व्यक्ति को सुनवाई का अवसर दिए बगैर कोई नाम मतदाता सूची से नहीं हटाया जा सकता. चुनाव प्रक्रिया को राजनीतिक दलों ने सियासी हथकंडा बनाया हुआ है. हारने पर ईवीएम को जिम्मेदार ठहरानेवाले कोई भी राजनीतिक दल जीत का श्रेय ईवीएम को नहीं देते.
मतलब ये कि ईवीएम में छेड़छाड़ नहीं हुई, इसीलिए जीते. ईवीएम पर दोष मढ़नेवाली बयानबाजी करके हार को स्वीकार न करना इंडिया गठजोड़ में फूट का एक कारण बना है. जम्मू व कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला एकमात्र नेता हैं, जिन्होंने विधानसभा चुनाव में जीत के लिए चुनाव आयोग का शुक्रिया किया और कांग्रेस के ईवीएम में छेड़छाड़ के आरोपों को गलत बताया. गत अक्तूबर में संपन्न जम्मू व कश्मीर विधानसभा चुनाव में नेशनल काॅन्फ्रेंस को भारी जीत मिली और उसके नेता उमर अब्दुल्ला मुख्यमंत्री बने.
कांग्रेस को इतनी सीटें नहीं मिलीं कि अपनी शर्तों पर सरकार में शामिल हो सके. कांग्रेस नेताओं ने हार के लिए ईवीएम में छेड़छाड़ को दोषी ठहरा दिया. उनके जवाब में उमर अब्दुल्ला ने निष्पक्ष और लोकतांत्रिक प्रक्रिया के तहत बिल्कुल पारदर्शी चुनाव कराने के लिए चुनाव आयोग का शुक्रिया करते हुए कांग्रेस के आरोपों को हताशा का परिणाम बताया.