Union Budget 2024 Live: मोदी 3.0 सम्पूर्ण बजट पेश, 5 साल में 20 लाख युवाओं को ट्रेनिंग, 12 महीने के लिए प्रधानमंत्री इंटर्नशिप, मुद्रा लोन 20 लाख, जानें विश्लेषण
By लोकमत समाचार सम्पादकीय | Updated: July 24, 2024 11:16 IST2024-07-24T11:15:03+5:302024-07-24T11:16:16+5:30
Union Budget 2024 Live: नौकरीपेशा वर्ग के लिए भी न्यू टैक्स रिजीम में स्टैंडर्ड डिडक्शन को 50 हजार से बढ़ाकर 75 हजार रु. कर दिया गया है और टैक्स स्लैब में भी फेरबदल किया गया है जिससे नई कर व्यवस्था चुनने वाले करदाताओं को फायदा होगा.

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Union Budget 2024 Live: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के तीसरे कार्यकाल का जो प्रथम सम्पूर्ण बजट वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रस्तुत किया, उसे कुल मिलाकर स्वागत योग्य कहा जा सकता है. पिछले लोकसभा चुनावों में बेरोजगारी एक बड़ा मुद्दा था. सरकार ने बजट में इस बात का ध्यान रखा है और रोजगार व कौशल विकास के लिए कई तरह के प्रावधान किए हैं.
इसके अंतर्गत केंद्र सरकार की ओर से पांच साल में 20 लाख युवाओं को ट्रेनिंग दी जाएगी. रोजगार, कौशल प्रशिक्षण और अन्य अवसरों की सुविधा उपलब्ध करवाने के लिए पांच साल में दो लाख करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे, जिससे 4.1 करोड़ युवाओं को फायदा होगा.
शीर्ष कंपनियों में पांच साल में एक करोड़ युवाओं को कौशल प्रशिक्षण दिया जाएगा और पांच हजार रुपए मासिक मानदेय के साथ 12 महीने के लिए प्रधानमंत्री इंटर्नशिप दिए जाने का प्रावधान किया गया है. साथ ही ई-श्रम पोर्टल को अन्य के साथ जोड़ा जाएगा ताकि नौकरी खोजने वालों को कंपनियों और स्किल ट्रेनिंग संस्थानों से मिलाया जा सके.
बिना गारंटी के मुद्रा लोन को दस लाख से बढ़ाकर 20 लाख रु. कर दिया गया है जिससे स्वरोजगार को बल मिलेगा. उम्मीद की जा सकती है कि इन प्रावधानों से युवाओं की बेरोजगारी की समस्या को काफी हद तक हल करने में मदद मिल सकेगी. किसानों का भी बजट में विशेष ध्यान रखा गया है.
कृषि और इससे जुड़े सेक्टरों के लिए बजट में 1.52 लाख करोड़ रुपए प्रावधान किया है, जो कि पिछले बजट में 1.25 लाख करोड़ रुपए ही था. देश के 400 जिलों में डीपीआई (डिजिटल सार्वजनिक अवसंरचना) का उपयोग करते हुए खरीफ फसलों का डिजिटल सर्वेक्षण किया जाएगा. साथ ही देश भर में एक करोड़ किसानों को प्रमाणीकरण और ब्रांडिंग के माध्यम से प्राकृतिक खेती सिखाई जाएगी.
नौकरीपेशा वर्ग के लिए भी न्यू टैक्स रिजीम में स्टैंडर्ड डिडक्शन को 50 हजार से बढ़ाकर 75 हजार रु. कर दिया गया है और टैक्स स्लैब में भी फेरबदल किया गया है जिससे नई कर व्यवस्था चुनने वाले करदाताओं को फायदा होगा. जाहिर है कि सरकार ज्यादा से ज्यादा लोगों को नई कर व्यवस्था में लाना चाहती है.
महिलाओं के विकास के लिए भी केंद्र सरकार ने बजट में तीन लाख करोड़ का आवंटन किया है और कई प्रकार की महिला केंद्रित योजनाएं शुरू करने का ऐलान किया गया है. 20 लाख युवतियों को कौशल प्रदान करने का लक्ष्य रखा गया है. इसके अलावा बजट में दवाओं और मेडिकल उपकरणों, सोने-चांदी, फोन पर कस्टम ड्यूटी घटाई गई है, जिससे आम आदमी को राहत मिलेगी.
आंध्र प्रदेश और बिहार जैसे विशेष श्रेणी का दर्जा मांगने वाले राज्यों को विशेष वित्तीय सहायता देने का ऐलान किया गया है. दीर्घकालिक पूंजीगत लाभ कर को जरूर 10 से बढ़ाकर 12.5 प्रतिशत कर दिया, हालांकि दीर्घकालिक पूंजीगत लाभ छूट को भी एक लाख से बढ़ाकर 1.25 लाख किया गया है. इसके अलावा अल्पकालिक पूंजीगत लाभ कर 15 से बढ़ाकर 20 प्रतिशत किया गया.
शायद इसी का असर था कि केंद्रीय वित्त मंत्री के बजट भाषण के बाद शेयर बाजार में भारी गिरावट आई. हालांकि बाद में यह संभल गया. जैसा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि यह अमृतकाल का महत्वपूर्ण बजट है और यह हमारे 2047 में विकसित भारत के सपने की नींव रखेगा. बजट को लोकलुभावन बनाने के बजाय दीर्घकालिक लक्ष्यों को ध्यान में रखा है, ताकि देश की आर्थिक नींव सुदृढ़ हो सके.