लाइव न्यूज़ :

अमेरिका में ताजा, स्वास्थ्यवर्धक खाद्य पदार्थों के लिए किसान बाजारों की बढ़ी भूमिका

By भाषा | Updated: August 1, 2021 16:07 IST

Open in App

(एडना लेडेस्मा और अलफोंसो मोरल्स, यूनिवर्सिटी ऑफ विस्कॉन्सिन-मैडिसन)

मैडिसन (अमेरिका), एक अगस्त (द कन्वरसेशन) कई अमेरिकियों के लिए देश में अनुमानित 9,000 किसान बाजारों में एक में ताजा स्थानीय खाद्य पदार्थ खरीदना गर्मियों के दिनों में शानदार अनुभव होता है। ये बाजार महज खरीदारी के लिए सिर्फ अच्छे सुविधाजनक स्थान नहीं हैं, बल्कि पिछले 18 महीनों में इसने कोविड-19 महामारी के कारण खाद्य आपूर्ति में आए अंतराल को भी पाटा है।

महामारी की शुरुआत में कई किसान बाजार बंद हो गए। लेकिन कई बाजार जल्द ही राज्य या स्थानीय दिशा-निर्देशों के तहत फिर से खुल गए, जिसमें मास्क पहनना, सामाजिक दूरी बनाए रखना और अन्य सावधानियों का पालन करना अनिवार्य बनाया गया। जब किराने की दुकान की आपूर्ति श्रृंखला बाधित हो गई, तब स्थानीय खाद्य पदार्थों में उपभोक्ता की दिलचस्पी बढ़ गई, साथ ही खरीदारी के दौरान कोरोना वायरस के संपर्क में आने की चिंता भी। लेकिन किसान बाजार के प्रबंधकों ने तेजी से हालात के मुताबिक बदलाव किया, पहले से पैक किए गए सामान और घर तक सामान पहुंचाने जैसे विकल्पों की शुरुआत की गयी।

दरअसल, कई बाजारों में 2020 में अब तक की सबसे बेहतर बिक्री हुई। समृद्ध खरीदार स्थानीय खाद्य पदार्थ खरीदने में अधिक रुचि रखते थे, जबकि कम आय वाले खरीदार संघीय सरकार के पूरक पोषण सहायता कार्यक्रम जैसे लाभों का उपयोग करने में सक्षम थे।

किसान सदियों से अमेरिका में सार्वजनिक बाजारों में अपना माल बेच रहे हैं। वहीं, 20वीं सदी के मध्य में कई अमेरिकी शहरों ने बड़े पैमाने पर खुदरा दुकानों को जगह देने के लिए फुटपाथ के विक्रेताओं को बेदखल या दरकिनार कर दिया। लेकिन 1970 और 80 के दशक में, मध्यवर्गीय समुदायों और उपनगरों में किसान बाजार फिर से दिखने लगे। यह रुझान बर्कले, कैलिफोर्निया और मैडिसन, विस्कॉन्सिन जैसे शहरों में सबसे स्पष्ट था। लोगों में किसान बाजार और स्थानीय रूप से उत्पादित खाद्य पदार्थ के इस्तेमाल के लिए रुझान बढ़ा। उपभोक्ता बचपन से उन्हें याद स्वादों का आनंद लेना चाहते थे और उत्पादकों की एक नई पीढ़ी पारिस्थितिक रूप से अनुकूल किसान विधियों को सीख रही थी और उन्हें आजमा रही थी।

उदाहरण के लिए 2019 तक शिकागो में पूरे शहर में 27 बाहरी किसान बाजार थे, जो भोजन के साथ कपड़े और फर्नीचर जैसे सामान बेचते थे। कुछ शहरों ने बाहरी बाजारों के लिए मेला आयोजित किए जाने वाले मैदानों और अन्य स्थानों को फिर से तैयार किया।

पिछले 15 वर्षों में खाद्य असुरक्षा को कम करने के लिए किसान बाजार महत्वपूर्ण जरिया बन गए हैं। भोजन की पहुंच को मापने वाले अधिकांश अध्ययन दो कारकों पर ध्यान केंद्रित करते हैं: खाद्य स्रोतों से घरों की निकटता और परिवहन तक पहुंच। खाद्य स्रोतों में सुपरमार्केट, डिस्काउंट स्टोर, किसान बाजार और खाद्य पेंट्री शामिल हो सकते हैं। इन विकल्पों में से, उपभोक्ता ज्यादातर सुपरमार्केट और किसान बाजारों में स्वस्थ भोजन खरीदते हैं।

21वीं सदी के लिए किसान बाजार

जैसा कि महामारी फैलने के बाद दिखा, किसान बाजार ने विनाशकारी घटनाओं के दौरान समुदायों के लिए अधिक लचीलापन तरीका अपनाया। बाजारों को अधिक प्रभावी और कुशल बनाने में मदद करने के लिए काम हो रहा है ताकि वे अपने समुदायों में और भी बड़ी भूमिका निभा सकें। अगली बार जब आप किसी किसान बाजार में जाएं, तो मक्के और खीरे की उपलब्धता देखें। आप एक ऐसा संगठन देखेंगे जो स्वास्थ्य और कल्याण को बढ़ावा दे रहा है, स्थानीय अर्थव्यवस्था में योगदान दे रहा है और लोगों को एक साथ ला रहा है।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Open in App

संबंधित खबरें

भारतगोवा अग्निकांड पर पीएम मोदी और राष्ट्रपति ने जताया दुख, पीड़ितों के लिए मुआवजे का किया ऐलान

भारतGoa Fire Accident: अरपोरा नाइट क्लब में आग से 23 लोगों की मौत, घटनास्थल पर पहुंचे सीएम सावंत; जांच के दिए आदेश

भारतगोवा के नाइट क्लब में सिलेंडर विस्फोट में रसोई कर्मचारियों और पर्यटकों समेत 23 लोगों की मौत

पूजा पाठPanchang 07 December 2025: जानें आज कब से कब तक है राहुकाल और अभिजीत मुहूर्त का समय

पूजा पाठAaj Ka Rashifal 07 December 2025: आज इन 3 राशियों के लिए दिन रहेगा चुनौतीपूर्ण, वित्तीय नुकसान की संभावना

विश्व अधिक खबरें

विश्व‘बार’ में गोलीबारी और तीन बच्चों समेत 11 की मौत, 14 घायल

विश्वड्रोन हमले में 33 बच्चों सहित 50 लोगों की मौत, आरएसएफ और सूडानी सेना के बीच जारी जंग

विश्वFrance: क्रिसमस इवेंट के दौरान ग्वाडेलोप में हादसा, भीड़ पर चढ़ी कार; 10 की मौत

विश्वपाकिस्तान: सिंध प्रांत में स्कूली छात्राओं पर धर्मांतरण का दबाव बनाने का आरोप, जांच शुरू

विश्वअड़चनों के बीच रूस के साथ संतुलन साधने की कवायद