पाकिस्तान: सियालकोट में श्रीलंकाई नागरिक की लिंचिंग मामले में 6 लोगों को मौत की सजा, 7 को उम्रकैद
By रुस्तम राणा | Published: April 18, 2022 09:49 PM2022-04-18T21:49:09+5:302022-04-18T22:00:03+5:30
साथ ही आतंकवाद रोधी अदालत ने 7 अन्य लोगों को उम्रकैद की सजा सुनाई, जबकि 67 लोगों को लिंचिंग में शामिल होने के लिए दो-दो साल की सजा सुनाई गई है।
इस्लामाबाद: पाकिस्तान में आतंकवाद रोधी अदालत ने ईशनिंदा को लेकर श्रीलंकाई नागरिक की पीट-पीट कर हत्या करने के मामले में छह लोगों को मौत की सजा सुनाई। इसके अलावा आतंकवाद रोधी अदालत ने 7 अन्य लोगों को उम्रकैद की सजा सुनाई, जबकि 67 लोगों को लिंचिंग में शामिल होने के लिए दो-दो साल की सजा सुनाई गई है।
इससे पहले एक यूट्यूबर को भी हो चुकी है मामले में सजा
इससे पहले सियालकोट के एक निवासी को आतंकवाद विरोधी अदालत ने एक साल कारावास की सजा सुनाई थी। इस शख्स ने अपने यूट्यूब चैनल पर एक वीडियो अपलोड किया था, जिसमें उसने श्रीलंकाई नागरिक की लिंचिंग का समर्थन किया था।
सियालकोट में सरेआम जिंदा जलाकर की गई थी भीड़ हत्या
आपको बता दें कि पिछले साल श्रीलंकाई नागरिक प्रियंथा कुमारा को ईश निंदा के आरोप में 800 से अधिक लोगों की भीड़ ने सियालकोट में सरेआम जिंदा जलाकर हत्या कर दी थी। घटना के बाद 900 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई थी।
सियालकोट की एक फैक्ट्री में मैनेजर थे प्रियंथा कुमारा
प्रियंथा कुमारा सियालकोट की एक फैक्ट्री में प्रबंधक के पद थे। ईश निंदा की एक अफवाह के कारण नवंबर 2021 में 800 लोगों की भीड़ द्वारा हत्या कर दी गई थी। अफवाह में यह कहा गया था कि कुमारा ने फैक्ट्री की दीवार से एक इस्लामी कविता को प्रदर्शित करने वाले पोस्टर को फाड़कर ईशनिंदा की थी।
अपनी जान बचाने की पूरी कोशिश की थी
सैकड़ों की भीड़ उनपर हमला करने आई तो वे फैक्ट्री की छत पर छिप गए थे, लेकिन भीड़ उन्हें सड़क तक घसीटकर लेकर आई और उनकी बुरी तरह से पिटाई करने के बाद आग के हवाले कर दिया गया। भीड़ में कट्टर इस्लामी पार्टी तहरीक-ए-लब्बैक पाकिस्तान (टीएलपी) के समर्थक भी शामिल थे। जैसे ही घटना के वीडियो सोशल मीडिया पर प्रसारित हुए, इस मामले ने अंतरराष्ट्रीय और राष्ट्रीय आक्रोश पैदा कर दिया था।