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पाकिस्तान ने भारत को जेल में बंद 55 नागरिकों और 227 मछुआरों समेत 282 भारतीय कैदियों की सूची सौंपी

By भाषा | Updated: January 1, 2020 16:43 IST

विदेश कार्यालय ने बताया कि यह सूची 21 मई, 2008 को पाकिस्तान और भारत के बीच हुए राजनयिक पहुंच समझौते के प्रावधानों के तहत सौंपी गई है। दोनों देशों को एक-दूसरे की जेलों में बंद कैदियों की सूचियों का आदान-प्रदान एक साल में दो बार, एक जनवरी और एक जुलाई को करना आवश्यक होता है।

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ठळक मुद्देभारत सरकार भी पाकिस्तानी कैदियों की सूची नई दिल्ली में पाकिस्तान उच्चायोग के साथ साझा करेगी।पाकिस्तान ने द्विपक्षीय समझौते के तहत बुधवार कोअपने परमाणु प्रतिष्ठानों की एक सूची को भारत के साथ साझा किया।

पाकिस्तान ने देश की जेल में बंद 55 नागरिकों और 227 मछुआरों समेत 282 भारतीय कैदियों की एक सूची द्विपक्षीय समझौते के तहत बुधवार को भारतीय उच्चायोग को सौंपी।

विदेश कार्यालय ने बताया कि यह सूची 21 मई, 2008 को पाकिस्तान और भारत के बीच हुए राजनयिक पहुंच समझौते के प्रावधानों के तहत सौंपी गई है। दोनों देशों को एक-दूसरे की जेलों में बंद कैदियों की सूचियों का आदान-प्रदान एक साल में दो बार, एक जनवरी और एक जुलाई को करना आवश्यक होता है।

विदेश कार्यालय ने बताया कि भारत सरकार भी पाकिस्तानी कैदियों की सूची नई दिल्ली में पाकिस्तान उच्चायोग के साथ साझा करेगी। पाकिस्तान ने द्विपक्षीय समझौते के तहत बुधवार कोअपने परमाणु प्रतिष्ठानों की एक सूची को भारत के साथ साझा किया।

विदेश कार्यालय ने यहां एक बयान में कहा कि पाकिस्तान और भारत के बीच 31 दिसम्बर, 1988 को एक समझौते पर हस्ताक्षर किये गये थे। परमाणु प्रतिष्ठानों और केन्द्रों के खिलाफ हमलों पर रोक के समझौते के अनुच्छेद-दो के अनुसार सूची भारतीय उच्चायोग के एक अधिकारी को सौंपी गई।

बयान में कहा गया है, ‘‘पाकिस्तान में परमाणु प्रतिष्ठानों की एक सूची आधिकारिक रूप से आज सुबह साढ़े दस बजे विदेश मंत्रालय में भारतीय उच्चायोग के एक प्रतिनिधि को सौंपी गई।’’ विदेश कार्यालय ने कहा कि नई दिल्ली में विदेश मंत्रालय ने भारतीय परमाणु प्रतिष्ठानों की सूची सुबह 11 बजे पाकिस्तान उच्चायोग के एक प्रतिनिधि को सौंपी।

इस समझौते के तहत दोनों देशों के लिए हर साल एक जनवरी को एक-दूसरे के परमाणु प्रतिष्ठानों और केंद्रों की सूचना देना अनिवार्य है। विदेश कार्यालय के अनुसार एक जनवरी, 1992 से लगातार ऐसा किया जा रहा है। 

टॅग्स :पाकिस्तानइंडियामोदी सरकारइमरान खान
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