जिस वुहान लैब से लीक हुआ कोरोनावायरस उसकी फंडिंग रोकेगी ट्रंप सरकार
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: April 18, 2020 01:42 PM2020-04-18T13:42:12+5:302020-04-18T13:42:12+5:30
वुहान इंस्टीट्यूट ऑफ वायरलॉजी की लैब से कोरोना वायरस के निकलने की खबरों पर अब अमेरिका जांच करने की बात कह रहा है. ब्रिटिश मीडिया हाउस द डेली मेल ने एक खबर छापा थी जिसमें दावा किया गया था कि वुहान की इसी लैब से कोरोना वायरस निकला है.
कोरोनावावायरस से पूरी दुनिया में 154,278 लोगों की जान जा चुकी है. अमेरिका में 37,158 और चीन में 4,632 लोगों की मौत हो चुकी है. फॉक्स न्यूज ने अपनी विशेष खबर में कहा कि अमेरिका उन दावों की व्यापक जांच कर रहा है कि क्या घातक वायरस वुहान इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी से लीक हुआ है. अलावा खुफिया कर्मी वुहान लैब और कोरोनावायरस के शुरुआती प्रकोप के बारे में जानकारी इकठ्ठा कर रहे है. कोरोना वायरस के चीन की वुहान लैब से निकलने के सवाल पर ट्रंप ने व्हाइट हाउस में रिपोर्टरों से कहा कि “हम इस पर गौर कर रहे हैं, कई लोग इस पर गौर कर रहे हैं. ऐसा लगता है कि इसमें कुछ सच्चाई है.
समाचार चैनल ने सूत्र के हवाले से कहा कि खुफिया विश्लेषक उन सबूतों को जुटा रहे है जिसकी सरकार को जानकारी है और असल में जो हुआ उसकी सही-सही तस्वीर बना रहे हैं. अमेरिका राष्ट्रपति ट्रंप ने कहा, ‘‘कई अजीब चीजें हो रही हैं लेकिन बहुत जांच होनी बाकी है और हम सच का पता लगा लेंगे. ट्रंप ने कहा कि “मैं बस इतना कह सकता हूं कि यह कहीं से भी आया हो, चीन से जिस भी रूप में आया हो, इसके कारण अब 184 देश भुगत रहे है.
ट्रंप ने कहा कि अमेरिका वुहान में चतुर्थ स्तर की एक प्रयोगशाला को दिया जाने वाला अनुदान समाप्त करेगा. ओबामा प्रशासन ने उन्हें 37 लाख डॉलर का अनुदान दिया था. हम इस सहायता को जल्द ही खत्म करेंगे.
अमेरिका के सेक्रेटरी ऑफ स्टेट माइक पॉम्पियों ने कहा कि हम चीन की सरकार से लगातार कह रहे हैं कि एक्पर्ट्स को वुहान की लैब में जाने और जांच करने की परमिशन दी जाय.
वाशिंगटन पोस्ट ने मंगलवार को अपनी रिपोर्ट में कहा कि वुहान इंस्टीट्यूट वॉयरोलॉजी का दौरा करने वाले अमेरिकी अधिकारियों ने जनवरी 2018 की शुरुआत में वाशिंगटन में डिप्लोमैटिक केबल भेजी थी जिसमें लैब में सुरक्षा और मैनेजमेंट की कमजोरियों के बारे में चेतावनी दी थी.
आपको बता दें कि कई सांसदों के एक समूह ने सदन और सीनेट को चिठ्ठी लिखकर अनुरोध किया कि वुहान इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी के लिए भविष्य में कोरोना वायरस के संबंध में कोई राहत राशि न दी जाए.