Lok Sabha Elections 2024: राहुल और अखिलेश मिलकर लड़ेंगे चुनाव, कांग्रेस और सपा के बीच सीटों के तालमेल को होने लगी बात!, जावेद और वेणुगोपाल में बातचीत

By राजेंद्र कुमार | Published: September 14, 2023 05:24 PM2023-09-14T17:24:06+5:302023-09-14T17:25:29+5:30

Lok Sabha Elections 2024: बुधवार को दिल्ली में इंडिया गठबंधन की कोआर्डिनेशन कमेटी की बैठक में इसे लेकर पहली शुरुआती बातचीत हुई है.

Lok Sabha Elections 2024 Rahul Gandhi Akhilesh Yadav will contest elections together talk seat coordination Congress SP conversation Javed Ali Khan and KC Venugopal | Lok Sabha Elections 2024: राहुल और अखिलेश मिलकर लड़ेंगे चुनाव, कांग्रेस और सपा के बीच सीटों के तालमेल को होने लगी बात!, जावेद और वेणुगोपाल में बातचीत

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Highlightsसीटों के तालमेल को लेकर बातचीत का सिलसिला शुरू हो गया है.सांसद जावेद अली खान ने कांग्रेस के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल से सीटों के बंटवारे पर बातचीत की. मध्य प्रदेश में होने वाले विधान सभा के चुनावों में सपा ने कांग्रेस से छह सीटें छोड़ने का आग्रह किया है.

Lok Sabha Elections 2024: आगामी लोकसभा चुनावों में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के "विजय रथ" की रफ्तार को उत्तर प्रदेश में रोकने के लिए समाजवादी पार्टी (सपा) और कांग्रेस के बीच सीटों के तालमेल को लेकर बातचीत का सिलसिला शुरू हो गया है. बुधवार को दिल्ली में इंडिया गठबंधन की कोआर्डिनेशन कमेटी की बैठक में इसे लेकर पहली शुरुआती बातचीत हुई है.

इस बैठक में मौजूद सपा के राज्य सभा सांसद जावेद अली खान ने कांग्रेस के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल से सीटों के बंटवारे पर बातचीत की. सपा नेताओं के अनुसार, मध्य प्रदेश में होने वाले विधान सभा के चुनावों में सपा ने कांग्रेस से छह सीटें छोड़ने का आग्रह किया है.

इसके साथ ही सपा की तरफ से उत्तर प्रदेश में कांग्रेस के लिए लोकसभा कई सीटें छोड़ने का संकेत दिया गया है. सपा नेताओं का कहना है कि कांग्रेस के नेता के सी वेणुगोपाल सपा का प्रस्ताव अपने केंद्रीय नेतृत्व के सामने रखेंगे और जल्दी ही इस संबंध में बातचीत का सिलसिला शुरू कर सीटों के तालमेल को अंतिम रूप दिया जाएगा.

सपा मध्य प्रदेश में छह सीटों पर चुनाव लड़ना चाहती है 

उत्तर प्रदेश की मुख्य विपक्षी पार्टी सपा मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनावों में अपने प्रत्याशी खड़े करती रही हैं. यूपी से सटे एमपी के कुछ इलाकों में सपा का प्रभाव रहा है. सपा नेता जावेद अली खान ने कहते हैं कि इंडिया गठबंधन की मजबूती के लिए मध्य प्रदेश में सपा और कांग्रेस के बीच सीटों का बंटवारा होना चाहिए.

जावेद अली के मुताबिक एमपी में हुए पिछले विधानसभा चुनावों में सपा एक विधायक चुना गया था और पांच विधानसभा सीटों पर पार्टी दूसरे नंबर पर रही थी. यही वजह है कि सपा मुखिया अखिलेश यादव ने एमपी के विधानसभा चुनाव में अपने प्रभाव वाली सीटों पर प्रत्याशी खड़े करने का फैसला किया है.

इस संबंध में लखनऊ में हुई बैठक में अखिलेश यादव ने कहा था कि एमपी के विधानसभा चुनावों के हमें इस तरह से तैयारी करनी चाहिए ताकि सपा को राष्ट्रीय स्तर का दर्जा मिले. इस बैठक के बाद ही 25 अगस्त को अखिलेश यादव ने एमपी चुनाव के लिए चार टिकटों की घोषणा कर दी. उसके कुछ दिनों बाद दो और उम्मीदवारों के नाम का ऐलान किया गया था.

इस तरह से पार्टी एमपी चुनाव के लिए अब तक छह उम्मीदवार तय कर चुकी है. एमपी की निवाड़ी, राजनगर, मंडेरा, मंहगांव, धौहानी और चितरंगी विधानसभा सीटों पर उम्मीदवार खड़े करने के बाद अब सपा मुखिया चाहते हैं कि कांग्रेस उसके लिए यह सीटें छोड़ दें. जिसे लेकर अब कांग्रेस की तरफ से यह कहा गया कि पार्टी के शीर्ष नेतृत्व से बात कर इस मामले में फैसला लिया जाएगा.

यूपी में कांग्रेस के लिए अखिलेश सीटे छोड़ने को तैयार:

सपा मुखिया अखिलेश यादव के भाई और पूर्व सांसद धर्मेंद्र यादव को उम्मीद है कि एमपी के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस कुछ सीटे सपा के लिए छोड़ने को तैयार हो जाएगी. धर्मेंद्र यादव एमपी में पार्टी के चुनाव प्रचार की कमान संभाल हुए हैं. वह कहते हैं कि सपा एमपी में हर विधानसभा चुनाव लड़ती रही है.

पार्टी का सबसे अच्छा प्रदर्शन वर्ष 2003 में रहा था. तब पार्टी के 7 विधायक चुने गए थे. वर्ष 2008 और वर्ष 2018 के विधानसभा चुनाव में पार्टी का एक विधायक चुना गया.पिछली बार जब कमलनाथ राज्य के मुख्यमंत्री बने थे तब सपा के इकलौते विधायक ने उन्हें बिना शर्त समर्थन दिया था.

अब अगर सपा और कांग्रेस में एमपी चुनाव में गठबंधन हो जाता है तो फिर लोकसभा चुनाव के लिए दोनों पार्टियों के रिश्ते के लिए एक शुभ संकेत होगा. सपा यूपी में कांग्रेस के लिए कई सीटें छोड़ने को तैयार हो सकती हैं. वैसे भी सपा ने बीते कई लोकसभा चुनावों में कांग्रेस के लिए अमेठी और रायबरेली की सीट पर कांग्रेस के समर्थन में अपना उम्मीदवार खड़ा नहीं किया था.

आगामी लोकसभा चुनावों में भी सपा कांग्रेस के प्रभाववाली कुछ सीटों अपने उम्मीदवार खड़ा ना करने का फैसला कर सकती हैं. सपा नेताओं का कहना है कि भाजपा को रोकने के लिए सपा मुखिया अखिलेश यादव यूपी में कांग्रेस, रालोद और सपा से जुड़े छोटे दलों के साथ मिलकर लोकसभा चुनाव लड़ना चाहते हैं. इसके लिए वह 20 से 25 सीटे अपने साथ जुड़े दलों के लिए छोड़ने को तैयार हैं.

 ताकि यूपी में भाजपा के 80 संसदीय सीटें जीतने के लक्ष्य को कुंद किया जा सके. अखिलेश यादव की इस मंशा से अब जावेद अली ने कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व को अवगत करा दिया है. कहा जा रहा है, अब सीटों के तालमेल को लेकर जल्दी ही कांग्रेस और सपा के सीनियर नेताओं की बातचीत केएस सिलसिला शुरू होगा. 

Web Title: Lok Sabha Elections 2024 Rahul Gandhi Akhilesh Yadav will contest elections together talk seat coordination Congress SP conversation Javed Ali Khan and KC Venugopal

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