राहु-केतु 23 सितंबर को बदलेंगे चाल, जानें किन राशियों पर पड़ेगा प्रभाव

By गुणातीत ओझा | Published: August 20, 2020 01:19 PM2020-08-20T13:19:21+5:302020-08-25T16:04:51+5:30

सितंबर में राहु और केतु अपनी चाल बदलेंगे। इन दोनों ग्रहों के गोचर से राशि जातकों के साथ ही राज और प्रशासन पर असर देखने को मिलेगा। मेष, कर्क, सिंह, वृश्चिक राशि वालों के लिए लाभदायी रहेगा।

raahu ketu 23 sitambar ko badalenge chaal jaanen kin raashiyon par padega prabhaav | राहु-केतु 23 सितंबर को बदलेंगे चाल, जानें किन राशियों पर पड़ेगा प्रभाव

राहु-केतु 23 सितंबर को बदलेंगे चाल, जानें किन राशियों पर पड़ेगा प्रभाव

Highlightsसितंबर में राहु और केतु अपनी चाल बदलेंगे।इन दोनों ग्रहों के गोचर से राशि जातकों के साथ ही राज और प्रशासन पर असर देखने को मिलेगा।

सितंबर में राहु और केतु अपनी चाल बदलेंगे। इन दोनों ग्रहों के गोचर से राशि जातकों के साथ ही राज और प्रशासन पर असर देखने को मिलेगा। मेष, कर्क, सिंह, वृश्चिक राशि वालों के लिए लाभदायी रहेगा। वहीं अन्य राशियों के लिए प्रतिकूल परिस्थितियों का सामना करना पड़ सकता है। राहु ग्रह 23 सितंबर को सुबह 5:28 मिथुन राशि से वृष राशि में गोचर करेगा। यहां 12 अप्रैल 2022 तक स्थित रहेगा। पाल बालाजी ज्योतिष संस्थान जयपुर के निदेशक ज्योतिषाचार्य अनीष व्यास ने बताया कि राहु का यह राशि परिवर्तन इस साल की सबसे बड़ी ज्योतिषीय घटनाओं में से एक होगी। इसी प्रकार, केतु का गोचर 23 सितंबर को ही सुबह 7:38 बजे धनु राशि से वृश्चिक राशि में होगा। यहां 12 अप्रैल 2022 सुबह 8:44 बजे तक रहेगा। इसका कई राशियों पर शुभ और अशुभ दोनों तरह का प्रभाव पड़ेगा। इसे मंगल का छाया ग्रह माना जाता है।

वैदिक ज्योतिष में राहु ग्रह का महत्व

ज्योतिषाचार्य अनीष व्यास ने बताया कि ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, राहु एक अशुभ ग्रह है। हालांकि अन्य ग्रहों की तुलना में (केतु को छोड़कर) इसका कोई वास्तविक आकार नहीं है। इसलिए राहु को छाया ग्रह कहा जाता है। स्वभाव के अनुसार, राहु को पापी ग्रह की संज्ञा दी गई है। आमतौर पर कुंडली में राहु का नाम सुनते ही लोगों के मन में भय उत्पन्न हो जाता है। परंतु कोई भी ग्रह शुभ या अशुभ नहीं होता है बल्कि उसका फल शुभ-अशुभ होता है। यदि कुंडली कोई ग्रह मजबूत स्थिति में होता है तो वह शुभ फल देता है। राहु को किसी भी राशि का स्वामित्व प्राप्त नहीं है। वहीं जब कमजोर स्थिति में होता है तो उसके फल नकारात्मक मिलते हैं। यहां हम राहु ग्रह की बात कर रहे हैं। राहु को अशुभ फल देने वाला ग्रह माना जाता है। लेकिन यह पूर्ण रूप से सत्य बात नहीं है। राहु कुंडली में शुभ होने पर शुभ फल भी देता है। इसके शुभ फल से व्यक्ति धनवान और राजयोग का सुख भी प्राप्त करता है।

वैदिक ज्योतिष में केतु ग्रह का महत्व

ज्योतिषाचार्य अनीष व्यास ने बताया कि वैदिक ज्योतिष में केतु ग्रह को एक छाया ग्रह माना गया है। इसे छाया ग्रह इसलिए कहा जाता है क्योंकि केतु का अपना कोई वास्तविक रूप या आकार नहीं है। यह मोक्ष, अध्यात्म और वैराग्य का कारक है और एक रहस्यमी ग्रह है। इसलिए जब केतु किसी व्यक्ति की कुंडली में शुभ होता है तो वह उस व्यक्ति की कल्पना शक्ति को असीम कर देता है। जबकि अशुभ होने पर यह इंसान का सर्वनाश कर सकता है। केतु ग्रह किसी भी राशि का स्वामी नहीं होता है। लेकिन धनु राशि में यह उच्च और मिथुन राशि में नीच का होता है।

प्रदेश व देश के विकास में सहायक होगा

ज्योतिषाचार्य अनीष व्यास ने बताया कि अंक ज्योतिष के अनुसार 2020 का मूलांक 4 आता है। इसके राशि स्वामी राहू है। राहू का असर कोरोना वायरस से भी जुड़ा दिख रहा है। ऐसे में इसके राशि परिवर्तन से कोरोना का असर न्यूनतम स्थिति में आने की संभावना है राहु के राशि परिवर्तन से कोरोना का असर न्यूनतम स्थिति में आने की संभावना है। राहु के राशि परिवर्तन से अचानक लाभ, अचानक कष्ट या नुकसान देखने को मिल सकता है। प्रदेश व देश के विकास में सहायक होगा तो सत्ता पक्ष में बेचैनी बढ़ाएगा। राहु में जहां शनि के गुण होते हैं तो केतु में मंगल के गुण है।

उल्टी चाल चलने वाला ग्रह है राहु-केतू

ज्योतिषाचार्य अनीष व्यास ने बताया कि ये दो ऐसे ग्रह हैं जिन्हें ज्योतिषशास्त्र के तहत छाया ग्रहों का नाम दिया गया है। खगोलीय दृष्टि से भले ही ये दो ‘ग्रह’ ना माने गए हों लेकिन ज्योतिषशास्त्र में इन्हें महत्वपूर्ण दर्जा प्रदान किया है। ये दो ऐसे ग्रह हैं जिन्हें शुरुआत से ही वक्री यानि उलटी चाल चलने वाला ग्रह माना जाता है। ग्रहों को मुख्य रूप से शुभ और क्रूर ग्रहों की श्रेणी में बांटा गया है।इनमें राहु-केतु को क्रूर ग्रहों की श्रेणी में रखा गया है। जब राहू और केतू की युति होती है तब जातक को बड़े परिणाम देखने को मिल सकते हैं। वर्ष यानि 2020 राहू का साल है और इसी साल राहू केतू अपना राशि परिवर्तन करने जा रहा है, जो प्रमुख घटना है। 

जानें सभी राशियों पर राहु-केतु के इस गोचर का प्रभाव-

मेष: शुभ परिणामकारी रहेगा। साहस में वृद्धि होगी।
वृष: आर्थिक जीवन प्रभावित होगा। परिवार में कलह।
मिथुन: शारीरिक और मानसिक परेशानी का सामना करना पड़ सकता है।
कर्क: विदेश यात्रा पर जाने की संभावना बन रही है।
सिंह: शुभ रहेगा। आमदनी में इजाफा होगा।
कन्या: कार्यक्षेत्र में बाधाओं का सामना करना पड़ेगा।
तुला: राहु की दृष्टि किस्मत के सितारों को कमजोर करेगी।
वृश्चिक: उच्च शिक्षा प्राप्त कर रहे विद्यार्थियों को फायदा होगा।
धनु: व्यापार में नुकसान, लाइफ पार्टनर से मतभेद।
मकर: कर्ज में वृद्धि हो सकती है। शत्रु हावी रहेंगे।
कुंभ: संतान को परेशानियां हो सकती है। प्रेम जीवन में समस्या का सामना करना पड़ सकता है।
मीन: मां को शारीरिक परेशानियों हो सकती है।

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