आज यानी 5 जून को साल का दूसरा चंद्र ग्रहण लगने जा रहा है। इसे एक अशुभ घटना बताया जाता है। चंद्र ग्रहण रात 11 बजकर 15 मिनट से शुरू होगा जो 6 तारीख को 2 बजकर 34 मिनट (सुबह) तक रहेगा। इस ग्रहण को हम अपनी नंगी आंखों से देख नहीं पाएंगे। रात 12 बजकर 54 मिनट पर यह अपनी पूर्ण स्थिति में होगा। इस चंद्रग्रहण की कुल अवधि 3 धंटे 15 मिनट की होगी।
जून और जुलाई का ये महीना इसलिए भी खास है क्योंकि इस महीने में तीन ग्रहण लगने जा रहे हैं। अकेले जून के महीने में ही चन्द्र और सूर्य ग्रहण एक साथ लगने जा रहे हैं। हलांकि ज्योतिष शास्त्र की दृष्टी से इसे शुभ नहीं माना जाता है।
ग्रहण को आस्था की नजर से देखा जाता है। ग्रहों की चाल और राशि बदलने का असर क्या पड़ेगा इस बात को भी देखा जाता है। ग्रहण का हमारे जीवन पर भी प्रभाव पड़ता है। इस साल पड़ने वाले ग्रहण की बात करें तो ये ग्रहण भारत समेत यूरोप, अफ्रीका, एशिया और ऑस्ट्रेलिया में दिखाई देगा।
धार्मिक विषयों से जुड़े जानकारों के अनुसार 5 जून को लगने वाला ग्रहण मात्र उपच्छाया चंद्र ग्रहण है। कई जानकारों के अनुसार उपच्छाया चंद्र ग्रहण को शास्त्रों में ग्रहण की श्रेणी में नहीं रखा गया है। यही कारण है कि इस ग्रहण के दौरान सूतक नहीं लगेगा। आमतौर पर चंद्र ग्रहण का सूतक 9 घंटे पहले और सूर्य ग्रहण का सूतक 12 घंटे पहले से शुरू हो जाता है। शास्त्रों के अनुसार ये ग्रहण नहीं है, इसलिए इसका खास प्रभाव भी नहीं पड़ेगा।
ग्रहण के दौरान ना करें ये कार्य
1. ग्रहण के दौरान ना तो पूजा करना चाहिए और ना ही भगवान की मूर्ति को छूना चाहिए।
2. ग्रहण के दौरान घर के मंदिरों के कपाट बंद कर देना चाहिए।
3. गर्भवती महिलाओं को ग्रहण के दौरान ग्रहण देखना नहीं चाहिए। आपको घर से भी नहीं निकलना चाहिए।
4. ग्रहण में स्त्री-पुरुष को शारीरिक संबंध नहीं बनाना चाहिए।
5. ग्रहण के दौरान सबसे ज्यादा नकारात्मक शक्तियां हावी रहती हैं। ग्रहण में कभी भी श्मशान घाट में नहीं जाना चाहिए।
6. ग्रहण के दौरान कोई भी शुभ कार्य करने से बचना चाहिए।
7. ग्रहण के दौरान बाल और नाखून काटने से बचना चाहिए।
ग्रहण के बाद करें ये काम
1. चंद्र ग्रहण में चंद्रमा से जुड़े मंत्रों का जाप करना चाहिए।
2. ग्रहण खत्म होने के बाद स्नान कर नए कपड़े धारण करें।
3. ग्रहण खत्म होने के बाद पूरे घर में गंगाजल डालकर शुद्धि करें।
4. ग्रहण खत्म होने पर घर के पास मौजूद किसी मंदिर में पूजा कर दान करें।
5. ग्रहण के बाद किसी जरूरत मंद को दान जरूर दें।