गुजरात: राज्यसभा चुनाव से पहले कांग्रेस से इस्तीफा देने वाले 5 विधायक BJP में शामिल
By अनुराग आनंद | Published: June 27, 2020 04:29 PM2020-06-27T16:29:43+5:302020-06-27T16:38:06+5:30
गुजरात में 5 विधायकों के पार्टी से इस्तीफा देकर भाजपा में शामिल होने से प्रदेश कांग्रेस को बड़ा नुकसान हुआ है।
नई दिल्ली:गुजरात में कांग्रेस को बड़ा नुकसान हुआ है। शनिवार को कांग्रेस के पांच पूर्व विधायकों ने भाजपा का दामन थाम लिया। ये सभी उन आठ विधायकों में से हैं जिन्होंने मार्च और जून में कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया था।
भाजपा के साथ जुड़ने वालों में कांग्रेस के पूर्व विधायक जीतू चौधरी, प्रद्युम्नसिंह जडेजा, जे.वी ककड़िया, अक्षय पटेल और बृजेश मेरजा शामिल हैं। इन सभी ने भाजपा प्रदेश अध्यक्ष जीतू वघानी और कई वरिष्ठ नेताओं की मौजूदगी में पार्टी ज्वाइन की।
Gujarat: JV Kakadiya, Jitu Chaudhary, Brijesh Merja, Pradyumansinh Jadeja & Akshay Patel - five leaders who gave up the memberships of the state Assembly and Congress before Rajya Sabha elections join BJP in Gandhinagar. pic.twitter.com/CL3Kur83O6
— ANI (@ANI) June 27, 2020
भाजपा में शामिल होने वाले 3 विधायकों मे इस माह व 2 ने मार्च में दिया था इस्तीफा-
बता दें कि भाजपा में शामिल होने वाले इन पांच पूर्व विधायकों में से पटेल, मिर्जा और चौधरी ने इस महीने की शुरुआत में विधायकों के रूप में इस्तीफा दे दिया था। इसके कुछ समय बाद चुनाव आयोग ने राज्य में राज्यसभा चुनाव की नई तारीख के रूप में 19 जून की घोषणा की थी। इसके अलावा, बाकी के दो विधायक ककाडिया और जडेजा ने मार्च में कांग्रेस पार्टी से इस्तीफा दिया था।
गुजरात राज्यसभा चुनाव में तीन सीटों पर बीजेपी व एक पर कांग्रेस का कब्जा-
राज्यसभा की 19 सीटों के लिए आठ राज्यों में चुनाव हुए थे। गुजरात की चार राज्यसभा सीटों पर हुए चुनाव में तीन सीटें भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने जीती हैं और एक सीट कांग्रेस ने जीती है। बीजेपी उम्मीदवार अभय भारद्वाज, रमिलाबेन बारा और नरहरी अमीन चुनाव जीत गए हैं। वहीं कांग्रेस से उम्मीदवार शक्ति सिंह गोहिल जीते हैं। कांग्रेस के दूसरे उम्मीदवार भरत सिंह सोलंकी हार गए हैं।
गुजरात में आज (19 जून) को चुनाव के पहले थोड़ा हंगामा हुआ। लेकिन फिर वोटिंग शुरू हुई और बीजेपी तीन सीट और कांग्रेस एक सीट जीती। बीजेपी के दो विधायकों के वोट रद्द करने के लिए कांग्रेस ने केंद्रीय चुनाव आयोग का दरवाजा खटखटाया था लेकिन वहां उनकी अपील रद्द कर दी गई। इससे पहले राज्य चुनाव आयोग ने भी कांग्रेस की अपील को ठुकरा दिया था।