1 / 7GST collections April 2025: माल एवं सेवा कर (जीएसटी) संग्रह अप्रैल में सालाना आधार पर 12.6 प्रतिशत बढ़कर अबतक के उच्चतम स्तर लगभग 2.37 लाख करोड़ रुपये पर पहुंच गया। यह मजबूत आर्थिक गतिविधियों और कंपनियों के मार्च के अंत में खातों के मिलान को दर्शाता है। जीएसटी संग्रह बीते वर्ष अप्रैल में 2.10 लाख करोड़ रुपये रहा था।2 / 7GST collections April 2025: यह देश में एक जुलाई, 2017 से नई अप्रत्यक्ष कर व्यवस्था लागू होने के बाद का दूसरा सर्वाधिक जीएसटी संग्रह है। इससे पहले, मार्च 2025 में कर संग्रह 1.96 लाख करोड़ रुपये था। बृहस्पतिवार को जारी सरकारी आंकड़ों के अनुसार, अप्रैल 2025 के दौरान घरेलू लेनदेन से जीएसटी राजस्व 10.7 प्रतिशत बढ़कर लगभग 1.9 लाख करोड़ रुपये हो गया, जबकि आयातित वस्तुओं से राजस्व 20.8 प्रतिशत बढ़कर 46,913 करोड़ रुपये रहा। बीते महीने जारी किया गया ‘रिफंड’ 48.3 प्रतिशत बढ़कर 27,341 करोड़ रुपये पहुंच गया।3 / 7GST collections April 2025: इस ‘रिफंड’ को समायोजित करने के बाद अप्रैल महीने में शुद्ध जीएसटी संग्रह 9.1 प्रतिशत बढ़कर 2.09 लाख करोड़ रुपये से अधिक रहा। डेलॉयट इंडिया के भागीदार एम एस मणि ने कहा कि चालू वित्त वर्ष के पहले महीने में दो लाख करोड़ रुपये से अधिक का शुद्ध जीएसटी संग्रह पिछले वित्त वर्ष के अंतिम महीने में मजबूत आर्थिक प्रदर्शन का संकेत देता है क्योंकि यह आंकड़ा मार्च 2025 में वस्तुओं एवं सेवाओं के लेनदेन से संबंधित हैं।4 / 7GST collections April 2025: इस महीने में जीएसटी संग्रह सभी प्रमुख उत्पादक/उपभोग करने वाले राज्यों में समान रूप से अधिक रहा है। इसमें 11 प्रतिशत से लेकर 16 प्रतिशत तक की तेजी रही है। यह पिछले महीनों के उलट है जब कुछ बड़े राज्यों में वृद्धि कम रही थी।'5 / 7GST collections April 2025: अप्रैल, 2025 में घरेलू लेनदेन से केंद्रीय जीएसटी संग्रह 48,634 करोड़ रुपये रहा, जबकि राज्य जीएसटी संग्रह 59,372 करोड़ रुपये रहा। घरेलू लेनदेन से एकीकृत जीएसटी और उपकर संग्रह क्रमशः 69,504 करोड़ रुपये एवं 12,293 करोड़ रुपये रहा। ईवाई के कर भागीदार सौरभ अग्रवाल ने कहा कि रिकॉर्ड जीएसटी संग्रह वैश्विक आर्थिक अनिश्चितताओं के सामने भारतीय अर्थव्यवस्था की मजबूती को बताता है। अग्रवाल ने कहा, ‘‘निर्यात और अन्य जीएसटी रिफंड में तेजी लाने के लिए सरकार के सक्रिय उपायों ने उद्योगों पर कार्यशील पूंजी का बोझ कम कर दिया है। इसका लाभ मध्यम से लंबी अवधि में उपभोक्ताओं को मिलने की संभावना है।’’6 / 7GST collections April 2025: मौजूदा वैश्विक आर्थिक माहौल के कारण अगले महीने जीएसटी संग्रह में कमी आने की आशंका है लेकिन भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए समग्र दृष्टिकोण सकारात्मक बना हुआ है। टैक्स कनेक्ट एडवाइजरी सर्विसेज एलएलपी के भागीदार विवेक जालान ने कहा, ‘‘वैश्विक शुल्क युद्ध, कश्मीर में हुए आतंकवादी हमले और उससे जुड़ी अनिश्चितताओं के बीच, शुद्ध रूप से जीएसटी राजस्व में सालाना आधार पर 9.1 प्रतिशत की वृद्धि देश की इस दृढ़ इच्छा को बताती है कि वह ‘विकसित भारत’ के सपने को हर परिस्थिति में आगे बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है।’’7 / 7GST collections April 2025: हालांकि, कुछ राज्यों में केंद्रीय और राज्य क्षेत्राधिकारों के जीएसटी राजस्व में वृद्धि की असमानता है। मसलन, तमिलनाडु में केंद्रीय क्षेत्राधिकार के तहत जीएसटी राजस्व में वृद्धि 9.3 प्रतिशत है, जबकि राज्य जीएसटी के तहत यह वृद्धि 17 प्रतिशत है। इस अंतर पर राज्य के सीजीएसटी और एसजीएसटी अधिकारियों को गौर करना चाहिए।