Chhatrapati Sambhajinagar and Dharashiv: औरंगाबाद, उस्मानाबाद जिले का नाम बदलने को लेकर अधिसूचना जारी, सीएम शिंदे के नेतृत्व वाली महाराष्ट्र सरकार ने ये नाम रखा, जानें इतिहास

By सतीश कुमार सिंह | Published: September 16, 2023 03:35 PM2023-09-16T15:35:16+5:302023-09-16T15:36:39+5:30

Chhatrapati Sambhajinagar and Dharashiv 2023: मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली महाराष्ट्र सरकार ने औरंगाबाद और उस्मानाबाद जिलों के नाम बदलकर क्रमशः छत्रपति संभाजीनगर और धाराशिव करने के संबंध में अधिसूचना जारी की है।

Maharashtra government completes renaming of Chhatrapati Sambhajinagar and Dharashiv, wiping out of references to Aurangabad and Usmanabad | Chhatrapati Sambhajinagar and Dharashiv: औरंगाबाद, उस्मानाबाद जिले का नाम बदलने को लेकर अधिसूचना जारी, सीएम शिंदे के नेतृत्व वाली महाराष्ट्र सरकार ने ये नाम रखा, जानें इतिहास

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Highlightsराजस्व विभाग द्वारा शुक्रवार रात जारी अधिसूचना में कहा गया है।मांगे गए सुझावों और आपत्तियों पर विचार किया गया है।उप-मंडल, गांव, तालुका एवं जिला स्तर पर नाम बदलने का निर्णय लिया गया है।

Chhatrapati Sambhajinagar and Dharashiv 2023: महाराष्ट्र सरकार ने 15 सितंबर 2023 को एक राजपत्र जारी किया। राज्य के मराठवाड़ा क्षेत्र में दो महत्वपूर्ण स्थानों के नाम बदलने की प्रक्रिया को पालन करते हुए अधिसूचना जारी की। औरंगाबाद और उस्मानाबाद स्थानों का नाम बदलकर क्रमशः छत्रपति संभाजीनगर और धाराशिव कर दिया गया है।

इस राजपत्र में स्पष्ट रूप से उल्लेख किया गया है कि नए नाम राजस्व प्रशासन के सभी चरणों सहित हर जगह प्रतिबिंबित होंगे। नगर, शहर, तालुका, जिला, उप-विभाग और प्रभाग। महाराष्ट्र सरकार के राजस्व विभाग द्वारा प्रकाशित राजपत्र में उल्लेख किया गया कि राजस्व विभाग राजस्व क्षेत्रों के नाम बदल रहा है।

औरंगाबाद जिले को छत्रपति संभाजीनगर जिला कहा जाएगा। औरंगाबाद शहर को छत्रपति संभाजीनगर शहर कहा जाएगा। औरंगाबाद तालुका को छत्रपति संभाजीनगर तालुका कहा जाएगा। मराठवाड़ा एक प्रशासनिक और राजस्व प्रभाग है, जहां नए नाम पाने वाले दोनों शहर स्थित हैं। इस डिविजन और सब-डिविजन को पहले औरंगाबाद और उस्मानाबाद नाम से पहचाना जाता था।

गजट में कहा गया कि अब इसे नए नामों से पुकारा जायेगा। छत्रपति संभाजीनगर डिविजन और छत्रपति संभाजीनगर सब-डिविजन नए नाम होंगे। इसी तरह, उस्मानाबाद के जिला, तालुका, शहर और उप-मंडल को अब धाराशिव जिला, धाराशिव तालुका, धाराशिव शहर और धाराशिव उप-मंडल कहा जाएगा।

24 फरवरी 2023 को महाराष्ट्र के गृह मंत्रालय ने मुगल तानाशाह औरंगजेब के नाम पर रखे गए 'औरंगाबाद' शहर का नाम बदलकर छत्रपति संभाजीनगर करने के निर्णय को मंजूरी दे दी। इसी फैसले के तहत उस्मानाबाद का नाम बदलकर धाराशिव कर दिया गया। उस्मानाबाद का नाम हैदराबाद के इस्लामी शासक निज़ाम मीर उस्मान अली खान के नाम पर रखा गया था।

उल्लेखनीय है कि छत्रपति शिवाजी महाराज के पुत्र छत्रपति संभाजी महाराज को 1689 में औरंगजेब ने बेरहमी से मार डाला था। मराठवाड़ा क्षेत्र 17 सितंबर 1948 तक निज़ाम के शासन के अधीन था, जब भारतीय सेना ने राज्य को भारत में विलय करने के लिए इस्लामी ताकतों रजाकारों को हराया था। 

औरंगाबाद और उस्मानाबाद का नाम बदलने का फैसला पूर्ववर्ती महाविकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार की आखिरी कैबिनेट बैठक में लिया गया था। इस बैठक की अध्यक्षता तत्कालीन मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के 29 जून 2022 को इस्तीफा देने से ठीक पहले उनकी अध्यक्षता में हुई थी।

बहरहाल, इसके एक दिन बाद शपथ लेने वाले मुख्यमंत्री शिंदे और उप मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस ने कहा था कि इन जिलों का नाम बदलने का ठाकरे सरकार का फैसला अवैध है, क्योंकि राज्यपाल ने उन्हें राज्य विधानसभा में बहुमत साबित करने के लिए कहा था, जिसके बाद उन्होंने यह फैसला किया था।

शिंदे नीत कैबिनेट ने पिछले साल जुलाई में औरंगाबाद और उस्मानाबाद का नाम बदलकर क्रमशः छत्रपति संभाजीनगर और धाराशिव करने के प्रस्ताव को मंजूरी दी थी। एमवीए सरकार की आखिरी कैबिनेट बैठक में औरंगाबाद का नाम बदलकर संभाजीनगर कर दिया गया, लेकिन शिंदे सरकार ने इसके आगे ‘छत्रपति’ भी जोड़ दिया।

Web Title: Maharashtra government completes renaming of Chhatrapati Sambhajinagar and Dharashiv, wiping out of references to Aurangabad and Usmanabad

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