उत्तराखंड बाढ : बचाव कार्यों में तेजी, मृतक संख्या 18 हुई

By भाषा | Updated: February 8, 2021 17:54 IST2021-02-08T17:54:33+5:302021-02-08T17:54:33+5:30

Uttarakhand floods: rescue operations pick up, death toll increased to 18 | उत्तराखंड बाढ : बचाव कार्यों में तेजी, मृतक संख्या 18 हुई

उत्तराखंड बाढ : बचाव कार्यों में तेजी, मृतक संख्या 18 हुई

देहरादून, आठ फरवरी उत्तराखंड के चमोली जिले की ऋषिगंगा घाटी में रविवार को अचानक आई विकराल बाढ से प्रभावित क्षेत्र में बचाव और राहत अभियान में सोमवार को तेजी आ गई जबकि आपदा में मरने वालों की संख्या 18 पहुंच गई है जबकि 202 अन्य लोग लापता हैं।

ऋषिगंगा घाटी के रैंणी क्षेत्र में हिमखंड टूटने से ऋषिगंगा और धौलीगंगा नदियों में अचानक आई बाढ से क्षतिग्रस्त 13.2 मेगावाट ऋषिगंगा और 480 मेगावाट की निर्माणाधीन तपोवन विष्णुगाड पनबिजली परियोजनाओं में लापता लोगों की तलाश के लिए सेना, भारत तिब्बत सीमा पुलिस (आइटीबीपी), राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) के जवानों के बचाव और राहत अभियान में जुट जाने से उसमें तेजी आ गई है।

उत्तराखंड राज्य आपदा परिचालन केंद्र से मिली जानकारी के अनुसार, आपदा में अब तक 202 लोगों के लापता होने की सूचना है जबकि 18 के शव बरामद हो चुके हैं।

अधिकारियों ने बताया कि लापता लोगों में पनबिजली परियोजनाओं में कार्यरत लोगों के अलावा आसपास के गांवों के स्थानीय लोग भी है जिनके घर बाढ के पानी में बह गए।

आपदा प्रभावित क्षेत्र तपोवन क्षेत्र में बिजली परियोजना की छोटी सुरंग से 12 लोगों को कल रविवार को बाहर निकाल लिया गया था जबकि 250 मीटर लंबी दूसरी सुरंग में फंसे 35 लोगों को बाहर निकालने के लिए अभियान जारी है।

बचाव और राहत अभियान में बुलडोजर, जेसीबी आदि भारी मशीनों के अलावा रस्सियों और स्निफर कुत्तों का भी उपयोग किया जा रहा है। हालांकि, सुरंग के घुमावदार होने के कारण उसमें से मलबा निकालने तथा अंदर तक पहुंचने में मुश्किलें आ रही हैं।

रविवार को मुख्यमंत्री रावत ने आपदा प्रभावित क्षेत्र का दौरा किया था और सोमवार को वह फिर तपोवन क्षेत्र के लिए रवाना हो गए। इस बारे में सोशल मीडिया पर जानकारी साझा करते हुए मुख्यमंत्री रावत ने कहा, ‘‘मैं प्रभावित क्षेत्रों में जा रहा हूं और रात्रि प्रवास वहीं करूंगा।’’

उन्होंने कहा कि क्षेत्र में राहत और बचाव कार्य तेजी से चल रहे हैं और सरकार इसमें कोई कोर कसर नहीं छोड़ रही है। उन्होंने इस हादसे को विकास के खिलाफ दुष्प्रचार का कारण नहीं बनाने का भी लोगों से अनुरोध किया।

रावत ने कहा कि पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार कल से ही इस क्षेत्र में कैम्प किये हुए हैं जबकि गढ़वाल आयुक्त और पुलिस उपमहानिरीक्षक गढ़वाल को भी सोमवार से वहीं केंप करने के निर्देश दिये गये है।

बाढ आने का कारण तत्काल पता नहीं चल पाया है लेकिन ऐसा माना जा रहा है कि हिमखंड टूटने से नदी में बाढ आ गई।

इस संबंध में मुख्यमंत्री ने कहा कि घटना के कारणों का पता लगाने के मुख्य सचिव को निर्देश दिये गये हैं और उनसे कहा गया है कि इसरो के वैज्ञानिकों एवं विशेषज्ञों से इस घटना के कारणों का पता किया जाये ताकि भविष्य में कुछ एहतियात बरते जा सकें।

इसी बीच, केंद्रीय शिक्षा मंत्री डॉ रमेश पोखरियाल निशंक, केंद्रीय उर्जा मंत्री आरके सिंह, गढवाल सांसद तीरथ सिंह रावत आदि ने भी प्रभावित क्षेत्रों का दौरा कर स्थिति का जायजा लिया।

संपर्क से कट गए 13 गांवों में हैलीकॉटर की मदद से राशन, दवाइयां तथा अन्य राहत सामग्री पहुंचाई जा रही है। राहत और बचाव कार्यों के लिए राज्य आपदा प्रतिवादन बल मद से 20 करोड़ रुपये तत्काल जारी कर दिए गए हैं।

मुख्य सचिव ओम प्रकाश ने बताया कि सरकार की मंशा लापता लोगों के परिजनों को भी आर्थिक सहायता उपलब्ध कराने की है जिसकी जल्द ही प्रक्रिया तय की जाएगी।

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Web Title: Uttarakhand floods: rescue operations pick up, death toll increased to 18

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