UP News: यूपी में खाद का संकट, आधार के जरिए खाद मुहैया करने की योजना हुई फेल, किसान प्रदर्शन करने को मजबूर

By राजेंद्र कुमार | Updated: August 19, 2025 18:36 IST2025-08-19T18:36:33+5:302025-08-19T18:36:33+5:30

उत्तर प्रदेश में खाद की किल्लत की मुख्य वजह समय पर खाद उपलब्धता ना होना और खाद की हो रही कालाबाजारी है. हालांकि सीएम योगी ने खाद की कालाबाजारी को रोकने के लिए बीते माह कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही को जिलों का दौरा कर खाद की बिक्री के इंतजाम को पुख्ता करने के लिए भेजा था.

UP News: Fertilizer crisis in UP, plan to provide fertilizer through Aadhar failed, farmers forced to protest | UP News: यूपी में खाद का संकट, आधार के जरिए खाद मुहैया करने की योजना हुई फेल, किसान प्रदर्शन करने को मजबूर

UP News: यूपी में खाद का संकट, आधार के जरिए खाद मुहैया करने की योजना हुई फेल, किसान प्रदर्शन करने को मजबूर

लखनऊ: उत्तर प्रदेश में धान की खेती करने वाले किसान इस वक्त खाद की कालाबाजारी से जूझ रहे हैं. किसानों को खाद उपलब्ध कराने के लिए प्रदेश सरकार द्वारा किए गए इंतजाम ध्वस्त हो चुके हैं. आधार कार्ड पर किसानों को एक बोरी खाद देने की व्यवस्था फेल हो गई है. परिणाम स्वरूप यूरिया खाद पाने के लिए दो दर्जन से अधिक जिलों में किसान सड़कों को जाम कर विरोध जाता रहे हैं. किसानों की यह नाराजगी सरकार पर भारी पड़ रही है. ऐसे में अब सत्तापक्ष के विधायक नाराज किसानों को मनाने में जुट गए हैं. जबकि समाजवादी पार्टी (सपा) के नेता खाद की किल्लत के लिए कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही को ज़िम्मेदारी बताते हुए उनसे इस्तीफा देने की मांग कर रहे हैं.

इन जिलों में किसानों ने जताया विरोध

उत्तर प्रदेश में खाद की किल्लत की मुख्य वजह समय पर खाद उपलब्धता ना होना और खाद की हो रही कालाबाजारी है. हालांकि सीएम योगी ने खाद की कालाबाजारी को रोकने के लिए बीते माह कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही को जिलों का दौरा कर खाद की बिक्री के इंतजाम को पुख्ता करने के लिए भेजा था. सूर्य प्रताप शाही कई जिलों में गए भी थे और उन्होंने खाद की कालाबाजारी में लिप्त कुछ खाद विक्रेताओं के खिलाफ एक्शन भी लिया था.

इसके बाद किसानों को आधार कार्ड पर खाद देने की व्यवस्था की गई. इस व्यवस्था के तहत सहकारी समितियों को एक एकड़ के लिए एक बोरी यूरिया किसानों को उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए ताकि कहीं भी खाद की किल्लत ना हो. लेकिन यह व्यवस्था पूरी तरह से फेल हो गई क्योंकि गांवों के बड़े किसानों ने ज्यादा खाद लेने के लिए अपने परिवार और दोस्तों को आधार कार्ड लेकर कतार लगवाकर खाद लेने का प्रयास किया और खाद की कालाबाजारी में लिप्त दुकानदारों ने ऐसे लोगों को खाद उपलब्ध भी कराई.

जिसके चलाये किसी किसान को पांच से 10 बोरी खाद मिल गई और कोई किसान मात्र एक बोरी खाद ही पा सका जबकि उसे दस बोरी खाद की जरूरत थी. ऐसी व्यवस्था के चलते सूबे के कई जिलों में किसान सहकारी समितियों के सचिवों द्वारा खाद की बिक्री को लेकर की जा रही मनमानी के खिलाफ सड़क पर उतार कर रास्ता जाम करने लगे. किसानों ऐसा विरोध बुंदेलखंड के झांसी, ललितपुर, महोबा, जालौन, बांदा, हमीरपुर के अलावा, सीतापुर, शाहजहांपुर, बरेली, गोंडा, बलरामपुर श्रावस्ती, सुल्तानपुर, अमेठी,  अंबेडकरनगर, बहराइच, जौनपुर और बाराबंकी में देखने को मिला.

इन जिलों में किसानों ने यूरिया की मांग को लेकर राजमार्ग को जाम किया. गोंडा में खाद पाने के लिए किसानों ने साबरपुर बाजार में रास्ता जाम किया. इसी प्रकार श्रावस्ती में किसानों ने भिनगा- बहराइच मार्ग जाम किया तो विधायक रामफेरन पांडेय ने उन्हें समझा बुझाकर रास्ता खुलवाया. बलरामपुर गैसड़ी के पूर्व विधायक शैलेश कुमार सिंह ने किसानों की नाराजगी को देखकर यह आरोप भी लगाया कि जिला प्रशासन की नाकामी की वजह से खाद की कालाबाजारी करके नेपाल भेजा जा रहा है और सरकार की छवि खराब करने की कोशिश की जा रही है. फिलहाल कई जिलों में तो किसानों के विरोध प्रदर्शन के बाद पुलिस की मौजूदगी में किसानों को खाद उपलब्ध कराने की व्यवस्था जिलधिकारियों ने की है.

पुलिस की मौजूदगी में हो रहा खाद वितरण :
    
प्रदेश में खाद ही पर्याप्त व्यवस्था होने के बाद भी खाद की कालाबाजारी ना रोक पाने के कारण ही किसानों को खाद संकट से जूझना पड़ रहा है. राज्य के कृषि उप निदेशक (खाद) डा. आशुतोष मिश्र के अनुसार, गत सोमवार तक प्रदेश में 16.16 लाख मीट्रिक टन खाद उपलब्ध थी. इसमें यूरिया 6.21, डीएपी 3.81 लाख, एनपीके 3.02, एमओपी 0.64, एसएसपी की उपलब्धता 2.48 लाख मीट्रिक टन थी. अब तक पिछले वर्ष की अपेक्षा करीब 15 फीसदी ज्यादा खाद बांटी जा चुकी है. सरकारी एवं निजी दुकानों पर खाद उपलब्ध है, इसके बाद भी किसानों को खाद ना मिलना सिर्फ खाद की होने वाली कालाबाजारी का परिणाम है. 

ऐसे में अब हर उस जिले में जहां खाद पाने के लिए किसान विरोध जता रहे रहे है वहां पुलिस की मौजूदगी में  किसानों को खाद उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए हैं. इस निर्देश के तहत किसानों को सहकारी समितियों से किसानों को खाद उपलब्ध कराई गई है. इसके साथ ही कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने विभागीय अधिकारियों को यूरिया की कालाबाजारी करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के निर्देश फिर से दिए हैं.

Web Title: UP News: Fertilizer crisis in UP, plan to provide fertilizer through Aadhar failed, farmers forced to protest

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