केंद्रीय मंत्री का बयान, जेएनयू छात्रों पर हमला सुनियोजित षड्यंत्र, मार्क्सवादी पार्टी पर लगाए ये गंभीर आरोप
By भाषा | Published: January 7, 2020 03:24 AM2020-01-07T03:24:18+5:302020-01-07T03:24:18+5:30
केरल से एकमात्र केंद्रीय मंत्री, मुरलीधरन ने आरोप लगाया कि देश के विश्वविद्यालयों की छवि धूमिल करने के लिए षड्यंत्र रचे जा रहे हैं। मुरलीधरन ने यहां मीडिया से कहा, "जेएनयू परिसर के भीतर हुई हिंसा एक सुनियोजित षड्यंत्र था।"
केंद्रीय मंत्री वी मुरलीधरन ने सोमवार को दावा किया कि दिल्ली के जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में छात्रों एवं शिक्षकों पर नकाबपोशों द्वारा किया गया हमला एक सुनियोजित षड्यंत्र था। वहीं कांग्रेस की केरल इकाई ने भाजपा पर यह कहते हुए निशाना साधा कि वह असहमति के स्वरों को हमेशा नहीं दबा सकती।
केरल से एकमात्र केंद्रीय मंत्री, मुरलीधरन ने आरोप लगाया कि देश के विश्वविद्यालयों की छवि धूमिल करने के लिए षड्यंत्र रचे जा रहे हैं। मुरलीधरन ने यहां मीडिया से कहा, “जेएनयू परिसर के भीतर हुई हिंसा एक सुनियोजित षड्यंत्र था। यह देश के विश्वविद्यालयों की छवि धूमिल करने की साजिश है कि परिसरों में हिंसा का माहौल है।”
साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि मार्क्सवादी पार्टी का हिंसा करने का और फिर पीड़ितों को अपराधी बताने का इतिहास रहा है।
मंत्री ने कहा, “धुर वामपंथी संगठनों के छात्र और कांग्रेस इस हिंसा के पीछे हैं। वे परिसरों के सामान्य वातावरण को बिगाड़ना चाहते हैं।” हालांकि राज्य विधानसभा में विपक्ष के नेता रमेश चेन्नीथला ने कहा कि जेएनयू के शिक्षकों एवं छात्रों पर ‘‘संघ परिवार की ताकतों द्वारा किया गया हमला फासीवाद का डर दिखाता है जिससे देश ग्रस्त हो चुका है।”
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने एक बयान में कहा, “भाजपा को यह समझना चाहिए कि वे असहमति के स्वरों को हमेशा नहीं दबा सकते। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय मंत्री अमित शाह की आपराधिक चुप्पी ने हिंसा को बढ़ावा दिया है।” मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने भी हिंसा की यह कहते हुए निंदा की कि परिसर के भीतर छात्रों एवं शिक्षकों पर “नाजी तरीके से किए गए हमले” देश में अशांति एवं हिंसा पैदा करने की कोशिश थी।