तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा ने जी न्यूज के खिलाफ मानहानि कार्यवाही पर रोक को दी चुनौती

By भाषा | Published: October 10, 2019 06:05 PM2019-10-10T18:05:58+5:302019-10-10T18:05:58+5:30

मानहानि का यह मामला 25 जून को संसद में उनके भाषण पर एक शो दिखाए जाने से संबंधित है। मोइत्रा ने न्यायमूर्ति ब्रृजेश सेठी के समक्ष सूचीबद्ध अपनी याचिका में कहा कि मानहानि कार्यवाही जब समन पूर्व चरण में थी तो सत्र अदालत को हस्तक्षेप नहीं करना चाहिए था।

Trinamool Congress MP Mahua Moitra challenged the ban on defamation proceedings against Zee News | तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा ने जी न्यूज के खिलाफ मानहानि कार्यवाही पर रोक को दी चुनौती

मोइत्रा के वकील ने कहा कि मजिस्ट्रेट की अदालत ने हालांकि कार्यवाही स्थगित कर दी थी और आवेदन पर सुनवाई एक दूसरी तारीख पर थी।

Highlightsचौधरी के वकील ने याचिका का विरोध करते हुए कहा कि यह स्वीकार किये जाने योग्य नहीं है।वकील ने कहा कि इसके बाद सत्र अदालत ने मामले में कार्यवाही पर रोक लगा दी थी।

तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा ने जी न्यूज और उसके प्रधान संपादक सुधीर चौधरी के खिलाफ दायर मानहानि शिकायत की सुनवाई पर रोक लगाने वाले सत्र अदालत के आदेश को गुरुवार को दिल्ली उच्च न्यायालय में चुनौती दी।

मानहानि का यह मामला 25 जून को संसद में उनके भाषण पर एक शो दिखाए जाने से संबंधित है। मोइत्रा ने न्यायमूर्ति ब्रृजेश सेठी के समक्ष सूचीबद्ध अपनी याचिका में कहा कि मानहानि कार्यवाही जब समन पूर्व चरण में थी तो सत्र अदालत को हस्तक्षेप नहीं करना चाहिए था।

चौधरी के वकील ने याचिका का विरोध करते हुए कहा कि यह स्वीकार किये जाने योग्य नहीं है। उन्होंने कहा कि चौधरी ने मानहानि शिकायत में कथित रूप से प्रासंगिक तथ्यों को छुपाये जाने को लेकर सांसद के खिलाफ शपथ पर मिथ्या साक्ष्य पेश करने की कार्रवाई चलाने के लिये आवेदन दिया था।

वकील ने कहा कि इसके बाद सत्र अदालत ने मामले में कार्यवाही पर रोक लगा दी थी। उन्होंने कहा कि ऐसा आवेदन किसी भी चरण में दिया जा सकता है। इस दलील के जवाब में मोइत्रा के वकील ने कहा कि सत्र अदालत को “प्रस्तावित” आरोपी के खिलाफ कार्यवाही पर उसकी याचिका पर हस्तक्षेप नहीं करना चाहिए था।

उन्होंने कहा कि दंड प्रक्रिया संहिता की दारा 340 के तहत आवेदन पहले एक मजिस्ट्रेट अदालत में दिया गया, जो मानहानि की शिकायत पर सुनवाई कर रही थी। मोइत्रा के वकील ने कहा कि मजिस्ट्रेट की अदालत ने हालांकि कार्यवाही स्थगित कर दी थी और आवेदन पर सुनवाई एक दूसरी तारीख पर थी।

उन्होंने कहा कि इस स्थगन आदेश के खिलाफ चौधरी सत्र अदालत में गए थे। दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद उच्च न्यायालय ने चौधरी के वकील को मोइत्रा की याचिका पर 14 अक्टूबर तक जवाब दायर करने का निर्देश देते हुए कहा कि वह 18 अक्टूबर से पहले अपना आदेश सुनाएगा।

सत्र अदालत में शपथ पर झूठे साक्ष्य देने से जुड़ी याचिका उसी दिन सूचीबद्ध है। मोइत्रा ने अपनी मानहानि शिकायत में कहा था कि संसद में 25 जुलाई को दिया गया उनका बयान अमेरिका के संग्रहालय में ‘होलोकॉस्ट’ के पोस्टर से प्रेरित था, जिसमें शुरुआती फासीवाद के 14 संकेत थे और उन्होंने “स्पष्ट रूप से हवाला” दिया था कि संकेत कथित पोस्टर से लिये गए थे।

शिकायत में दावा किया गया कि समाचार चैनल ने अपने प्रसारण में दावा किया उन्होंने संसद में अपना भाषण साहित्यिक चोरी कर दिया था। इसके बाद, जी न्यूज ने मोइत्रा के खिलाफ एक मानहानि की शिकायत दी थी कि उन्होंने कथित रूप से उनके खिलाफ मीडिया में बयान दिया। चैनल द्वारा दायर मानहानि की शिकायत पर मोइत्रा को एक मजिस्ट्रेट अदालत ने 25 अक्टूबर को पेश होने के लिये समन जारी किया है। 

Web Title: Trinamool Congress MP Mahua Moitra challenged the ban on defamation proceedings against Zee News

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