आतंक पर लगातार प्रहार जारी, जम्मू-कश्मीर में इस साल 15 जुलाई तक 10 सुरक्षा बल और 14 नागरिकों ने जान गंवाई, पत्थरबाजी की एक भी घटना नहीं
By शिवेन्द्र कुमार राय | Updated: July 24, 2024 15:32 IST2024-07-24T15:31:16+5:302024-07-24T15:32:58+5:30
राज्यसभा में एक लिखित जवाब में गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने उल्लेख किया कि अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद पथराव की घटनाएं नहीं हुई हैं। उन्होंने बताया कि 2024 में 15 जुलाई तक केंद्र शासित प्रदेश में 10 सुरक्षा बल और 14 नागरिक मारे गए हैं।

जम्मू और कश्मीर में कानून और व्यवस्था की स्थिति में काफी सुधार हुआ है
Jammu and Kashmir: सरकार और सेना के तमाम प्रयासों के कारण जम्मू और कश्मीर में कानून और व्यवस्था की स्थिति में काफी सुधार हुआ है। घाटी में आतंकी हमलों में भी कमी आई है। राज्यसभा में एक लिखित जवाब में गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने उल्लेख किया कि अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद पथराव की घटनाएं नहीं हुई हैं। उन्होंने बताया कि 2024 में 15 जुलाई तक केंद्र शासित प्रदेश में 10 सुरक्षा बल और 14 नागरिक मारे गए हैं।
क्या कानून और व्यवस्था में सुधार का सार्वजनिक जीवन पर कोई प्रभाव पड़ा है? इस सवाल के जवाब में केंद्रीय मंत्री ने कहा, "अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में शांति, प्रगति और समृद्धि का युग देखा गया है। स्कूल, कॉलेज, विश्वविद्यालय, पिछले चार वर्षों के दौरान अस्पताल और अन्य सार्वजनिक संस्थान बिना किसी हड़ताल या किसी भी प्रकार की गड़बड़ी के कुशलतापूर्वक काम कर रहे हैं।"
"The number of vacancies as on 01.07.2024 in the Central Armed Police Forces (CAPFs) and Assam Rifles(AR) are 84,106 against total sanctioned strength of 10,45,751. 67,345 persons have been recruited between April, 2023 to February, 2024. Further, 64,091 vacancies have been… pic.twitter.com/XDC0B6mnvH
— ANI (@ANI) July 24, 2024
उन्होंने कहा कि दैनिक हड़ताल, हड़ताल, पथराव और बंद की पहले की प्रथा अब अतीत की बातें हैं। रिकॉर्ड मतदान के साथ जम्मू-कश्मीर के लोगों ने हाल ही में हुए लोकसभा चुनावों में उत्साहपूर्वक भाग लिया। मंत्री ने कहा कि बेहतर कानून और व्यवस्था के कारण जम्मू और कश्मीर में 2023 में 2.11 करोड़ पर्यटक दौरे दर्ज किए गए। विदेशी पर्यटकों का आगमन 2.5 गुना बढ़ गया है।
गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने सदन को ये भी बताया कि केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (सीएपीएफ) और असम राइफल्स (एआर) में 1 जुलाई को रिक्तियों की संख्या 10,45,751 की कुल स्वीकृत पदों के मुकाबले 84,106 है। उन्होंने बताया कि अप्रैल, 2023 से फरवरी, 2024 के बीच 67,345 व्यक्तियों की भर्ती की गई है। इसके अलावा, 64,091 रिक्तियां अधिसूचित की गई हैं और भर्ती के विभिन्न चरणों में हैं।
अपने जवाब में केंद्रीय मंत्री ने ये भी बताया कि अर्धसैनिक बलों की कुल संख्या के मुकाबले रिक्तियों की संख्या बेहद कम है इसलिए जवानों के ओवरटाइम का कोई सवाल ही नहीं है।