कश्मीर में सुरक्षा इंतजाम पहले से भी पुख्ता करने की तैयारी, तालिबान का सामने आया ये बयान
By कोमल बड़ोदेकर | Updated: August 17, 2021 19:06 IST2021-08-17T18:45:24+5:302021-08-17T19:06:40+5:30
अफगानिस्तान में तालिबान आतंकियों के कब्जे का असर दुनिया के कई देशों पर होगा. तमाम ऐसे देश हैं जिन पर इसका सीधे तौर व्यापारिक असर होगा. वहीं अफगानिस्तान में तालिबान के सत्ता हथियाने के बाद इसका असर कश्मीर पर भी पड़ सकता है. एएनआई ने सूत्रों के हवाले से खबर दी है कि, कश्मीर में सुरक्षा के इंतजाम पहले से बढ़ाए जाएंगें.

कश्मीर में सुरक्षा इंतजाम पहले से भी पुख्ता करने की तैयारी, तालिबान का सामने आया ये बयान
अफगानिस्तान में तालिबान आतंकियों के कब्जे का असर दुनिया के कई देशों पर होगा. तमाम ऐसे देश हैं जिन पर इसका सीधे तौर व्यापारिक असर होगा. वहीं अफगानिस्तान में तालिबान के सत्ता हथियाने के बाद इसका असर कश्मीर पर भी पड़ सकता है. एएनआई ने सूत्रों के हवाले से खबर दी है कि, कश्मीर में सुरक्षा के इंतजाम पहले से बढ़ाए जाएंगें.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सरकार जल्द ही कश्मीर सुरक्षा व्यवस्था को और मजबूत करने की तैयारी में है. एएनआई सूत्रों के हवाले से बताया गया है कि, जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा चौकसी बढ़ाई जाएगी. हालांकि यहां चीजें नियंत्रण में हैं. अफगानिस्तान में तालिबान के साथ काम कर रहे पाकिस्तानी आतंकी सगंठन कश्मीर में दहशत फैला सकते हैं.
There will be increased security vigil in Kashmir but things are in control and Pakistan based groups in #Afghanistan have little capacity to use the situation: Sources
— ANI (@ANI) August 17, 2021
वहीं इस मामले में आतंकी संगठन तालिबान ने अपना रुख स्पष्ट किया है. तालिबान ने अपना रुख स्पष्ट करते हुए कहा है कि, कश्मीर एक द्विपक्षीय और आंतरिक मुद्दा है. तालिबान का ध्यान कश्मीर पर नहीं है. हालांकि, अभी इस मामले में सरकार की ओर से कोई आधिकारिक बयान सामने नहीं आया है.
वहीं इस मामले में जम्मू कश्मीर के पूर्व डीजीपी एसपी वैद्य ने एक न्यूज चैनल बातचीत में कहा कि, अफगानिस्तान में तालिबान के सत्ता में आने का असर पूरे साउथ एशिया पर दिखाई देगा. उन्होंने कहा कि, "पाकिस्तान अब जैश और लश्कर के आतंकी कैंप पीओके से अफगानिस्तान में शिफ्ट करेगा, ताकि ये अंतरराष्ट्रीय जांच में सामने ना आए. साथ ही भारत विरोधी आतंकी गुटों के लिए अब अफगानिस्तान सुरक्षित ठिकाना होगा."