ब्लैक फंगस की दवा को लेकर केंद्र के वकील की दलील पर हैरानी जताई अदालत ने
By भाषा | Published: June 4, 2021 10:40 PM2021-06-04T22:40:59+5:302021-06-04T22:40:59+5:30
नयी दिल्ली, चार जून दिल्ली उच्च न्यायालय ने शुक्रवार को केंद्र के वकील की इस दलील पर हैरानी जताई कि ब्लैक फंगस के उपचार में इस्तेमाल दवा एम्फोटेरिसिन बी बाजार में उपलब्ध है।
अदालत ने कहा कि जब दवा बाजार में पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है तो इतने लोगों की मृत्यु नहीं होनी चाहिए थी। इस पर वकील ने कहा कि लोग दवा की कमी की वजह से नहीं बल्कि इसलिए मर रहे हैं क्योंकि ब्लैक फंगस अपने आप में खतरनाक है।
अदालत ने कहा कि ब्लैक फंगस से प्रभावित करीब एक तिहाई लोगों की मौत हो चुकी है। इस पर केंद्र सरकार के स्थायी वकील कीर्तिमान सिंह ने कहा कि लोग दवाओं की कमी की वजह से नहीं मर रहे अन्यथा बहुत हंगामा और अफरा-तफरी होती।
न्यायमूर्ति विपिन सांघी और न्यायमूर्ति जसमीत सिंह की पीठ को यह दलील रास नहीं आई। पीठ ने कहा, ‘‘पहले ही इतना शोर मच चुका है और अगर आप इसे सुनना नहीं चाहते तो आपकी मर्जी।’’
हालांकि सुनवाई के दौरान उच्च न्यायालय ने भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) द्वारा ब्लैक फंगस के लिए संभावित उपचार के विकल्पों पर जारी दिशा-निर्देशों पर संतोष प्रकट किया।
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