सोनिया को है राहुल की वापसी की उम्मीद: नए कांग्रेस अध्यक्ष पर सस्पेंस, कार्यसमिति की बैठक में हो सकती है देरी

By हरीश गुप्ता | Updated: July 28, 2019 08:20 IST2019-07-28T08:20:37+5:302019-07-28T08:20:37+5:30

राहुल गांधी के 25 मई को अचानक कांग्रेस प्रमुख पद छोड़ने के बाद से नए अध्यक्ष के चुनाव में हो रही देरी को लेकर सस्पेंस बरकरार है

Sonia's hopes for Rahul's return: Suspension on new Congress president, delays in meeting of Working Committee | सोनिया को है राहुल की वापसी की उम्मीद: नए कांग्रेस अध्यक्ष पर सस्पेंस, कार्यसमिति की बैठक में हो सकती है देरी

सोनिया को है राहुल की वापसी की उम्मीद: नए कांग्रेस अध्यक्ष पर सस्पेंस, कार्यसमिति की बैठक में हो सकती है देरी

Highlightsअध्यक्ष सोनिया गांधी को राहुल की वापसी की उम्मीद है इसलिए वह उन्हें इस्तीफे पर पुनर्विचार करने के लिए पर्याप्त समय देना चाहती हैं. सोनिया गांधी ने स्पष्ट रूप से कुछ कहे बिना परोक्ष रूप से पार्टी की कमान संभाल ली हैं.

राहुल गांधी के 25 मई को अचानक कांग्रेस प्रमुख पद छोड़ने के बाद से नए अध्यक्ष के चुनाव में हो रही देरी को लेकर सस्पेंस बरकरार है. हालांकि यह व्यापक रूप से चर्चा में है कि संगठनात्क चुनाव होने तक कामकाज सुचारू रूप से चलाने के लिए कार्यकारी अध्यक्ष चुनने के लिए कांग्रेस कार्यसमिति इस सप्ताह बैठक करेगी. इस बीच राहुल गुरुवार को अमेरिका से लौट आए हैं, लेकिन वह संसद में नहीं दिखे. उच्च पदस्थ सूत्रों का कहना है कि कार्यसमिति की बैठक जल्द नहीं होगी और इसको लेकर कुछ और समय तक सस्पेंस बरकरार रह सकता है.

इन सूत्रों का कहना है कि संप्रग अध्यक्ष सोनिया गांधी को राहुल की वापसी की उम्मीद है इसलिए वह उन्हें इस्तीफे पर पुनर्विचार करने के लिए पर्याप्त समय देना चाहती हैं. सोनिया का मानना है कि है कि 23 मई को लोकसभा चुनाव में पार्टी की करारी हार के कारण राहुल ने गुस्से में इस पद को छोड़ दिया. राहुल बेहद नाराज थे क्योंकि उनको कम से कम 150 लोकसभा सीटें जीतने की उम्मीद थी. उनका यह आकलन डाटा विश्लेषक प्रवीण चक्रवर्ती पर आधारित था जिन्होंने लक्ष्य हासिल होने के प्रति आश्वस्त किया था. यह भी आश्वस्त किया था कि 'चौकीदार चोर है' का नारा सफल है. कई राज्यों के कांग्रेस नेताओं ने भी राहुल से उनके राज्यों में अच्छी तादाद में सीटें मिलने की बात कही थी.

इन पृष्ठभूमि में कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक में पार्टी के खराब प्रदर्शन को लेकर राहुल भड़क गए थे और हार के लिए उन्हें जिम्मेदार ठहराया था. उसके बाद राहुल ने अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया, लेकिन उसके बाद उनकी उम्मीद के विपरीत पार्टी में ठहराव सा आ गया.

परोक्ष रूप से संभालीं कमान 

सोनिया गांधी ने स्पष्ट रूप से कुछ कहे बिना परोक्ष रूप से पार्टी की कमान संभाल ली हैं. सभी निर्णय कांग्रेस महासचिव के. सी. वेणुगोपाल लेते हैं जो सभी मुद्दों पर नियमित रूप से सोनिया गांधी से मशविरा करते हैं. चाहे वह पार्टी की महाराष्ट्र और छत्तीसगढ़ प्रमुखों की नियुक्ति हो या अन्य प्रदेश कांग्रेस समिति प्रमुखों की निरंतरता हो, सोनिया की सहमति जरूरी है. यह सोनिया गांधी ही थीं, जिन्होंने नवजोत सिंह सिद्धू को चुप रहने के लिए कहा और पंजाब के मुख्यमंत्री अमरेंद्र सिंह को उनका इस्तीफा स्वीकार करने की अनुमति दी. पार्टी को अगस्त की शुरुआत तक नए कार्यकारी अध्यक्ष की नियुक्ति में कोई जल्दबाजी नहीं है.

Web Title: Sonia's hopes for Rahul's return: Suspension on new Congress president, delays in meeting of Working Committee

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