तमिलनाडु में भारी बारिश के बीच बचाव कर्मियों ने सूझ-बूझ का परिचय दिया

By भाषा | Updated: November 12, 2021 19:12 IST2021-11-12T19:12:48+5:302021-11-12T19:12:48+5:30

Rescue workers show prudence amidst heavy rains in Tamil Nadu | तमिलनाडु में भारी बारिश के बीच बचाव कर्मियों ने सूझ-बूझ का परिचय दिया

तमिलनाडु में भारी बारिश के बीच बचाव कर्मियों ने सूझ-बूझ का परिचय दिया

चेन्नई, 12 नवंबर तमिलनाडु की राजधानी चेन्नई और अन्य क्षेत्रों में हफ्ते भर से हो रही भारी बारिश के दौरान पूर्व तैयारी, दृढ़ संकल्प और सूझ-बूझ, बचाव कार्यों में लगे पुलिसकर्मियों और महिलाओं, नागरिक तथा वन कर्मियों के काम आयी।

यहां जब बाढ़ में एक नागरिक लगभग बहने वाला था तो चौकन्ने रिजर्व पुलिस के कर्मियों ने कई चुनौतियों के बावजूद और दृढ़ संकल्प से उसे बचा लिया। बाद में यह पता चला कि पुलियानथोपे इलाके के जिस सुधाकर नाम के व्यक्ति को बचाया गया, उसने 40 वर्षीय एझुमलई को पानी के तेज बहाव में बहने से बचाया था। हालांकि एझुमलई की जान नहीं बचाई जा सकी।

कुछ लोगों जैसे कि प्लम्बर केशवन को अपनी जान गंवानी पड़ी क्योंकि उन्होंने एहतियात नहीं बरती। जब नशे की हालत में वह उफान पर बह रही कूम नदी के पास चला गया तो नदी में गिर गया और डूब गया। अभी तक तमिलनाडु में बारिश से संबंधित घटनाओं में कम से कम 14 लोगों की मौत हो गयी।

जब नगर निकाय के कर्मचारी यहां गिरे एक विशाल पेड़ को काट रहे थे तो एक लंबा सांप पत्तों में से निकल आया। इसके बाद वन विभाग को सांप पकड़ने में दक्षता रखने वाले एक व्यक्ति को बुलाना पड़ा। एक वन्य अधिकारी ने यहां बताया कि अभी तक पिछले कुछ दिनों में बारिश के दौरान 20 से अधिक सांपों को पकड़ा जा चुका है।

अधिकारियों ने बताया कि बारिश के दौरान सांपों को देखे जाने के बारे में कई सूचनाएं मिली। सांप पकड़ने में दक्ष लोगों को पर्याप्त संख्या में तैनात किया गया।

एक अधिकारी ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया, ‘‘हम शहर में पकड़े गए सांपों को छोड़ेंगे। इन्हें तिरुपोरुर या ममबक्कम के समीप आरक्षित वन इलाकों में सुरक्षित छोड़ा जाएगा।’’

चाहे राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल हो, नगर निकाय या राज्य आपदा प्रबंधन दल हो, उन्होंने न केवल लोगों बल्कि मवेशियों को बचाने के लिए सर्वश्रेष्ठ प्रयास किया। तमिलनाडु पुलिस ने अपने 75,000 कर्मियों और तटीय सुरक्षा समूह के 350 कर्मियों को तैनात किया।

राष्ट्रीय आपदा मोचन बल के कर्मी बचाव अभियानों के दौरान आम तौर पर जीवनरक्षक जैकेट, रेनकोट और नौकाओं का इस्तेमाल करते हैं लेकिन बड़ा तिरपाल रखने की सूझ-बूझ यहां उनके बहुत काम आयी। एक महिला और उसके बच्चे को बाढ़ग्रस्त इलाके में भारी बारिश से बचाते हुए एनडीआरएफ के चार कर्मियों ने उनके ऊपर तिरपाल लगा दिया जो एक बड़े आकार की छतरी की तरह दिखा और महिला तथा उसकी छोटी-सी बच्ची को सुरक्षित बचा लिया गया। इसी इलाके से उन्होंने प्लास्टिक की कुर्सी पर बैठी एक बुजुर्ग महिला को भी बचाया और एक बचाव कर्मी बुजुर्ग को बारिश से बचाने के लिए उनके ऊपर तिरपाल लेकर खड़ा रहा।

अत्यधिक जोखिम के बावजूद एनडीआरएफ के दलों ने चेन्नई के समीप तिरुपोरुर में एक ऊंचे बिजली के ट्रांसमिशन टावर के ऊपर फंसे बिजली कर्मियों को बचाया।

पुलिस ने बताया कि शुक्रवार दोपहर तक निचले इलाकों में फंसे 3,428 लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला गया और शहर की पुलिस ने 13 विशेष बचाव दलों को तैनात किया। चेन्नई में बारिश से प्रभावित इलाकों के 2,699 लोगों को 44 राहत केंद्रों में शरण दी गयी और पिछले छह दिनों में उन्हें भोजन के 28,64,400 पैकेट बांटे जा चुके हैं। पूरे राज्य में 15,000 से अधिक लोगों को 290 राहत शिविरों में शरण दी गयी है।

बंगाल की खाड़ी पर बना दबाव का क्षेत्र बृहस्पतिवार को चेन्नई के समीप तट के पार चला गया। राज्य के मुख्यत: उत्तरी और डेल्टा क्षेत्रों में छह नवंबर की रात के बाद से भारी बारिश देखी गयी। हालांकि अब बारिश में कमी है।

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