पीएम नरेंद्र मोदी समेत देश के अलग-अलग हिस्सों में बीजेपी नेताओं का उपवास, जानें सभी बड़ी बातें
By आदित्य द्विवेदी | Published: April 12, 2018 08:20 AM2018-04-12T08:20:04+5:302018-04-12T08:20:04+5:30
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सभी सांसदों से अपने लोकसभा क्षेत्र में उपवास रखने के निर्देश दिए हैं। उनके साथ गृहमंत्री राजनाथ सिंह, पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान और कॉमर्स मिनिस्टर सुरेश प्रभु भी दिल्ली में उपवास करेंगे।
नई दिल्ली, 12 अप्रैलः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत बीजेपी के तमाम बड़े नेता गुरुवार को दिनभर का उपवास रखेंगे। पीएम मोदी दिल्ली में, अमित शाह कर्नाटक में और जेपी नड्डा वाराणसी में उपवास का नेतृत्व करेंगे। यह उपवास संसद में काम-काज ना होने के विरोध स्वरूप किया जा रहा है। इससे पहले राहुल गांधी और अन्य कांग्रेस नेताओं ने बीजेपी के खिलाफ पांच घंटे का उपवास किया था। जानें, आज बीजेपी के देशव्यापी उपवास से जुड़ी खास बातें।
पीएम मोदी क्यों कर रहे हैं उपवास?
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह समेत सभी 323 सांसद के साथ आज उपवास करेंगे। वे बजट सत्र ना चलने से खिन्न हैं। उपवास से पहले बीजेपी सांसदों को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि उन लोगों को बेनकाब करो जो संसद नहीं चलने दे रहे हैं। उन्होंने कहा, 'जिन्हें 2014 में सत्ता नहीं मिली वो देश को आगे नहीं बढ़ने देना चाहते। उन्होंने एक भी दिन संसद नहीं चलने दी। उन्होंने लोकतंत्र की हत्या की है इसलिए हम उपवास के जरिए उनका गुनाह दुनिया के सामने लाएंगे। मैं भी उपवास करूंगा लेकिन काम-काज जारी रहेगा।'
सत्ताधारी बीजेपी का आरोप है कि विपक्ष ने वजट सत्र में हंगामा किया और बजट सत्र को नहीं चलने दिया। पीआरएस इंडिया डॉट ओआरजी के आंकड़ों के अनुसार बजट सत्र में 250 घंटे बर्बाद हुए। इस बार बजट सत्र में लोकसभा में कुल 23% और राज्यसभा में 28% कामकाज हुआ।
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कौन-कहां कर रहा है उपवास?
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सभी सांसदों से अपने लोकसभा क्षेत्र में उपवास रखने के निर्देश दिए हैं। नरेंद्र मोदी ने दिल्ली में प्रदर्शन का नेतृत्व करेंगे। उनके साथ गृहमंत्री राजनाथ सिंह, पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान और कॉमर्स मिनिस्टर सुरेश प्रभु भी दिल्ली में उपवास करेंगे। बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह कर्नाटक में, जेपी नड्डा वाराणसी में और रविशंकर प्रसाद पटना जाकर उपवास करेंगे।
रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण चेन्नई में, मानव संसाधन विकास मंत्री प्रकाश जावडेकर बैंगलुरु में, संसदीय कार्यमंत्री विजय गोएल तमिलनाडु और विदेश राज्यमंत्री एमजे अकबर विदिशा में प्रदर्शन करेंगे। पर्यटन मंत्री के.जे. अल्फोंस केरल में उपवास करेंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उपवास की वजह से कोई मीटिंग या कामकाज प्रभावित नहीं करेंगे।
बजट सत्र में हुआ कितना काम?
उल्लेखनीय है कि बजट सत्र 2018 को दो चरणों में आहूत किया गया था। 29 जनवरी से 9 फरवरी के बीच आयोजित किए गए पहले चरण में दोनों सदनों में जबर्दस्त कामकाज हुआ था। लोकसभा में 134% और राज्यसभा में 96% फीसदी प्रोडक्टिव कार्यवाहियां हुईं। लेकिन इसके बाद नॉर्थ ईस्ट के तीन राज्यों त्रिपुरा, मेघालय, नागालैंड में चुनाव हुए। तीनों में बीजेपी के नेतृत्व में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) की सरकारें बनीं। होली की छुट्टियां रहीं। तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) ने एनडीए से रिश्ता तोड़ा। बैंक घोटालों का बोलबाला रहा।
बज़ट सत्र का उत्तरार्ध 5 मार्च से 6 अप्रैल तक चला। इस दौरान लोकसभा में 4% और राज्यसभा में 8% ही प्रोडक्टिव काम हो पाया। क्योंकि बीच में बैंक घोटाले, आंध्र प्रदेश के विशेष दर्जे की मांग, कावेरी जल प्रबंधन बोर्ड का गठन, एससी/एसटी एक्ट पर सुप्रीम कोर्ट का फैसला, लेनिन, गांधी और अंबेडकर की मुर्तियां आ गईं। इससे प्रधानमंत्री आहत हैं।