Paris Paralympics 2024: पैरा तीरंदाज सरिता कुमारी ने किया कमाल, इटली की एलेनोरा सार्टी को 141-135 से हराया, तुर्की की ओनजुन क्यूर गिर्डी से टक्कर
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: August 31, 2024 22:33 IST2024-08-31T22:27:11+5:302024-08-31T22:33:58+5:30
Paris Paralympics 2024: इटली की एलेनोरा सार्टी को एकतरफा मुकाबले में 141-135 से हराकर कंपाउंड महिला ओपन वर्ग के क्वार्टर फाइनल में प्रवेश किया।

Paris Paralympics 2024
Paris Paralympics 2024: भारतीय पैरा तीरंदाज सरिता कुमारी ने शनिवार को यहां पैरालंपिक में इटली की एलेनोरा सार्टी को एकतरफा मुकाबले में 141-135 से हराकर कंपाउंड महिला ओपन वर्ग के क्वार्टर फाइनल में प्रवेश किया। नौवीं वरीयता प्राप्त सरिता ने सिर्फ एक अंक गंवाकर चार अंक की बढ़त बनाई। इसके बाद उन्होंने पीछे मुड़कर नहीं देखा और फिर अपनी बढ़त को पांच अंक तक पहुंचा दिया। इसमें उन्होंने केंद्र के करीब एक शॉट लगाया। वहीं उनसे ऊंची रैंकिंग वाली इटली की प्रतिद्वंद्वी ने दो बार 10 अंक हासिल किए।
लेकिन सरिता ने नियंत्रण बनाये रखा और जीत दर्ज की। सरिता ने पहले दौर के मुकाबले में मलेशिया की नूर जन्नतन अब्दुल जलील को 138-124 से हराया था। क्वार्टरफाइनल में सरिता का सामना तुर्की की ओनजुन क्यूर गिर्डी से होगा। भारत की शीतल देवी पेरिस पैरालंपिक में व्यक्तिगत महिला तीरंदाजी स्पर्धा से 16वें राउंड में चिली की मारियाना ज़ुनिगा से बाहर हो गईं।
22 वर्षीय ज़ुनिगा तीन साल पहले टोक्यो पैरालंपिक की रजत पदक विजेता हैं। क्वालिफिकेशन राउंड में शीतल देवी ने मौजूदा विश्व रिकॉर्ड तोड़ दिया था, लेकिन तुर्की की ओनजुन क्यूर गिर्डी ने उन्हें रिकॉर्ड से हरा दिया। जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ की रहने वाली शीतल देवी ने अपनी असाधारण प्रतिभा से दुनिया का ध्यान खींचा।
वह फ़ोकोमेलिया नामक एक दुर्लभ जन्मजात विकार के कारण बिना हाथों के पैदा हुई थी, जिसके कारण अंग अविकसित हो जाते हैं। उनकी किस्मत 2019 में बदल गई जब उन्हें भारतीय सेना ने एक सैन्य शिविर में खोजा। उनकी क्षमता को पहचानते हुए, सेना ने शैक्षिक सहायता और चिकित्सा देखभाल प्रदान की।