NRC: CJI ने जताया आश्चर्य, एनआरसी से बाहर रखे गए लोग कैसे जाएंगे विदेशी न्यायाधिकरण?
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: September 2, 2019 08:43 IST2019-09-02T08:43:21+5:302019-09-02T08:43:21+5:30
असम में बहुप्रतीक्षित राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अंतिम सूची शनिवार को ऑनलाइन जारी हुई। इसमें करीब 19.07 लाख आवेदकों को बाहर रखा गया।

19.07 लाख लोगों से अपने नाम शामिल करवाने के लिए विदेशी न्यायाधिकरण जाने को कैसे कहा क्योंकि उन्हें विदेशी घोषित नहीं किया गया है।
असम में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता तरुण गोगोई ने रविवार को पूछा कि सरकार ने राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) की अंतिम सूची से बाहर रखे गए 19.07 लाख लोगों से अपने नाम शामिल करवाने के लिए विदेशी न्यायाधिकरण जाने को कैसे कहा क्योंकि उन्हें विदेशी घोषित नहीं किया गया है।
एनआरसी की शनिवार को प्रकाशित अंतिम सूची में 19 . 07 लाख लोगों के नाम नहीं होने पर असम सरकार ने उनसे विदेशी न्यायाधिकरण में अपील करने को कहा था और कहा था कि प्रशासन सूची में छूट गए भारतीय नागरिकों को कानूनी सहायता उपलब्ध कराएगा।
गोगोई ने विदेशी न्यायाधिकरण की जगह उच्चतम न्यायालय के सेवानिवृत्त न्यायाधीश की अध्यक्षता में सक्षम प्राधिकरण स्थापित करने की अपील की ताकि एनआरसी से बाहर रखे गए लोगों के मामलों की सुनवाई हो सके।
गौरतलब है कि पिछले साल जुलाई में एनआरसी के अंतिम मसौदा से 3,29,91,384 करोड़ लोगों में से 40,07,707 लोगों को बाहर कर दिया गया था। इसके बाद जून में 1,02,462 लोगों को बाहर कर दिया गया था।
करीब 20वीं सदी की शुरुआत से ही बांग्लादेश से अवैध घुसपैठियों की समस्या से जूझ रहा असम अकेला राज्य है जहां पहली बार 1951 में राष्ट्रीय नागरिक पंजी तैयार किया गया था। तब से ऐसा पहली बार है जब एनआरसी का अद्यतन किया गया है।