एनसीपीसीआर की पहल: कोरोना संक्रमित बच्चों के अकेलेपन को दूर करने के लिए टोल फ्री हेल्पलाइन शुरू, जानिए मामला
By एसके गुप्ता | Updated: September 22, 2020 18:21 IST2020-09-22T18:21:42+5:302020-09-22T18:21:42+5:30
एनसीपीसीआर के चेयरमैन प्रियंक कानूनगो ने लोकमत से विशेष बातचीत में कहा कि इस मुहिम का नाम ‘संवेदना’ रखा गया है।

पीपीई किट में घूम रहे चिकित्सक दल से सबसे ज्यादा अपनी सुरक्षा को लेकर बच्चियों के मन में डर है। (file photo)
नई दिल्लीः राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) ने कोरोना संक्रमित बच्चों के अकेलेपन को दूर करने के लिए टोल फ्री हेल्पलाइन शुरू की है।
घर और अस्पताल में बंद बच्चों के मन की परेशानियां और डर को दूर करने के लिए एनसीपीसीआर ने मनोवैज्ञानिकों की टीम तैयार कर उन्हें इस हेल्पलाइन पर बैठाया गया है। एनसीपीसीआर के चेयरमैन प्रियंक कानूनगो ने लोकमत से विशेष बातचीत में कहा कि इस मुहिम का नाम ‘संवेदना’ रखा गया है।
विभिन्न राज्यों से 25 काउंसलर व मनोवैज्ञानिक इस हेल्पलाइन से जोड़े गए हैं और हेल्पलाइन शुरू होने के कुछ ही घंटों में ही करीब 30 कॉल आ चुके हैं। हेल्पलाइन को राज्यों के अस्पतालों से जोड़ने की दिशा में भी काम किया जा रहा है। हेल्पलाइन पर कार्यरत काउंसलर ने लोकमत से विशेष बातचीत में कहा कि संक्रमित बच्चे जो अस्पताल में भर्ती हैं।
उन्होंने माता-पिता का साथ कभी इतने लंबे समय के लिए नहीं छोड़ा था। ऐसे बच्चों से बात करने पर पता चलता है कि उन्हें डर है पीपीई किट में घूम रहे चिकित्सक दल से सबसे ज्यादा अपनी सुरक्षा को लेकर बच्चियों के मन में डर है। वह अपने घर से दूर एक ऐसी जगह पर हैं, जहां लोग ऐसी ड्रेस में घुम रहे हैं। जिसमें व्यक्ति को पहचानना मुश्किल है।
इस डर में उन्हें नींद नहीं आ रही है। जिसे दूर करते हुए अस्पताल प्रबंधन को समझाया गया कि वह बच्चे से समय-समय पर उसके अभिभावक की फोन पर बात कराएं। बच्चों को भी समझाया जा रहा है कि यह एक महामारी है। बहुत सारे लोगों को हो रही है। इसमें जान का बचना तभी संभव है जब हम आइसोलेशन में रहें और ठीक होकर अपने परिजनों के पास जाएं। इससे वह भी सुरक्षित रहेंगे।
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हेल्पलाइन नंबर : 18001212830
समय : सुबह 10 बजे से दोपहर एक बजे तक ओर दोपहर 3 से रात 8 बजे तक