जिम्मेदारी निभाने में बुरी तरह नाकाम रहे : एनजीटी ने गुड़गांव नगर निकायों से कहा
By भाषा | Published: April 9, 2021 02:24 PM2021-04-09T14:24:33+5:302021-04-09T14:24:33+5:30
नयी दिल्ली, नौ अप्रैल राष्ट्रीय हरित अधिकरण ने बंधवाड़ी भराव क्षेत्र में कूड़े के टीले हटाने को लेकर गुड़गांव नगर निकायों की आलोचना करते हुए कहा कि अधिकारी अपनी जिम्मेदारी निभाने में बुरी तरह नाकाम रहे हैं।
एनजीटी अध्यक्ष न्यायाधीश आदर्श कुमार गोयल की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा कि कार्य योजना दाखिल कर दी गई है लेकिन यह सवाल अब भी बना हुआ है कि क्या हरियाणा के संबंधित नगर निगमों और शहरी विकास विभाग ने अभियान स्तर पर और तय समयसीमा के तहत इसे लागू किया।
एनजीटी ने कहा, ‘‘यह रिकॉर्ड पर साबित हो गया है कि अभी तक अधिकारी स्वच्छ पर्यावरण के नागरिकों के अधिकार के लिए ठोस अपशिष्ट प्रबंधन नियम, 2016 के तहत अपनी जिम्मेदारी निभाने में बुरी तरह नाकाम रहे हैं।’’
अधिकरण ने यह भी निर्देश दिया कि पर्यावरण को नुकसान पहुंचाने के लिए हर्जाना एक अलग खाते में जमा कराया जाए और पारिस्थितिकी की बहाली के लिए इसका इस्तेमाल किया जाए।
बंधवाड़ी भराव क्षेत्र में वर्षों से कूड़े का ढेर लगा हुआ है।
एनजीटी ने कहा कि पिछले एक साल से अधिक समय में 33 लाख टन कचरे में से एक लाख टन से कम कचरे का ही निपटारा किया गया है।
एनजीटी ने पहले गुड़गांव नगर निगम को बंधवाड़ी भराव क्षेत्र से छह महीने के अंदर 25 लाख टन कूड़े के टीले हटाने का निर्देश दिया था और आगाह किया था कि ऐसा न करने पर सख्त कार्रवाई की जाएगी जिसमें वेतन का भुगतान न करना भी शामिल है।
इसके साथ ही अधिकरण ने गुड़गांव-फरीदाबाद सड़क पर अरावली के जंगलों में औद्योगिक कचरे और मलबे के निस्तारण को लेकर हरियाणा सरकार तथा उसके नगर निकायों की आलोचना की थी।
एनजीटी पर्यावरणविद विवके कम्बोज और अमित चौधरी की याचिका पर सुनवाई कर रहा है जिसमें गुड़गांव और फरीदाबाद के नगर निगमों पर इन वन इलाकों में औद्योगिक कचरे और मलबे का निस्तारण करने का आरोप लगाया गया है।
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