पीएम नरेंद्र मोदी पर बरसीं ममता बनर्जी- झूठ बोलने पर कान पकड़कर 100 उठक-बैठक लगाने को कहा
By रोहित कुमार पोरवाल | Published: May 9, 2019 07:26 PM2019-05-09T19:26:26+5:302019-05-09T19:26:26+5:30
Lok Sabha Elections 2019: गुरुवार (9 मई) को ही बांकुरा में पीएम नरेंद्र मोदी ने रैली की। पीएम ने सीएम ममता बनर्जी पर कोयला खदानों के लिए माफिया राज स्थापित करने और मजदूरों को उनके मेहताना से दूर रखने का आरोप लगाया था।
Lok Sabha Elections 2019: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बीच तल्खी चरम पर पहुंच चुकी है। ममता बनर्जी के लगातार पीएम मोदी पर जोरदार हमले कर रही हैं। बांकुरा की एक जनसभा में ममता बनर्जी ने कहा कि अगर प्रधानमंत्री झूठ बोल रहे हैं तो उन्हें कान पकड़कर उठक-बैठक लगानी पड़ेगी।
ममता बनर्जी ने कहा, ''मैं आपको चुनौती देती हूं अगर आप यह साबित कर दें कि हम से कोई कोयला माफिया का हिस्सा है तो मैं अपने सभी 42 उम्मीदवारों के नाम वापस ले लूंगी। अगर आप झूठ बोल रहे हैं तो आपको अपने कान पकड़कर जनता के सामने सौ उठक-बैठक लगानी पड़ेगी।''
दरअसल गुरुवार (9 मई) को ही बांकुरा में पीएम नरेंद्र मोदी ने रैली की। पीएम ने सीएम ममता बनर्जी पर कोयला खदानों के लिए माफिया राज स्थापित करने और मजदूरों को उनके मेहताना से दूर रखने का आरोप लगाया था। पीएम मोदी ने कहा था, "आप बेहतर जानते हैं कि तृणमूल का माफिया राज किस तरह से कोयला खदानों में जारी है। तृणमूल नेता पैसा कमा रहे हैं, जबकि खदान के श्रमिक अपने पारिश्रमिक से वंचित हैं।"
West Bengal CM Mamata Banerjee in Bankura: I challenge you (PM Modi) if you can prove your allegations that one of us is part of coal mafia, I will withdraw all my 42 candidates. If you are lying, you have to hold your ears and do a hundred sit ups before public. pic.twitter.com/mBQT59MP4J
— ANI (@ANI) May 9, 2019
रैली में पीएम मोदी ने यह भी कहा, ''दीदी देश के संविधान का अपमान कर रही हैं। वो कह रही है कि देश के प्रधानमंत्री को मानने के लिए तैयार नहीं हैं लेकिन उनको पाकिस्तान के पीएम को पीएम मानने में गौरव का अनुभव होता है।''
बांकुरा रैली में पीएम मोदी ने कहा, जब पश्चिम बंगाल में चक्रवात आया, मैंने दीदी बार-बार कॉल किया लेकिन अपने अहम के कारण उन्होंने पीएम से बात करना उचित नहीं समझा। केंद्र सरकार यहां के अधिकारियों के साथ बात करना चाहती थी और राज्य की मदद करना चाहती थी लेकिन दीदी ने उसके लिए बैठक से ही इनकार कर दिया।