मध्य प्रदेशः राज्यपाल के बदलते ही BJP चुनौती देने हुई सक्रिय, संविधान विशेषज्ञों से राय ले रही पार्टी

By राजेंद्र पाराशर | Updated: July 30, 2019 19:09 IST2019-07-30T19:07:33+5:302019-07-30T19:09:38+5:30

मध्य प्रदेशः विधानसभा में दंड संशोधन विधेयक के दौरान दो भाजपा विधायकों नारायण त्रिपाठी और शरद कोल द्वारा विधेयक के पक्ष में मतदान कर किए मत विभाजन को लेकर भाजपा ने कांग्रेस को जवाब देने की रणनीति पर काम करना शुरू कर दिया है.

Madhya Pradesh: Governor lalji tandon BJP news strategy in assembly | मध्य प्रदेशः राज्यपाल के बदलते ही BJP चुनौती देने हुई सक्रिय, संविधान विशेषज्ञों से राय ले रही पार्टी

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Highlightsमध्यप्रदेश में राज्यपाल के बदलते ही विधानसभा में हुए मत विभाजन को लेकर सियासत गर्मा गई है. भाजपा अब इसे लेकर कांग्रेस को चुनौती देने की रणनीति बनाने लगी है. इसके तहत भाजपा संविधान विशेषज्ञों से भी राय ले रही है. इसके बाद राज्यपाल से मुलाकात कर भाजपा विधानसभा में दंड संशोधन विधेयक पर हुए मत विभाजन को चुनौती देगी.

मध्यप्रदेश में राज्यपाल के बदलते ही विधानसभा में हुए मत विभाजन को लेकर सियासत गर्मा गई है. भाजपा अब इसे लेकर कांग्रेस को चुनौती देने की रणनीति बनाने लगी है. इसके तहत भाजपा संविधान विशेषज्ञों से भी राय ले रही है. इसके बाद राज्यपाल से मुलाकात कर भाजपा विधानसभा में दंड संशोधन विधेयक पर हुए मत विभाजन को चुनौती देगी.

विधानसभा में दंड संशोधन विधेयक के दौरान दो भाजपा विधायकों नारायण त्रिपाठी और शरद कोल द्वारा विधेयक के पक्ष में मतदान कर किए मत विभाजन को लेकर भाजपा ने कांग्रेस को जवाब देने की रणनीति पर काम करना शुरू कर दिया है. अब भाजपा नेता इस मामले में बयानबाजी से ज्यादा संविधान विशेषज्ञों से राय लेकर काम करते नजर आ रहे हैं. 

भाजपा इस मामले में पहले तो संवैधानिक तरीके से राज्यपाल से मुलाकात कर सारे घटनाक्रम को लेकर शिकायत करने की तैयारी कर रही है. इसके लिए संविधान विशेषज्ञों से भी राय ली जा रही है. भाजपा इस मामले में भाजपा विधायक और पूर्व विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सीताशरण शर्मा से चर्चा करेगी. 

इसके बाद राज्यपाल लालजी टंडन से चर्चा की जाएगी. राज्यपाल को विधानसभा में घटे पूरे घटनाक्रम की जानकारी दी जाएगी. इसे लेकर पूर्व विधानसभा अध्यक्ष डा. शर्मा ने कहा कि इस पूरे मामले को लेकर संविधान विशेषज्ञों से राय-मशविरा कर रहे हैं. इस मामले में अध्ययन करने के बाद उचित फोरम पर चर्चा करने की जवाबदारी सौंपी जाएगी.

यहां उल्लेखनीय है कि विधानसभा में दंड संशोधन विधेयक के दौरान हुए मतदान में विधेयक के पक्ष में 122 मत पड़े थे, जिसमें भाजपा के दो विधायकों ने मतदान किया था. कांग्रेस के कुल 114 विधायक है जिसमें से विधानसभा अध्यक्ष को छोड़कर 113 विधायकों ने और बसपा के 2, सपा के 1 एवं निर्दलीय 4 विधायकों ने विधेयक के पक्ष में मतदान किया था.

राज्यपाल से करेंगे शिकायत

विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव ने कहा कि दंड संशोधन विधेयक पर मत विभाजन के दौरान सदन में कांग्रेस के करीब एक दर्जन विधायक सदन में मौजूद नहीं थे, लेकिन उन्होंने भी मतदान में भाग लिया है. उन्होंने संदेह है कि कांगे्रस के इन विधायकों के फर्जी हस्ताक्षर है, इसके अलावा मत विभाजन की प्रक्रिया का वीडियो भी नहीं बनाया गया है. भार्गव ने कहा कि अभी हम संविधान द्वारा प्रदत्त राज्यपाल की शक्तियों का अध्ययन कर रहे हैं और इसके बाद राज्यपाल से शिकायत कर अनुरोध करेंगे कि कांग्रेस उन विधायकों के हस्ताक्षरों को सत्यापित करवाएं, जिन्होंने सदन में बिना मौजूदगी के मत विभाजन में हस्ताक्षर किए हैं.

Web Title: Madhya Pradesh: Governor lalji tandon BJP news strategy in assembly

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